वैज्ञानिकों के एक समूह ने ऐसे प्राचीन विषाणुओं/ वायरसेस की खोज की है जो तिब्बती ग्लेशियरों में लगभग 15,000 वर्षों से जमे हुए हैं. वैज्ञानिकों ने चीन के तिब्बती पठार से लिए गए बर्फ के दो नमूनों में इन वायरसेस को पाया है.
इस अध्ययन के निष्कर्ष एक विज्ञान पत्रिका - माइक्रोबायोम में प्रकाशित हुए थे.
वैज्ञानिकों ने कथित तौर पर बर्फ में पाए गये किसी भी वायरस को दूषित किए बिना, उसका विश्लेषण करने का एक नया तरीका विकसित किया है.
खोज: मुख्य विशेषताएं
• शोधकर्ताओं ने वर्ष, 2015 में तिब्बती पठार में गुलिया बर्फ के खंड (आइस कैप) से लिए गए दो बर्फ के नमूनों का विश्लेषण किया था. इस बर्फ के खंड ने अपने गठन के समय विभिन्न वायरस कणों को फंसाया था.
• ये बर्फ के खंड समुद्र तल से 22,000 फ़ीट की ऊंचाई वाले क्षेत्रों से एकत्रित किये गये थे.
• इस अध्ययन के दौरान, शोधकर्ताओं ने आइस कैप्स में 33 वायरस के लिए आनुवंशिक कोड की खोज की, जिनमें से चार को वैज्ञानिक समुदाय द्वारा पहले ही पहचाना जा चुका है. हालांकि, लगभग 28 वायरस नोवल/ नये वायरस हैं.
मह्त्त्व
• इन प्राचीन वायरसेस की खोज प्राचीन जीवन रूपों की एक झलक प्रदान करती है और यह भी बताती है कि, जलवायु परिवर्तन के कारण हिमनदों का पिघलना मानव जाति को संभावित रूप से कैसे प्रभावित कर सकता है.
• इन शोधकर्ताओं को वर्तमान खोज के माध्यम से पिछले पर्यावरणीय परिवर्तनों में दिलचस्प अंतर्दृष्टि प्राप्त करने की उम्मीद है.
यह चिंताजनक क्यों है?
• इन बर्फ के खंडों के पिघलने पर, प्राचीन विषाणुओं की खोज चिंताजनक है, खासकर जब दुनिया वर्तमान में घातक COVID-19 महामारी से जूझ रही है.
• उदाहरण: वर्ष, 2016 में साइबेरिया में एक 12 वर्षीय लड़के की मृत्यु हो गई और कम से कम बीस लोगों को एंथ्रेक्स से संक्रमित होने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया. वैज्ञानिकों के अनुसार, एंथ्रेक्स से संक्रमित एक हिरन/ रेनडियर की मृत्यु 75 वर्ष से अधिक समय पहले हो सकती है और उसका शव जमी हुई मिट्टी के नीचे फंस गया होगा.
24,000 साल पुराना वायरस हुआ सजीव
रूसी वैज्ञानिकों ने 07 जून, 2021 को यह जानकारी दी थी कि, साइबेरियन पर्माफ्रॉस्ट में जमा हुआ एक 24,000 वर्षीय सूक्ष्म जीव/ वायरस कथित तौर पर फिर दुबारा अपने जीवन में वापस आ गया है.
ग्लोबल वार्मिंग के कारण पर्माफ्रॉस्ट तेजी से पिघल रहा है और पिछले कुछ वर्षों में कई अवशेषों की खोज की गई है जैसेकि वर्ष, 2017 में एक विलुप्त गुफा शेर शावक, एक 42,000 वर्ष पूर्व का बछेड़ा, और वर्ष, 2019 में 32,000 वर्ष पुराना भेड़िये का सिर.
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