असम सरकार ने व्यस्कों के लिए जापानी इन्सेफेलाइटिस (जेई) का टीकाकरण अभियान 22 फरवरी 2014 से शुरु करने का निर्णय लिया. इस निर्णय के साथ ही असम इस बीमारी से व्यस्कों को बचाने के लिए टीकाकरण अभियान शुरू करने का निर्णय लेने वाला देश का पहला राज्य बन गया.
प्रायोगिक आधार पर राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने व्यस्क टीकाकरण अभियान शिवसागर जिले में आयोजित किया था. पहले चरण में असम के उपरी जिलों में टीकाकरण का काम एक सप्ताह में पूरा किया जाना है.
बीते तीन वर्षों (2011, 12, 13) में, राज्य में जापानी इन्सेफेलाइटिस के 3000 मामले दर्ज किए गए जिसमें से 342 लोगों की मौत हो गई. राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चलाना होगा.
जापानी इन्सेफेलाइटिस
भारत ने जापानी इन्सेफेलाइटिस से बच्चों को बचाने के लिए प्रथम स्वदेशी टीके का शुभारंभ 4 अक्टूबर 2013 को किया था. अब तक, यह टीका भारत चीन से मंगाया करता था.
जेई वैक्सीन– जेनवैक (जेईएनवीएसी) वेरो सेल है जो प्यूरिफायड इनएक्टिवेटेड को शुद्ध कर बनाया जाता है. जेनवैक पहला ऐसा वैक्सीन है जो भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद और भारत बायोटेक के बीच पब्लिक– प्राइवेट भागीदारी से बनाया जाएगा.
Comments
All Comments (0)
Join the conversation