जी हां! आप हैरान जरुर होंगे यह जानकर कि बहुत से स्टूडेंट्स आपके कॉलेज की लाइब्रेरी का इस्तेमाल केवल पढ़ने, स्टडी नोट्स तैयार करने या फिर अपने सिलेबस के लिए जरुरी किसी किताब को तलाश कर, उस किताब को हफ्ते – दो हफ्ते के लिए इशू करवाने के लिए ही नहीं करते हैं बल्कि कई स्टूडेंट्स अपने कॉलेज की लाइब्रेरी के कई अन्य बेहतरीन इस्तेमाल भी जानते हैं. दरअसल, किसी कॉलेज स्टूडेंट के जीवन में ‘कॉलेज लाइब्रेरी’ की जो भूमिका है, समय के साथ उसमें काफी बदलाव आये हैं. कभी समय था जब पढ़ाकू छात्र पूरे दिन किताबों के पीछे अपने मुंह छिपाये नजर आते थे. लेकिन आज की डिजिटल दुनिया में, अब लाइब्रेरी में ई-बुक्स ने मोटी-मोटी संदर्भ किताबों की जगह ले ली है. अब लाइब्रेरी के बुक शेल्व्स में रखी किताबों के बजाय इंटरनेट पर लेटेस्ट और अपडेटेड जानकारी प्राप्त करना कहीं आसान हो गया है. लेकिन इसका यह अर्थ कदापि नहीं है कि लाइब्रेरीज़ ने अपना महत्व या आकर्षण खो दिया है. भले ही लाइब्रेरीज़ कितनी ही नीरस और बोरिंग लगें तो भी स्टूडेंट्स को वे ढेर सारी जानकारी और ज्ञान दे सकती हैं. अगर आप अभी लाइब्रेरी में कदम रख रहे हैं तो आपको यहां कई किस्म के लोग मिल सकते हैं. आप इन लोगों के व्यक्तित्व को समझकर आजकल कॉलेज के स्टूडेंट्स के स्वाभाव को समझ सकते हैं......तो आइये इस आर्टिकल में आगे पढ़ें कि आपकी कॉलेज लाइब्रेरी में किस-किस किस्म के लोग मिल सकते हैं......

- रिसर्चर स्टूडेंट्स
अक्सर ये वे लोग होते हैं जो किसी प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहे होते हैं. आप इन्हें हमेशा लाइब्रेरी के किसी एकांत स्थान पर कई सारी रेफेरेंस बुक्स में गुम देख सकते हैं. इनका लक्ष्य पहली ही बार में अपना एग्जाम पास करना होता है. आप उन्हें केवल क्लास के समय या फिर किसी वजह से लाइब्रेरी बंद होने पर ही लाइब्रेरी के बाहर देख सकते हैं.
- Wifi यूज़र्स
ये वे लोग होते हैं जिनके लिए लाइब्रेरी किसी कैफ़े की तरह होती है जहां वे बिना किसी परेशानी के कई घंटों तक एक आरामदायक जगह में रिलैक्स करने के साथ ही फ्री Wifi इस्तेमाल कर सकते हैं. इस जगह में उनका इंटरेस्ट लेने का सिर्फ एक कारण यह होता है कि पूरे कैंपस में यहां सिग्नल सबसे अच्छे होते हैं. वे अपने ईअरफ़ोन लगा कर घंटों अपने पसंदीदा TV सीरियल या नेटफ्लिक्स पर आई लेटेस्ट मूवी देख सकते हैं. उन्हें अपने आस-पास मौजूद ज्ञान के भंडार से कोई मतलब नहीं होता है.
लाइब्रेरी एंड इंफॉर्मेशन साइंस कोर्सेज करके बनाएं बेहतर भविष्य
- ऐसे लोग जो आते हैं लाइब्रेरी में कभी-कभी
ये वे लोग होते हैं जो लाइब्रेरी का दरवाजा दिखने पर ही दूर से भाग जाते हैं. लेकिन कभी-कभार ये लोग अपनी आँखों में डर लिए डगमगाते कदमों से लाइब्रेरी में एंटर करते हुए देखे जा सकते हैं. उनके चेहरे को एक नजर देखने पर ऐसा लगता है कि जैसे उन्होंने भूत देख लिया हो. लेकिन फिर, किताबों में मुंह छिपाए लोगों को देख कर यह लगने लगता है कि जैसे ये लाइब्रेरी में बैठे लोग ही उन्हें भूत जैसे दिख रहे हैं. ये लोग सिर्फ परीक्षा के दौरान ही, जब उन्हें पढ़ने के लिए रेफेरेंस बुक्स और ऐसे अन्य स्टडी मेटीरियल की जरूरत पड़ती है; लाइब्रेरी में एंटर करने की हिम्मत जुटाते हैं.
- लाइब्रेरी में आकर सोने वाले लोग
असल में ऐसे लोग लाइब्रेरी में उपलब्ध साधनों का अपनी ओर से सबसे बेहतर इस्तेमाल करते हैं. ये लाइब्रेरी में ऐसे एंटर करते हैं जैसे कि वे अपने घर में एंटर कर रहे हों और वे इस जगह के मालिक हों. इनकी आंखें अपने लिए सबसे खाली कोना तलाश करती हैं और ऐसा कोई कोना मिलने पर ये आराम से अपने सपनों की दुनिया में खो जाते हैं. गर्मियों में ये एयर-कंडीशनर की ठंडी हवा का और सर्दियों की ठिठुरन में सेंट्रल हीटिंग सिस्टम की गर्मी का पूरा लुत्फ़ उठाते हैं.
- लाइब्रेरी में बैठकर स्कीम्स बनाने वाले लोग
स्कीमर्स या केवल योजनायें बनाते रहने वाले ये वे लोग हैं जो काफी अलग किस्म के होते हैं. ये किताबों के आस-पास रहना पसंद करते हैं लेकिन जिस भी लाइब्रेरी में जायें, उन्हें लगातार ये ही शिकायत रहती है कि किसी भी व्यकित को जारी की जाने वाली किताबों की संख्या काफी कम क्यों है. अब, मान लीजिये कि उन्होंने शेल्व में 5 बढ़िया किताबें देखीं और वे उन सभी किताबों को एक साथ अपने नाम पर जारी करवाना चाहते हैं क्योंकि उन्हें ऐसा लगता है कि अगले सप्ताह ये किताबें उन्हें लाइब्रेरी में मिलेंगी ही नहीं. लेकिन वे एक बार में सिर्फ 2-3 किताबें ही अपने नाम पर जारी करवा सकते हैं. अब क्या किया जा सकता है? जो किताब वे लेना चाहते हैं, अन्य लोगों को वह किताब अपने नाम पर इशू करवाने से कैसे रोकें? यह तो बहुत ही आसान है...किताब को किसी सुरक्षित जगह पर छुपा दें. फिर चाहे इसका मतलब मनोविज्ञान की किसी उम्दा किताब को इतिहास के सेक्शन में ही क्यों न छुपाना हो या उन किताबों को सबसे ऊपर या सबसे नीचे के शेल्व्स पर ही क्यों न रखना हो जहां पर उन किताबों की तलाश कोई सरसरी नजर डालकर नहीं कर सकता है.
स्टडी नोट्स को याद रखने के चंद बेमिसाल टिप्स
- न पढ़ने वाले लेकिन अन्य स्टूडेंट्स को आब्जर्व करने वाले स्टूडेंट्स
कोई भी वास्तव में यह नहीं समझ पाता है कि यह व्यक्ति लाइब्रेरी में क्या कर रहा है? क्योंकि जो काम ये लोग करते हैं वह है सिर्फ कुछ पढ़ने के लिए अपने हाथों में पकड़ लेना... लेकिन उनकी आंखें कभी उस पर नहीं टिकती, एक बार भी नहीं. उनकी आंखें तो अपने आस-पास होने वाली सभी बातों को देखने से नहीं थकतीं. हर कोई यह सोचकर हैरान होता है कि क्या इनके पास कोई और बेहतर काम करने के लिए नहीं है. कोई व्यकित इतना कामचोर कैसे हो सकता है कि वह सिर्फ लाइब्रेरी में बैठकर लोगों की ताक-झांक करता रहे. हालांकि, सबसे मजेदार बात तो यह होती है कि इस आब्जर्वर को यह पता ही नहीं चल पाता है कि जब वह इधर-उधर लोगों को देखने में व्यस्त होता है तो किसी दूसरे कोने से कोई और उस पर नजर रख रहा होता है.
महत्वाकांक्षी युवा उद्यमी जरुर पढ़ें ये किताबें !
अंत में आते हैं आप... अगर आप उक्त केटेगरी में से किसी में भी शामिल नहीं हैं तो अच्छा रहेगा कि आप अपने लिए कोई एकांत जगह तलाश लें और खासकर तब, जब आपको अपने कल के क्लास टेस्ट के लिए पढ़ाई करनी हो.
जॉब, इंटरव्यू, करियर, कॉलेज, एजुकेशनल इंस्टीट्यूट्स, एकेडेमिक और पेशेवर कोर्सेज के बारे में और अधिक जानकारी प्राप्त करने और लेटेस्ट आर्टिकल पढ़ने के लिए आप हमारी वेबसाइट www.jagranjosh.com पर विजिट कर सकते हैं.