बायोकैमिकल इंजीनियरिंग का क्षेत्र इंजीनियरिंग के नये ब्रांचेस में से एक है जो कि केमिकल इंजीनियरिंग, बॉयोकेमिस्ट्री और माइक्रोबॉयोलॉजी तीनों का सम्मिलित ब्रांच है. बायोकैमिकल इंजीनियरिंग प्रोफेशनल कोशिका, वायरस, प्रोटीन एवं कई अन्य प्रदार्थों का अध्ययन और परीक्षण कार्य करते हैं. ये किसी खास वातावरणीय स्थिति में रॉ-मैटेरियल आदि की जांच करते हैं और यह सुनिश्चित करते हैं इनसे नये कंपाउंड बनाये जा सके जो कि आम जनता के लिए उपयोगी हों. डिजाइन के अतिरिक्त बायोकैमिकल इंजीनियरिंग प्रोफेशनल्स को प्रॉसेस डेवेलपमेंट और प्रोडक्ट डेवेलपमेंट में कार्य करना होता है.
कुछ बायोकैमिकल इंजीनियरिंग प्रोफेशनल केमिस्ट और बॉयोलॉजिस्ट के साथ मिलकर नई तकनीकों के लिए कार्य़ करते हैं जिससे अनुसंधान कार्यों में मदद मिल सके. बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में प्राइवेट सेक्टर के साथ-साथ सरकारी संगठनों में भी जॉब के अवसर उपबल्ध होते हैं जो कि कई उप-क्षेत्रों में हो सकते हैं, जैसे – डाई उत्पादन के पौधों, बॉयो-फ्यूल, अल्कोहल, स्टेरॉइड, एंजाइम, बॉयो-फर्टीलाइजर्स या बॉयोकैटालिस्ट आदि. बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सरकारी नौकरियां केंद्र व राज्य सरकारों के कृषि मंत्रालय, रसायन मंत्रालय, पर्यावरण मंत्रालय, खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय, खनन, पेट्रोकेमिकल, तेल एवं प्राकृतिक गैस, प्लास्टिक, फार्मा से जुड़े सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों, संबंधित शैक्षणिक संस्थानों, आदि में होती हैं.
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सरकारी नौकरी के लिए योग्यता?
सिविल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सरकारी नौकरी पाने के लिए जरूरी है कि उम्मीदवार को किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय या संस्थान से बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में स्नातक डिग्री (बीएससी, बीई, बीटेक) उत्तीर्ण होना चाहिए. सीनियर पदों के लिए बायोकैमिकल इंजीनियरिंग में मास्टर्स (एमटेक) की डिग्री मांगी जाती है.
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सरकारी नौकरी के लिए आयु सीमा?
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में जूनियर पदों पर सरकारी नौकरियों के लिए उम्मीदवार की आयु 21 वर्ष से 30 वर्ष के बीच होनी चाहिए जबकि सीनियर पदों के लिए अधिकतम आयु सीमा 40 वर्ष तक होती है. आरक्षित श्रेणी के उम्मीदवारों को अधिकतम आयु सीमा सरकार के नियमानुसार छूट दी जाती है.
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सरकारी नौकरी के लिए चयन प्रक्रिया
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में विभिन्न सरकारी पदों पर उम्मीदवारों का चयन पद के अनुसार अलग-अलग होता है. आमतौर पर शैक्षणिक रिकॉर्ड, लिखित परीक्षा और व्यक्तिगत साक्षात्कार के आधार पर चयन किया जाता है.
कितनी मिलती है बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में सैलरी?
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में विभिन्न पदों पर छठें वेतन आयोग के पे-बैंड या सातवें वेतन आयोग के सम्बन्धित पे-मैट्रिक्स लेवल के आधार पर सैलरी दी जाती है. इसके अतिरिक्त गृह किराया भत्ता (एच.आर.ए.), परिवहन भत्ता, आदि देय होता है. वहीं, राज्य सरकारों के विभागों एवं संस्थानों में वेतनमान संबंधित राज्य के समकक्ष स्तर पर निर्धारित वेतनमान के अनुसार दिया जाता है जो कि राज्य के अनुसार अलग-अलग होता है.
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में कहां मिलेगी सरकारी नौकरी?
बायोकैमिकल इंजीनियरिंग से संबंधित पद कृषि मंत्रालय, रसायन मंत्रालय, पर्यावरण मंत्रालय, खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय, खनन, पेट्रोकेमिकल, तेल एवं प्राकृतिक गैस, प्लास्टिक, फार्मा से जुड़े सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों, आदि में होता है इसलिए इस क्षेत्र में सरकारी नौकरी इन्हीं संगठनों में समय-समय पर निकलती रहती हैं. इसके अतिरिक्त विभिन्न सरकारी शैक्षणिक संस्थानों में फैकल्टी या प्रोफेसर के रूप में भी सरकारी नौकरी पायी जा सकती है. इन सभी रिक्तियों के बारे में भारत सरकार के प्रकाशन विभाग से प्रकाशित होने वाले रोजगार समाचार, दैनिक समाचार पत्रों एवं सरकारी नौकरी की जानकारी देने वाले पोर्टल्स या मोबाइल अप्लीकेशन के माध्यम से अपडेट रहा जा सकता है.
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