कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम - इंडिया (सीईआरटी-इन) ने डेक्सटर नामक वायरस की खोज 19 जनवरी 2014 को की. डेक्सटर निजी जानकारी को चोरी करने वाला एक वायरस है.
यह वायरस विशेष रूप से क्रेडिट कार्ड के उपयोगकर्ताओं के लिए हमला बोल रहा है जब वे खरीदारी काउंटरों पर भुगतान कर रहे हैं. जब क्रेडिट कार्ड को बिक्री केंद्रों (पीओएस) पर स्वैप किया जा जाता है तो यह डेक्सटर वायरस कार्ड धारक का नाम , खाता नंबर, समाप्ति तिथि, सीवीवी कोड और अन्य विवेकाधीन जानकारी जैसे गोपनीय डेटा चुराता है. इस चोरी की गयी सूचना को वित्तीय घाटे और कार्ड पर फ़िशिंग हमलों के लिए लिया जा सकता है.
इससे पहले दिसंबर 2013 में भारतीय रिजर्व बैंक ने डेबिट कार्ड धारकों के लिए यह अनिवार्य कर दिया था कि प्रत्येक खरीद पर उन्हें हर बार अपना पिन नंबर डालना होगा. ट्रोजन वायरस के आदेश बिक्री केंद्रों (पीओएस ) पर पाये जाने के बाद यह आदेश पारित किया गया था.
कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम - इंडिया (सीईआरटी इन)
कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम - इंडिया (सीईआरटी इन) ऑनलाइन बैंकिंग लेन - देन रखने वाली संस्था है. इसकी स्थापना जनवरी 2004 में की गई थी. यह संचार मंत्रालय और सूचना प्रौद्योगिकी के तहत एक नोडल विभाग है. इसे विनाशकारी और हैकिंग गतिविधियों के खिलाफ भारतीय साइबरस्पेस और सॉफ्टवेयर बुनियादी ढांचे की रक्षा की जिम्मेदारी सौंपी गयी है.
सूचना प्रौद्योगिकी संशोधन अधिनियम, 2008 के अनुसार , सीईआरटी - साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में निम्न कार्य करने के लिए राष्ट्रीय एजेंसी के रूप में नामित है-
• संग्रह, विश्लेषण और साइबर घटनाओं के बारे में जानकारी का प्रसार.
• भविष्य वाणियां और साइबर सुरक्षा की घटनाओं का अलर्ट.
• साइबर सुरक्षा की घटनाओं से निपटने के लिए आपातकालीन उपाय.
• साइबर घटना की प्रतिक्रियात्मक गतिविधियों का समन्वय
• अंक दिशा निर्देशों, परामर्श, भेद्यता नोट और सूचना सुरक्षा से संबंधित श्वेत पत्र, प्रक्रियाओं, रोकथाम, प्रतिक्रिया और साइबर सुरक्षा की घटनाओं की रिपोर्टिंग.
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