अखिल भारतीय प्रबंधन संघ (एआईएमए) ने व्यापार उन्मुख छात्रों के लिए खुदरा प्रबंधन में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम की शुरुआत कर एक अवसर प्रदान किया है जिससे वे ई-खुदरा (e-retailing) बिक्री के प्रसार की बराबरी कर सकें.
यह खुदरा प्रबंधन पाठ्यक्रम पूरी तरह व्यावसायिक होगा जिसका लक्ष्य तेजी से बढ़ रहे खुदरा उद्योग में एक बेहतर कैरियर की रचना करना होगा. उल्लेखनीय है कि भारत के सकल घरेलू उत्पाद में खुदरा क्षेत्र का योगदान 8 से 10 फीसद है, इसके साथ ही यह अत्यन्त व्यवस्थित उद्योग तीन लाख लोगों को प्रत्यक्ष रोज़गार भी उपलब्ध कराता है. हर नई दुकान खुलने के साथ यह आंकड़ा बढ़ता ही जा रहा है.
खुदरा प्रबंधन के एक वर्षीय पाठ्यक्रम का उद्देश्य छात्रों में खुदरा क्षेत्र के सभी पहलओं की गहरी समझ विकसित करना है, जैसे – संचालन, बिक्री, ग्राहक सम्बन्ध, संचार डिजाइन, सॉफ्टवेयर प्रयोग, आंकड़ा प्रबंधन एवं विश्लेषिकी, निर्णयन और व्यक्ति-प्रबंधन. यह पाठ्यक्रम न केवल सैद्धांतिक ज्ञान प्रदान करने पर केन्द्रित है बल्कि यह छात्रों के कौशल विकास पर भी ध्यान देगा.
पाठ्यक्रम की संरचना में लाइव प्रोजेक्ट्स, रोल प्लेज़, केस-स्टडीज पर आधारित शिक्षण, स्वांग, सलाह और विशेषज्ञों के अनुशिक्षण के माध्यम से छात्रों के लिए व्यवहारिक प्रशिक्षण भी शामिल किया गया है जिससे उन्हें खुदरा उद्योग का ठोस अनुभव मिलेगा. खुदरा प्रबंधन की डिग्री/डिप्लोमा, प्रतिभागियों को अग्रणी खुदरा व्यापारों में स्टोर प्रबंधक, वर्ग प्रबंधक, संचालन प्रबंधक, क्रेता, विक्रेता, फ्रेंचाइजर या व्यापार विकास प्रबंधक बनने के लिए सक्षम करेगा.
सभी स्नातक इस पाठ्यक्रम में दाखिला लेने के लिए योग्य हैं. नए स्नातक और कार्यकारी अधिकारी (executives) भी इस पाठ्यक्रम में अपना नामांकन करा सकते हैं. प्रतिभागियों का चुनाव उनकी पूर्व शिक्षा, कार्य-अनुभव और उद्देश्य कथन (statement of purpose) के आधार पर किया जाएगा. इस पाठ्यक्रम में कुल 40 सीटें उपलब्ध हैं.
महत्त्वपूर्ण टिप्पणी:
शुल्क: रु. 1,50,000
फॉर्म उपलब्धता:
ऑनलाइन: www.aima.in
ऑफलाइन: ए.आई.एम.ए, लोदी रोड कार्यालय
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