प्रदेश सरकार ने सरकारी जमीनों पर कब्जा करने वाले भूमाफिया पर रोक हेतु एंटी भू-माफिया टास्क फोर्स के गठन का फैसला किया. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में 25 अप्रैल, 2017 को हुई कैबिनेट बैठक में इस फैसले को मंजूरी प्रदान की गई.
प्रमुख तथ्य-
- जिन लोगों ने सरकारी जमीन पर कब्जा किया है, उन जमीनों और भूमाफिया को दो माह में सर्वे कराकर चिन्हित किया जाएगा. इससे पता चलेगा कि कौन-कौन भूमाफिया है और उन्होंने शासन-प्रशासन की मदद से कहां-कहां जमीन कब्जा किया है. ऐसे लोगों की सूची बनाकर सार्वजनिक किया जाएगा.
- सरकारी या निजी ज़मीन पर कब्जे करने वालों पर इसके बाद कार्रवाई की जायेगी.
- टास्क फोर्स के प्रमुख राज्य स्तर पर मुख्य सचिव को नियुक्त किया जाएगा. मंडल स्तर पर कमिश्नर, जिला स्तर पर डीएम और तहसील स्तर पर एसडीएम की अध्यक्षता में टास्क फोर्स गठित की गई है.
- यह सुपरवाइजरी अथारिटी होगी.
- टास्क फोर्स में सभी संबंधित विभागों के अधिकारी सदस्य होंगे.
- सरकारी जमीनों पर कब्जे की आन लाइन शिकायत की जा सकेगी.
- यह शिकायत फिलहाल जनसुनवाई डाट काम एनआईसीडाट इन पर की जाएगी बाद में इसका अलग से पोर्टल तैयार किया जाएगा.
- अवैध कब्जों की शिकायत आम जन द्वारा ऑनलाइन जनसुनवाई.कॉम पर भी की जा सकती है.
धर्म के नाम पर कब्जे पर रोक-
- कैबिनेट ने धर्म के नाम पर सार्वजनिक जमीनों पर कब्जे करने पर भी रोक लगा दी.
- राज्य कैबिनेट ने फैसला किया कि सार्वजनिक स्थानों पर कब्जा कर धार्मिक गतिविधि करना या धार्मिक ढांचे बनाने को भी अवैध माना जायेगा.
- सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार किसी भी धर्म का व्यक्ति किसी भी सार्वजनिक जमीन पर कब्जा नहीं कर सकेगा. इस संबंध में सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के वर्ष 2009 के आदेश का हवाला दिया जिसका गृह विभाग का सर्कुलर भी है.
- पूर्व में किए गए एक फैसले में राज्य सरकार ने रिहायशी मकानों को वाणिज्यिक भवनों में बदलने के पूर्व सरकार के प्रस्ताव को निरस्त कर दिया.
- उत्तर प्रदेश सरकाए जीएसटी बिल को पास करने हेतु 15 मई से एक हफ्ते का विधानसभा सत्र भी आयोजित करेगी.
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