केंद्र सरकार ने 15 जुलाई 2017 को गाय से मिलने वाले लाभ के वैज्ञानिक आधार पर शोध के लिए 19 सदस्यीय समिति का गठन किया है. यह समिति गाय से जुड़े विभिन्न उत्पादों से होने वाले लाभ पर राष्ट्रीय स्तर पर अनुसंधान करेगी.
इस राष्ट्रीय परियोजना का नाम स्वरोप अर्थात साइंटफिक वैलिडेशन एंड रिसर्च ऑन पंचगव्य (एसवीएआरओपी) रखा गया है. इस समिति में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और विश्व हिंदू परिषद् (विहिप) से जुड़े तीन सदस्य भी शामिल हैं. अंतर विभागीय सर्कुलर और समिति के सदस्यों से इस बारे में जानकारी प्रसारित की गयी.
यह भी पढ़ें: राष्ट्रीय शिक्षा नीति के मसौदे के लिए नौ सदस्यीय समिति का गठन
गाय पर राष्ट्रीय अनुसंधान समिति
• इस समिति का अध्यक्ष विज्ञान और तकनीक मंत्री हर्षवर्धन को बनाया गया है.
• समिति में विज्ञान एवं तकनीक विभाग, बायोटेक्नोलॉजी, नवीन एवं नवीकरण ऊर्जा मंत्रालय के सचिवों और अनुसंधान संस्थानों के वैज्ञानिकों भी सदस्य बनाया गया है.
• विज्ञान भारती के अध्यक्ष विजय भाटकर को समिति का सह अध्यक्ष बनाया गया है.
• सीएसआइआर के पूर्व निदेशक आरए माशेलकर को भी समिति का सदस्य बनाया गया है.
यह भी पढ़ें: केंद्र सरकार ने वर्चुअल करेंसी के लिए फ्रेमवर्क जांच हेतु समिति का गठन किया
• समिति में आईआईटी दिल्ली के निदेशक प्रोफेसर वी रामगोपाल राव और आईआईटी के ग्रामीण विकास एवं प्रौद्योगिकी केन्द्र के प्रोफेसर वीके विजय भी शामिल हैं.
• यह समिति पंचगव्य अर्थात् गोबर, गोमूत्र, गाय का दूध, दही और घी के पोषण, स्वास्थ्य और कृषि समेत विभिन्न क्षेत्रों में होने वाले फायदे को वैज्ञानिक तौर पर साबित करने के लिए परियोजना का चयन करेगी.
• आरएसएस और विहिप से जुड़े विज्ञान भारती और गोविज्ञान अनुसंधान केंद्र के तीन सदस्यों को भी समिति में शामिल किया गया है.
केंद्र सरकार द्वारा आरंभ किये गये इस राष्ट्रीय कार्यक्रम में अन्य संबंधित मंत्रालयों, सरकारी विभागों, अकादमिक संस्थानों, शोध प्रयोगशालाओं, स्वयंसेवी संगठनों और अन्य विभागों की भी भागेदारी होगी.
Comments
All Comments (0)
Join the conversation