केन्द्रीय पेयजल और स्वच्छता मंत्रालय के सचिव परमेश्वरन अय्यर ने 12 जून 2018 को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत मिशन के तहत 'स्वच्छ आइकॉनिक प्लेस' (एसआईपी) का तीसरा चरण शुरू किया.
मंत्रालय ने अपनी महत्वाकांक्षी योजना स्वच्छ भारत मिशन के तीसरे चरण के तहत दस स्वच्छ दर्शनीय स्थानों को जोड़ा है.
दस स्वच्छ दर्शनीय स्थान:
स्वच्छ दर्शनीय स्थान | स्थान | राज्य |
राघवेंद्र स्वामी मंदिर | कुरनूल | आंध्र प्रदेश |
हजारद्वारी पैलेस | मुर्शिदाबाद | पश्चिम बंगाल |
ब्रहम सरोवर मंदिर | कुरुक्षेत्र | हरियाणा |
विदुर कुटी | बिजनौर | उत्तर प्रदेश |
माणा गांव | चमोली | उत्तराखंड |
पांगोंग झील | लेह - लद्दाख | जम्मू-कश्मीर |
नागवासुकि मंदिर | इलाहाबाद | उत्तर प्रदेश |
इमा कीथल /मार्केट | इंफाल | मणिपुर |
सबरीमाला मंदिर | पठानमथिट्टा जिला | केरल |
कंवआश्रम | कोटद्वार | उत्तराखंड |
मुख्य तथ्य:
- स्वच्छ आइकॉनिक स्थल के तीसरे चरण का शुभारंभ माणा गांव में किया गया जो उत्तराखंड में बद्रीनाथ मंदिर के निकट अवस्थित है.
- यह गांव अब एक स्वच्छ आइकॉनिक स्थल बन गया है. इस गांव में पौराणिक महत्व के अनेक स्थल हैं, इसलिए वहां बड़ी संख्या में पर्यटक और श्रद्धालु पहुंचते हैं.
- मंत्रालय ने 26.87 लाख रुपये की स्वीकृत राशि के साथ माणा गांव में ठोस एवं तरल कचरा प्रबंधन से जुड़ी चार प्रमुख गतिविधियों की भी शुरुआत की जिनमें सामुदायिक सोख गड्ढे एवं खाद (कम्पोस्ट) के गड्ढे तैयार करना, जैव एवं कार्बनिक एवं अकार्बनिक अपशिष्ट को अलग-अलग करने वाले केन्द्र की स्थापना करना और तरल अपशिष्ट के लिए नालियां बनाना शामिल हैं.
- ये नए स्थल अब चरण I और चरण II के तहत चयनित किए गए उन 20 आइकॉनिक स्थलों में सम्मिलित हो गए हैं जहां विशेष स्वच्छता या साफ-सफाई के कार्य पहले से ही जारी हैं.
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चरण I के स्वच्छ दर्शनीय स्थल | चरण II के स्वच्छ दर्शनीय स्थल |
अजमेर शरीफ दरगाह | गंगोत्री |
सीएसटी मुंबई | यमुनोत्री |
स्वर्ण मंदिर | महाकालेश्वर मंदिर |
कामाख्या मंदिर | चारमीनार |
मणिकर्णिका घाट | कॉन्वेंट एंड चर्च ऑफ सेंट फ्रांसिस ऑफ असीसी |
मीनाक्षी मंदिर | कलादी |
वैष्णो देवी मंदिर | गोमेतेश्वर |
श्री जगन्नाथ मंदिर | बैद्यनाथ धाम |
ताजमहल | गया तीर्थ |
तिरुपति मंदिर | सोमनाथ मंदिर |
स्वच्छ आइकॉनिक स्थल (एसआईपी) |
प्रधानमंत्री द्वारा परिकल्पित यह परियोजना राज्य सरकारों और स्थानीय प्रशासन के सहयोग से पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय द्वारा समन्वित या संचालित की जा रही है. इन नए स्थलों को आवश्यक सहयोग या सहायता प्रदान करने के लिए सीएसआर (कॉरपोरेट सामाजिक दायित्व) भागीदारों के रूप में सार्वजनिक उपक्रमों (पीएसयू)/कंपनियों के चयन को अंतिम रूप देने के लिए सलाह-मशविरा फिलहाल जारी है. एसआईपी इन तीन अन्य केंद्रीय मंत्रालयों के साथ एक सहयोगात्मक परियोजना है: आवास एवं शहरी मामलों का मंत्रालय, संस्कृति मंत्रालय और पर्यटन मंत्रालय. इसमें संबंधित राज्यों के स्थानीय प्रशासन शामिल हैं. इसके अलावा, इसमें प्रायोजक भागीदारों के रूप में सार्वजनिक क्षेत्र और निजी कंपनियां भी शामिल हैं. पहला चरण वर्ष 2016 में लॉन्च किया गया था, जबकि नवंबर 2017 में स्वच्छ आइकॉनिक स्थल का दूसरा चरण लॉन्च किया गया था.
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स्वच्छ भारत मिशन |
यह अभियान महात्मा गाँधी के जन्मदिवस 02 अक्टूबर 2014 को आरंभ किया गया. स्वच्छ भारत का उद्देश्य व्यक्ति, क्लस्टर और सामुदायिक शौचालयों के निर्माण के माध्यम से खुले में शौच की समस्या को कम करना या समाप्त करना है. सरकार ने 2 अक्टूबर 2019 तक खुले में शौंच मुक्त (ओडीएफ) भारत को हासिल करने का लक्ष्य रखा है. |
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