चंद्रयान-2 की सॉफ्ट लैंडिंग: जाने कब और कैसे उतरेगा चंद्रयान

Sep 6, 2019, 18:11 IST

चंद्रयान-2 का विक्रम लैंडर 35 किलोमीटर की ऊंचाई से चांद के दक्षिणी ध्रुव पर उतरना शुरू करेगा. तब इसकी रफ्तार 200 मीटर प्रति सेकंड होगी.

chandrayaan 2 moon
chandrayaan 2 moon

चंद्रयान-2 का लैंडर विक्रम आज रात 1.30 से 2.30 बजे के बीच ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ करके चांद के दक्षिण ध्रुव पर उतरेगा. खास बात ये भी है कि भारत पहली बार अपने किसी यान की सॉफ्ट लैंडिंग कराने जा रहा है. यदि यह सफलतापूर्वक होता है, तो भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर पहुंचने वाला विश्व का पहला देश बन जाएगा.

चंद्रयान -2 के मुख्य रूप से तीन भाग हैं - ऑर्बिटर, विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर. इसरो ने बताया की चांद के 3 लाख 84 हजार किलोमीटर के सफर पर निकला चंद्रयान-2 अब अपने मिशन से मात्र 35 किलोमीटर दूर है. इसरो के मुताबिक, यह अभियान सफल रहा तो रूस, अमेरिका और चीन के बाद भारत चंद्रमा की सतह पर रोवर पहुंचाने वाला चौथा देश बन जाएगा.

चंद्रयान-2 का विक्रम लैंडर 35 किलोमीटर की ऊंचाई से चांद के दक्षिणी ध्रुव पर उतरना शुरू करेगा. तब इसकी रफ्तार 200 मीटर प्रति सेकंड होगी. यह इसरो वैज्ञानिकों के लिए बहुत ही चुनौतीपूर्ण काम होगा. क्योंकि ऐसा पहली बार होगा जब कोई देश चांद के दक्षिणी ध्रुव पर होगा.

चंद्रयान 2 लैंडिंग: समय

विक्रम लैंडर शुक्रवार-शनिवार की रात 1.30 से 2.30 बजे के बीच चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरेगा. विक्रम से रोवर प्रज्ञान सुबह 5.30 से 6.30 के बीच निकलेगा. चंद्रयान-2 के ऑर्बिटर का जीवनकाल एक वर्ष का है. यह इस दौरान चंद्रमा की लगातार परिक्रमा करता रहेगा और हरेक जानकारी को इसरो के वैज्ञानिकों को भेजता रहेगा. वहीं, रोवर ‘प्रज्ञान’ का जीवनकाल एक चंद्र दिवस अर्थात धरती के 14 दिन के बराबर है. यह इस दौरान वैज्ञानिक प्रयोग कर इसकी जानकारी इसरो को भेजेगा.

विक्रम से रोवर प्रज्ञान सुबह 5.30 से 6.30 के बीच निकलेगा. रोवर प्रज्ञान चांद की सतह पर चलना शुरू करेगा. रोवर प्रज्ञान 1 सेंटीमीटर प्रति सेकंड की गति से चांद की सतह पर 14 दिनों तक यात्रा करेगा. वह इस दौरान 500 मीटर की दूरी तय करेगा.

मिशन का उद्देश्य

मिशन का सबसे पहला उद्देश्य चांद की सतह पर सुरक्षित उतरना और फिर सतह पर रोबोट रोवर संचालित करना है. इसका उद्देश्य चांद की सतह का नक्शा तैयार करना, खनिजों की मौजूदगी का पता लगाना, चंद्रमा के बाहरी वातावरण को स्कैन करना तथा किसी न किसी रूप में पानी की उपस्थिति का पता लगाना है.

चंद्रयान-2 की लैंडिंग प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ-साथ 74 बच्चे भी देखेंगे. इन बच्चों का चयन क्विज के जरिए हुआ था. चंद्रयान-2 का ऑर्बिटर चांद से लगभग 140 किलोमीटर ऊपर चक्कर लगाता रहेगा. इसके जरिए ऑर्बिटर दो साल तक चांद की तस्वीरें भेजेगा.

विक्रम साराभाई के नाम पर इसके लैंडर का नाम

भारत में अंतरिक्ष विज्ञान के जनक कहे जाने वाले विक्रम साराभाई के नाम पर इसके लैंडर का नाम विक्रम रखा गया है. वहीं रोवर का नाम प्रज्ञान है, जो संस्कृत का एक शब्द है. इस शब्द का अर्थ होता है ज्ञान.

करेंट अफेयर्स ऐप से करें कॉम्पिटिटिव एग्जाम की तैयारी,अभी डाउनलोड करें| Android|IOS

Vikash Tiwari is an content writer with 3+ years of experience in the Education industry. He is a Commerce graduate and currently writes for the Current Affairs section of jagranjosh.com. He can be reached at vikash.tiwari@jagrannewmedia.com
... Read More

यूपीएससी, एसएससी, बैंकिंग, रेलवे, डिफेन्स और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए नवीनतम दैनिक, साप्ताहिक और मासिक करेंट अफेयर्स और अपडेटेड जीके हिंदी में यहां देख और पढ़ सकते है! जागरण जोश करेंट अफेयर्स ऐप डाउनलोड करें!

एग्जाम की तैयारी के लिए ऐप पर वीकली टेस्ट लें और दूसरों के साथ प्रतिस्पर्धा करें। डाउनलोड करें करेंट अफेयर्स ऐप

AndroidIOS

Trending

Latest Education News