एडवरटाइजमेंट व पब्लिसिटी ये दोनों अपनी बात कहने, दूसरों को प्रभावित करने का बडा जरिया बन चुके हैं। मार्केटिंग के इस युग में इसका महत्व और बढ जाता है, जहां अपने उत्पाद व सेवाओं के प्रचार के लिए एड व पब्लिसिटी का इस्तेमाल किया जाता है। टीवी, रेडियो, वेबसाइट, न्यूजपेपर, होर्डिंग आदि कुछ एडवरटाइजमेंट के परंपरागत माध्यम हैं। इन दिनों बदली इकोनॉमी के कारण एडवरटाइजमेंट व पब्लिसिटी सेक्टर ने तेज ग्रोथ रेट हासिल की है, जिसे बेहतर कॅरियर का ख्वाब देख रहे युवाओं के लिए शुभ संकेत माना जा सकता है। यदि आप इस प्राफेशन में आना चाहते हैं, तो आपके लिए इस क्षेत्र काफी अवसर हो सकते हैं।
योग्यता और कोर्स
इस क्षेत्र में इंट्री के लिए आपका ग्रेजुएट (किसी भी स्ट्रीम से) होना जरूरी होगा। वहीं आज देश के कुछ इंस्टीट्यूट एडवरटाइजमेंट, पीआर व मॉस कॉम में स्नातक कोर्स भी संचालित कर रहे हैं। जहां इंट्री की इलिजिबिलिटी केवल 10+2 होती है। ज्यादातर एडवरटाइजमेंट व पब्लिसिटी एजेंसीज एमबीए, मॉस कम्युनिकेशन, पीआर क्षेत्र में पीजीडीएम या डिग्री जैसे स्पेशलाइज्ड कोर्स किए हुए छात्रों को वरीयता देते हैं। मीडिया प्लानिंग, मार्केट रिसर्च जैसे कामों के लिए खासतौर पर एमबीए डिग्री धारकों को वरीयता दी जाती है। इस क्षेत्र में पैर जमाने के लिए एजुकेशनल क्वालिफिकेशन के साथ आपमें अन्य स्किल्स भी आवश्यक हैं, जिसमें बेहतर कम्युनिकेशन, टेक्नोसेवी होना जरूरी है। वहीं फोटोशॉप, कोरल ड्रॉ जैसे डिजाइन पैकेज का अच्छा ज्ञान स्टूडेंट्स के लिए प्लस प्वांइट है। कहने का आशय यह है कि यदि आप कंप्यूटर फ्रेंडली हैं, तो आप औरों की अपेक्षा फायदे में रहेंगे।
अवसर हैं अनेक
यहां एक्जीक्यूटिव के जिम्मे मार्केट रिसर्च, क्लांइट सर्विस, मीडिया रिसर्च जैसे काम होते हैं, तो वहीं क्रिएटिव फील्ड के कामों में कॉपी राइटिंग, कॉपी एडिटिंग, स्क्रिप्ट राइटिंग व एडिटिंग जैसे काम प्रमुख हैं।
मीडिया प्लानिंग
मीडिया प्लानिंग डिपार्टमेंट का काम आधुनिक मीडिया से जुडे सभी साधनों, समाचारपत्रों, टीवी चैनलों, वेबसाइट पर अपने कस्टमर के लिए स्पेस (जगह) की व्यवस्था करना होती है। इनका काम अमूमन तब शुरू होता है, जब एडवरटाइजमेंट पूरी तरह तैयार हो जाता है, और उसकी कैंपेनिंग की जरूरत होती है।
क्लाइंट सर्विंसिंग
क्लाइंट सर्विसिंग डिपार्टमेंट क्लाइंट व कस्टमर के बीच सामंजस्य स्थापित करने का काम करता है।
एकाउंट एक्जीक्यूटिव
इस क्षेत्र में काम करने वाले लोगों को पैसे का आदान-प्रदान का ब्योरा रखना होता है। मार्केट रिसर्च, क्लांइट सर्वे के बारे में भी उसे अच्छी नॉलेज रखनी होती है।
मार्केट रिसर्च
इस विभाग में काम करने वाले लोगों को मार्केट के बदलते ट्रेंड, प्रोडक्ट के बारे में उपभोक्ता की राय आदि के बारे में सर्वे क रना पडता है और कंपनी को सही फीड बैक देना होता है।
कॉपी राइटर
एडवरटाइजमेंट को और ज्यादा प्रभावी और कैचिंग बनाने के लिए उसकी स्क्रिप्ट (बोल) की अहम भूमिका होती है। कॉपी राइटर का काम उत्पाद की खासियत को कम शब्दों में व अट्रैक्टिव तरीके से बताना होता है।
विजुअलाइजर
विजुअलाइजर का काम यह सुनिश्चित करना होता है कि विज्ञापन तैयार होने के बाद देखने में बेहतर लगे। एप्लाइड आर्ट्स व फाइन आर्ट्स में ली गई डिग्री आपको यहां कामयाबी की राह दिखा सकती है।
कॅरियर की संभावनाएं
आज की कडी प्रतिस्पर्धा के दौर में एड व पब्लिसिटी उद्योग जगत को नई तेजी दे रही है, जिसके चलते इस क्षेत्र में रोजगार के अपार अवसर जन्म ले चुके हैं। इन दिनों कॅरियर व पब्लिसिटी को जहां ग्लैमर से भरा कॅरियर माना जाता है, तो वहीं बाजार में हर रोज उतर रहीं नई-नई एजेंसियां इस काम के दायरे को और बढा रही हैं। इन दिनों चाहे कोई ब्रांड हो, कंपनी हो, सोशलाइट्स हो या फिर कोई संगठन हो, सभी किसी न किसी रूप में लोगों तक अपनी बात पहुंचाने के लिए विज्ञापन व पब्लिसिटी एजेंसीज का सहारा लेते हैं। एक आंकडे के मुताबिक, आज इस सेक्टर में करीब ढाई लाख लोग काम कर रहे हैं। एडवरटाइजमेंट कंपनियों के बीच हुए बडे- बडे मर्जर व कंपनियों के बीच अपना मार्केट शेयर बढाने की होड के चलते नई-नई सेवाओं की डिमांड बढी है, यही नहीं कंपनियों के अंतरराष्ट्रीय व्यापार में बढोत्तरी से यह क्षेत्र काफी व्यापक हो रहा है। एक मार्केट रिसर्च के मुताबिक, देश में 2011-12 में इस सेक्टर की ग्रोथ 30 फीसदी के आसपास रहने की उम्मीद व्यक्त की गई है।
प्रमुख संस्थान
इस क्षेत्र में मॉस कॉम, पीआर, एडवरटाइजमेंट में ग्रेजुएट डिग्री, डिप्लोमा और सर्टिफिकेट कोर्स कराने वाले कुछ संस्थान इस प्रकार हैं:
इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मॉस कम्युनिकेशन, नई दिल्ली www.iimc.nic.in
माखन लाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विवि., भोपाल www.mcu.ac.in
एनआरएआई, गौतम नगर, नई दिल्ली www.nraismc.com
नैम इंस्टीट्यूट, सी-49, सावित्री नगर, नई दिल्ली www.namedu.net
गुरुजम्भेश्वर यूनिवर्सिटी, हिसार www.gjust.ac.in
जेजे डेस्क
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