भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) ने आधार आधारित सिम के सत्यापन हेतु ओटीपी जैसे नए तरीकों को परिचालन में लाने की रूपरेखा को मंजूरी प्रदान कर दी.
दूए संचार ऑपरेटर मौजूदा ग्राहकों के सिम के पुन: सत्यापन हेतु नए तरीके को 1 दिसंबर 2017 से लागू करेंगे. यूआईडीएआई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अजय भूषण पांडे के अनुसार दूरसंचार कंपनियों की योजना को मंजूरी दे दी गई है.
इसके बाद केंद्र सरकार ने ऑपरेटरों से अपनी रूपरेखा के साथ यूआईडीएआई से संपर्क करने को कहा, जिससे वे अनुमति वाली नई प्रक्रियाओं को परिचालन में ला सकें और नई प्रणाली को क्रियान्वित कर सकें.
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प्रमुख तथ्य-
केंद्र सरकार ने पिछले महीने ग्राहकों के मोबाइल नंबरों को आधार से जोड़ने के तीन तरीकों की घोषणा की थी.
इससे ग्राहकों को अपने घर से सिम के पुन: सत्यापन की सुविधा मिलेगी.
इस योजना पर विचार के बाद सुरक्षा, अनुपालन और आधार कानून तथा निजता के संरक्षण के पहलुओं को देखते हुए मंजूरी प्रदान की गई है.
नए मंजूर तरीकों के तहत मोबाइल नंबर को आधार से ओटीपी (वन टाइम पासवर्ड), ऐप और आईवीआरएस के जरिये जोड़ा जा सकता है.
सरकार ने शारीरिक रूप से अक्षम, बीमार लोगों और वरिष्ठ नागरिकों को यह सुविधा उनके घर के दरवाजे पर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है.
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उद्देश्य-
इस प्रक्रिया का उद्देश्य समूची प्रक्रिया को सरल करना और आम लोगों हेतु इसे सुगम बनाना है. दूरसंचार कंपनी के स्टोर पर जाकर आधार के साथ मोबाइल नंबर को जोड़ने की सुविधा जारी रहेगी. मोबाइल कंपनियों ने यूआईडीएआई को आश्वासन दिया है कि वे इस महीने के अंत तक ओटीपी आधारित सत्यापन की सुविधा शुरू कर देंगी.
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