इन 7 मौकों में न बोलने में है समझदारी


By Mahima Sharan11, Jun 2024 01:20 PMjagranjosh.com

ज्यादा बोलने की आदत

कई लोगों की आदत होती हैं कि वे हर किसी के सामने बोलना शुरू कर देते हैं। लेकिन उनकी यहीं आदत उनका इम्प्रेशन लोगों के सामने खराब करती है। किसी के भी सामने मुंह खोलने से पहले आपको अपने शब्दों पर ध्यान देने की जरूरत है।

गुस्से में फैसला

गुस्से में कभी भी कोई फैसला न लें। जब भी आपको गुस्सा आए, तब खुद शांत रखें। शांत रहने से आपको दोबारा सोचने का मौका मिलता है।

शब्दों का चयन

कई बार ऐसा होता है कि हम जाने-अनजाने में कुछ ऐसा बोल जाते जो दूसरे लोगों को चोट पहुंचाता है। इसलिए ऐसे शब्दों का इस्तेमाल न करें जिससे लोगों को बुरा लगे या उनकी आत्मा ठेस पहुंचे।

जब श्योर न हो

अगर आपको किसी चीज के बारे में ज्यादा जानकारी न हो या आप उसे अच्छे से नहीं जानते हो तब चुप रहें। ऐसे स्थिति में बोल कर आप अपनी इज्जत लोगों के सामने कम कर रहे हैं।

जब कोई आलोचना करें

जब कोई आपकी आलोचना तक उस स्थिति में चुप रहे। क्योंकि जरूरी नहीं कि आप भी दूसरों की तरह बनें। इससे सामने वाले को आपकी सुनने की क्षमता का पता चलेगा।

जब इमोशनल हो

भावनाओं में डूब कर कभी भी फैसला नहीं लेना चाहिए, इसलिए जब भी आप इमोशनल महसूस कर रहे हो तक चुप रहना ही बेहतर है। किसी भी इंसान के सामने अपने मन की बात खुलकर न कहें।

चुगली

जब कोई किसी के पीठ पीछे उसके बारे में कुछ गलत कहे तब आप उस गॉसिप का हिस्सा न बनें। किसी की चुगली करना कायरता की निशानी है।

अगर आप समझदार इंसान बनना चाहते हैं, तो इन बातों को अपने दिमाग में डाल लें। शिक्षा से जुड़ी तमाम खबरों के लिए जुड़े रहे jagranjosh के साथ 

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