वित्त मंत्रालय ने 20वें विधि आयोग के अध्यक्ष न्यायाधीश न्यायमूर्ति एपी शाह की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय समिति (एचएलसी) का गठन 20 मई 2015 को किया. यह समिति विदेशी संस्थागत निवेशकों पर न्यूनतम वैकल्पिक कर (मैट) से संबंधित विवाद के निपटान के तरीके सुझाएंगी.
दिल्ली विश्वविद्यालय के श्री राम कॉलेज ऑफ़ कॉमर्स में कॉमर्स के पूर्व एसोसिएट प्रोफेसर और चार्टर्ड अकाउंटेंट डॉ. गिरीश आहूजा तथा डॉ. अशोक लहरी को इसका सदस्य नियुक्त किया गया. डॉ.अशोक लहरी एशियाई विकास बैंक के पूर्व मुख्य आर्थिक सलाहकार एवं कार्यकारी निदेशक और कर कानूनों पर व्यापार और उद्योग के साथ बातचीत करने हेतु उच्च स्तरीय समिति के अध्यक्ष हैं.
केंदीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने राज्यसभा में वित्त विधेयक पर चर्चा के करते हुए पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति एपी शाह की अध्यक्षता में एक समिति के गठन की घोषणा 7 मई 2015 को की थी.
न्यायमूर्ति एपी शाह से सम्बंधित मुख्य तथ्य
उच्च न्यायालय, दिल्ली के पूर्व मुख्य न्यायधीश न्यायमूर्ति अजीत प्रकाश शाह (एपी शाह) को भारत के 20वें विधि आयोग का अध्यक्ष नवंबर 2013 में नियुक्त किया गया था. न्यायमूर्ति एपी शाह को सर्वोच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति डीके जैन के अक्टूबर 2013 में 20वें विधि आयोग के अध्यक्ष पद से त्यागपत्र देने के बाद नियुक्त किया गया.
पूर्व न्यायधीश न्यायमूर्ति अजीत प्रकाश शाह का जन्म 13 फरवरी 1948 को महाराष्ट्र के शोलापुर में हुआ था. उन्होंने शोलापुर जिला न्यायालय से अपनी वकालत की शुरूआत की और वर्ष 1977 में वे उच्च न्यायालय, बम्बई में स्थानांतरित हो गये.

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