BharOS: भारत के पहले स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम ‘BharOS’ की हुई सफल टेस्टिंग, जानें इसके बारें में
भारत के पहले स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम ‘BharOS’ की सफल टेस्टिंग हुई है. इसे टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में भारत की आत्मनिर्भरता के रूप में भी देखा जा रहा है. यह एंड्रॉयड या IOS के सामान ही एक मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है.

India's First Indigenous Operating System: भारत के पहले स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम ‘BharOS’ की सफल टेस्टिंग की गयी है. यह स्वदेशी रूप से विकसित भारत का पहला मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है.
इसकी सफल टेस्टिंग केंद्रीय शिक्षा धर्मेन्द्र प्रधान और केंद्रीय संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव संयुक्त रूप से स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम BharOS की टेस्टिंग की. इसे टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में भारत की आत्मनिर्भरता के रूप में भी देखा जा रहा है.
#MadeInIndia मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम, ‘BharOS’ का सफल परीक्षण!
— Dharmendra Pradhan (@dpradhanbjp) January 24, 2023
भारत में सशक्त, स्वदेशी, #आत्मनिर्भर डिजिटल इंफ़्रास्ट्रक्चर के प्रधानमंत्री @narendramodi जी के विज़न को पूरा करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल। @iitmadras @AshwiniVaishnaw @GoI_MeitY @_DigitalIndia pic.twitter.com/WGhfdnpBxR
‘BharOS’ मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम क्या है?
‘BharOS’ मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम भारत में स्वदेशी रूप से विकसित एक मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है. यह एंड्रॉयड या IOS के सामान ही एक मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है.
इसका विकास IIT मद्रास की इनक्यूबेटेड फर्म JandK ऑपरेशंस प्राइवेट लिमिटेड (जंडकोप्स) द्वारा किया गया है. अभी तक लोग एप्पल के IOS और एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम के बारें में ज्यादा जानते थे और उसका उपयोग भी करते थे लेकिन अब इसे भी एक विकल्प के रूप में भी देखा जा रहा है.
‘BharOS’ मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम डेवलपमेंट, हाइलाइट्स:
‘BharOS’ मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम डेवलपमेंट के लिए फंडिंग एक राष्ट्रीय मिशन इंटरडिसिप्लिनरी साइबर-फिजिकल सिस्टम्स (NMICPS) के तहत किया गया है जो विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग (DST), भारत सरकार के अधीन आता है.
इसका विकास नो डिफॉल्ट ऐप्स (NDA) फीचर के साथ किया गया है. इसका अर्थ है कि ऐप्स का उपयोग करने के लिए मजबूर नहीं किया जायेगा.
इस मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम को विकसित करने वाले स्टार्ट-अप 'जंडकोप्स' ने कहा, ‘BharOS’ 'नेटिव ओवर द एयर' (NOTA) अपडेट प्रदान करता है जो सिस्टम को सुरक्षित रखने में मदद कर सकता है.
‘BharOS’ ऑपरेशन-स्पेसिफिक प्राइवेट ऐप (PASS) इसे विश्वसनीय ऐप्स तक पहुंच प्रदान करता है. जो इस सिस्टम को और यूजर फ्रेंडली बनाता है.
BharOS ऑपरेटिंग सिस्टम से भारत में 100 करोड़ स्मार्टफोन उपयोगकर्ताओं को लाभ होगा जो भारत को विदेशी ऑपरेटिंग सिस्टम पर निर्भरता को कम करेगा.
टेक्नोलॉजी क्षेत्र में आत्मनिर्भरता:
इस मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम के विकास को भारत का टेक्नोलॉजी क्षेत्र में आत्मनिर्भरता का प्रतीक है. इसका विकास पीएम मोदी के ‘आत्मनिर्भर भारत’ के दृष्टिकोण को और आगे बढ़ा रहा है. केंद्रीय संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि यह भारत में एक नई शुरुआत है और हमें यहाँ रुकना नहीं है बस आगे बढ़ाना है.
इस शुरुआत को भारत में आत्मनिर्भर डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर के पीएम मोदी के विजन को पूरा करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है.
‘BharOS' is a successful start towards data privacy, and an important initiative towards strong, indigenous & #Aatmanirbhar digital infrastructure in India. pic.twitter.com/npOwYzDyLR
— MyGovIndia (@mygovindia) January 24, 2023
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