प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 14 अक्टूबर 2020 को जम्मू-कश्मीर और लद्दाख केंद्र शासित प्रदेशों के लिए 520 करोड़ रुपये के विशेष पैकेज को मंजूरी दी है. यह पांच साल की अवधि के लिए है. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में दीनदयाल अंत्योदय योजना- राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (डीएवाई-एनआरएलएम) के लिए 520 करोड़ रुपये के विशेष पैकेज को मंजूरी दी.
केंद्र सरकार ने कहा कि इससे इन केंद्र शासित प्रदेशों की जरूरत के आधार पर मिशन के अंतर्गत पर्याप्त धन सुनिश्चित कराया जाएगा. साथ ही केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में सभी केंद्र प्रायोजित व उन्मुख योजनाओं को धरातल पर समयबद्ध तरीके से उतारना ही भारत सरकार का लक्ष्य है.
उद्देश्य
इसका मुख्य उद्देश्य गरीब परिवारों को डीएवाई-एनआरएलएम के तहत उनकी आजीविका के साथ-साथ संस्थानों और बैंकों से वित्तीय संसाधनों के जरिए परिवार की एक महिला सदस्य को स्वयं सहायता समूह में शामिल करना, प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण के साथ-साथ आजीविका योजनाओं में सहायता प्रदान करना है.
मुख्य बिंदु
मिशन में स्वयं सहायता की भावना के साथ समुदाय पशेवरों के जरिए समुदाय संस्थानों के साथ कार्य करना शामिल है.
कार्यक्रम की सबसे अहम बात यह है कि इसे राष्ट्रीय, राज्य, जिला और ब्लॉक स्तर पर कार्यान्वयन सहायता इकाइयों के साथ मिशन मोड में लागू किया गया है.
यह जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में बदली परिस्थितियों को देखते हुए ग्रामीण परिवारों और महिला सशक्तीकरण के लिहाज से जीवन स्तर को सुधारने का काम करेगा.
डीएवाई-एनआरएलएम एक केंद्र प्रायोजित कार्यक्रम है. इसका उद्देश्य देशभर में ग्रामीण गरीब परिवारों के लिए कई आजीविका के प्रचार के माध्यम से ग्रामीण गरीबी को समाप्त करना है.
दीनदयाल अंत्योदय योजना: एक नजर में
दीनदयाल अंत्योदय योजना का मुख्य उद्देश्य कौशल विकास और अन्य उपायों के माध्यम से आजीविका के अवसरों में वृद्धि कर शहरी और ग्रामीण गरीबी को कम करना है. मेक इन इंडिया, कार्यक्रम के उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए सामाजिक तथा आर्थिक बेहतरी के लिए कौशल विकास आवश्यक है. दीनदयाल अंत्योदय योजना को आवास और शहरी गरीबी उपशमन मंत्रालय के तहत शुरू किया गया था.
इस योजना का लक्ष्य चरणबद्ध तरीके से शहरी बेघरों हेतु आवश्यक सेवाओं से लैस आश्रय प्रदान करना भी होगा. योजना शहरी सड़क विक्रेताओं की आजीविका संबंधी समस्याओं को देखते हुए उनकी उभरते बाजार के अवसरों तक पहुँच को सुनिश्चित करने के लिए उपयुक्त जगह, संस्थागत ऋण, और सामाजिक सुरक्षा और कौशल के साथ इसे सुविधाजनक बनाने से भी संबंधित है. केंद्र सरकार ने शहरी और ग्रामीण गरीबों के लिए दीनदयाल उपाध्याय अंत्योदय योजना का आरंभ 25 सितंबर 2014 को किया था. योजना का उद्देश्य कौशल विकास और अन्य उपायों के माध्यम से आजीविका के अवसरों में वृद्धि कर शहरी और ग्रामीण गरीबी को कम करना है.
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