वित्त मंत्रालय ने गैर केंद्रीय कर्मचारियों को भी राहत देते हुए 29 अक्टूबर 2020 को यह घोषणा किया कि उन्हें भी एलटीसी की तरह के खर्च के बदले आयकर में छूट का लाभ दिया जाएगा और उन्हें इसके लिए यात्रा करने की जरूरत नहीं होगी. एलटीसी कैश वाउचर योजना के तहत इनकम टैक्स में छूट का लाभ अब राज्य सरकार, सरकारी स्वामित्व वाली कंपनियों और निजी कंपनियों के कर्मचारियों को भी मिलेगा.
इस बात की जानकारी आयकर विभाग ने 29 अक्टूबर 2020 को दी. केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने इस संदर्भ में बयान जारी कर कहा है कि कि केंद्र सरकार के अतिरिक्त अन्य कर्मचारियों को भी मान्य एलटीसी के रूप में दोनों तरफ के किराये पर प्रति व्यक्ति अधिकतम 36,000 रुपये नकद भत्ते के भुगतान पर आयकर छूट का लाभ मिलेगा.
सीबीडीटी ने क्या कहा?
सीबीडीटी की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि अन्य कर्मचारियों को लाभ उपलब्ध कराने के लिये एलटीसी किराये के बराबर नकद भुगतान को लेकर गैर-केंद्रीय कर्मियों को भी आयकर में छूट देने का फैसला किया गया है.
अब निजी कर्मचारियों को भी फायदा
अब वित्त मंत्रालय ने कहा है कि राज्य सरकारों के कर्मचारियों, राज्य सरकारों के उद्यमों के कर्मचारियों और निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को भी एलटीसी के समकक्ष जो भी भत्ता मिलता हो, उस पर इनकम टैक्स का लाभ मिलेगा. गौरतलब है कि निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को लीव ट्रैवल अलाउंस (एलटीए) मिलता है.
दो कैटेगरी में एलटीसी
दरअसल, प्रत्येक चार साल में सरकार अपने कर्मचारियों को दो कैटेगरी में एलटीसी देती है. इस योजना के तहत कर्मचारी को देश भर में भ्रमण की छूट होती है. कर्मचारियों को चार साल के अंदर दो बार उनके गृह राज्य की यात्रा के लिए एलटीसी का भुगतान किया जाता है. लेकिन इस बार कोरोना महामारी की वजह से कर्मचारियों को एलटीसी के बदले नकद वाउचर देने का फैसला लिया गया है. कर्मचारी इस कैश वाउचर का इस्तेमाल 31 मार्च 2021 तक कर पाएंगे.
पृष्ठभूमि
गौरतलब है कि इसके पहले 12 अक्टूबर 2020 को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक महत्वपूर्ण घोषणा करते हुए कहा था कि केंद्रीय कर्मचारियों को यात्रा अवकाश रियायत (LTC) का कैश वाउचर्स दिया जाएगा. इसका मतलब यह था कि एलटीसी के बदले नकद भुगतान होगा जो कि डिजिटल होगा. यह साल 2018 से साल 2021 के लिए होगा. इसके तहत ट्रेन या प्लेन के किराये का भुगतान होगा और वह टैक्स फ्री होगा.
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