दुनिया की दिग्गज टेक इन्वेस्टर कंपनी सिल्वर लेक (Silver Lake) रिलायंस रिटेल (Reliance Retail) में 7500 करोड़ रुपये निवेश करेगी. इसके बदले में कंपनी को रिलायंस रिटेल में 1.75 प्रतिशत हिस्सेदारी मिलेगी. सिल्वर लेक ने रिलायंस की टेक कंपनी जियो प्लेटफॉर्म्स में भी 10,200 करोड़ रुपये का निवेश किया था.
इस निवेश के बाद रिलायंस रिटेल वेंचर्स लिमिटेड की इक्विटी वैल्यू 4.21 लाख करोड़ रुपये हो जाएगी. सिल्वर लेक रिलायंस रिटेल (RRVL) की सहायक कंपनी रिलायंस रिटेल लिमिटेड भारत के सबसे तेजी से बढ़ रहे रिटेल बिजनेस का संचालन करती है. इससे पहले सिल्वर लेक ने रिलायंस की टेक कंपनी जियो प्लेटफॉर्म्स में भी निवेश किया था.
मुख्य बिंदु
• रिलायंस रिटेल में सिल्वर लेक पार्टनर्स 7500 करोड़ रुपये निवेश करेगी. इसके बदले सिल्वर लेक को रिलायंस रिटेल में 1.75 प्रतिशत हिस्सेदारी मिलेगी.
• इस समझौता के बाद रिलायंस रिटेल की मार्केट वैल्यू 4.21 लाख करोड़ रुपये हो जाएगी, इसकी घोषणा कंपनी ने 09 सितंबर 2020 की शेयर बाजार फाइलिंग में की.
• यह डील इसलिए अहम है क्योंकि भारत में आरआईएल अपने खुदरा व्यापार का विस्तार कर रहा है और उसकी टक्कर अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसी महत्वपूर्ण कंपनियों से है.
• सिल्वर लेक ने रिलायंस के जियो प्लेटफॉर्म्स में भी निवेश किया है. कंपनी ने रिलायंस जियो में 10,200 करोड़ रुपये का निवेश किया है.
जियो प्लेटफॉर्म्स की कुछ हिस्सेदारी बेचा गया
रिलायंस इंडस्ट्रीज के डिजिटल आर्म जियो प्लेटफॉर्म्स की कुछ हिस्सेदारी बेचने के बाद मुकेश अंबानी अपने रिटेल बिजनेस को मजबूत करने की दिशा में बढ़ रहे हैं. उन्हें इसके लिए मजबूत निवेशकों की तलाश है. माना जा रहा है कि रिलायंस इंडस्ट्रीज अपनी सहयोगी कंपनी रिलायंस रिटेल में लगभग 10 प्रतिशत हिस्सेदारी बेचना चाहती है. सिल्वर लेक के रूप में कंपनी को अपना पहला निवेशक मिल गया है.
सिल्वर लेक ने जियो प्लेटफॉर्म में भी निवेश किया
बता दें कि सिल्वर लेक ने जियो प्लेटफॉर्म में भी निवेश किया था. रिलायंस ने पिछले सप्ताह फ्यूचर समूह के खुदरा एवं लॉजिस्टिक्स कारोबार का 24,713 करोड़ रुपये में अधिग्रहण किया था.
कंपनी के बारे में
सिल्वर लेक रिलायंस रिटेल (RRVL) की सहायक कंपनी रिलायंस रिटेल लिमिटेड भारत के सबसे तेजी से बढ़ रहे रिटेल बिजनेस का संचालन करती है. कंपनी के देशभर में 12,000 स्टोर हैं. रिलायंस रिटेल की नजर लाखों ग्राहकों और सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSME) को सशक्त बनाने और पसंदीदा साझेदार के रूप में वैश्विक और घरेलू कंपनियों के साथ मिलकर काम करते हुए भारतीय खुदरा क्षेत्र को फिर से संगठित करने पर है. रिलायंस रिटेल ने अपनी नई स्ट्रैटेजी के तहत छोटे और असंगठित व्यापारियों का ट्रांसफॉर्मेशनल डिजिटलाइजेशन शुरू किया है.
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