A committee comprising heads of various investigating agencies and specialised government departments has been constituted to monitor the probe and steps have been taken to bring back black money stashed in foreign banks. केंद्र सरकार ने विदेशी बैंकों में जमा कालेधन और धन की गैर कानूनी आवाजाही की जांच के लिए एक समिति (Committee to bring back black money) का गठन 22 अप्रैल 2011 को किया. राजस्व विभाग के सचिव (Revenue Secretary) की अध्यक्षता वाली इस दस सदस्यीय समिति के गठन की सूचना सर्वोच्च न्यायालय को सॉलिसिटर जनरल गोपाल सुब्रमण्यम ने विदेशों में जमा काला धन वापस लाने के मामले में सुनवाई के दौरान दी.
राजस्व विभाग के सचिव (Revenue Secretary) की अध्यक्षता वाली विदेशी बैंकों में जमा कालेधन और धन की गैर कानूनी आवाजाही की जांच हेतु दस सदस्यीय समिति (Committee to bring back black money) में रिजर्व बैंक आफ इंडिया के डिप्टी गर्वनर (Deputy Director RBI), आइबी डायरेक्टर (Director of the IB), इनफोर्समेंट डायरेक्टर, सीबीआइ डायरेक्टर (Director of the CBI), चेयरमैन सीबीडीटी, नारकोटिक कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के डीजी, डीजी रेवेन्यू इंटेलीजेंस, डायरेक्टर फाइनेंशियल इंटेलीजेंस यूनिट (एफआइयू) और सीबीडीटी के संयुक्त निदेशक शामिल हैं. गठित कमेटी में संयोजन बनाए रखने के लिए गृह सचिव, विदेश सचिव, रक्षा सचिव व कैबिनेट सचिव के दफ्तर से मदद लेने का निर्देश भी केंद्र सरकार ने दिया है. ज्ञातव्य हो कि सर्वोच्च न्यायालय ने केंद्र सरकार को सभी एजेंसियों के बीच संयोजन के लिए एसआइटी (Special Investigation Team) गठित करने का निर्देश दिया था.
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