लोकसभा ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक-2013 को ध्वनिमत से 26 अगस्त 2013 को पारित कर दिया. विधेयक पेश करने से पहले निम्न सदन ने विपक्ष की ओर से पेश संशोधनों को नामंजूर कर दिया. अभी इसे राज्यसभा द्वारा पारित किया जाना है.
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक-2013 को संसद की मंजूरी मिल जाने पर लाभांवित परिवारों में से प्रत्येक व्यक्ति के लिए तीन रूपये से एक रूपये प्रति किलोग्राम की दर से प्रति माह पांच किलो चावल, गेहूं या मोटे अनाज की गारंटी होगी. इस विधेयक में देश की 82 करोड़ आबादी को सस्ती दर पर अनाज मुहैया कराने का प्रावधान है.
विधेयक के कानून बनने के बाद भारत की यह खाद्य सुरक्षा योजना भूख से लड़ाई के मामले में दुनिया का सबसे बड़ा कार्यक्रम होगा.
विधेयक के प्रमुख प्रावधान
• प्रति परिवार 35 किलोग्राम अनाज प्रति माह मिलेगा.
• छह माह से 14 वर्ष तक के बच्चों को पोषक आहार दिया जाएगा.
• तीन वर्ष के लिए प्रति व्यक्ति हर महीने पांच किलो अनाज दिया जायेगा. जिसमें तीनरुपये प्रति किलो की दर से चावल, दो रुपये की दर से गेहूं और एक रुपये की दर से मोटा अनाज दिया जायेगा.
• यह तीन वर्ष के लिए होगा और बाद में इसकी समीक्षा की जायेगी.
• यह 2011 के जनगणना के आधार पर होगा और पीडीएस का सामाजिक ऑडिट होगा.
• गरीब परिवारों की पहचान के कार्य में राज्य सरकारों को शामिल किया जायेगा.
विश्लेषण
विधेयक में 6 महीने से 3 वर्ष तक की आयु वर्ग तक के बच्चे को भी शामिल किया गया है परन्तु इस बात का कहीं जिक्र नहीं है कि 6 महीने से 3 वर्ष के बच्चे को क्या राशन देंगें. क्या उन्हें भी गेहूं और चावल दिया जाएगा.
कृषि मंत्रालय की वर्ष 2009 रिपोर्ट के अनुसार ग्रामीण क्षेत्र में सबसे गरीब व्यक्ति के अनाज की प्रतिव्यक्ति प्रतिमाह खपत 9.8 किलोग्राम है, जबकि खाद्य सुरक्षा विधेयक में पांच किलोग्राम अनाज देने की बात कही गई है.
इस विधेयक के प्रावधानों को लागू करने में राज्यों पर कितना बोझ पड़ेगा और राज्य इसकी भरपाई कैसे करेंगें, इस बारे में कुछ नहीं बताया गया है.
विदित हो कि राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अध्यादेश- 2013 पर 5 जुलाई 2013 को हस्ताक्षर किया था. इसी के साथ ही राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अध्यादेश- 2013 एक क़ानून बन गया.
अध्यादेश आने के बाद राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक को 6 माह के अन्दर लोकसभा और राज्यसभा की मंजूरी अनिवार्य होती है.
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अध्यादेश-2013 हेतु क्लिक करें
Comments
All Comments (0)
Join the conversation