पेट्रोल पंपों पर क्रेडिट/डेबिट कार्ड से भुगतान करने पर ग्राहकों को ट्रांजैक्शन शुल्क नहीं देना होगा. पेट्रोल पंप डीलरों को भी इससे राहत दी गई है. मर्चेंट डिस्काउंट रेट (एमडीआर) का भार अब बैंक और तेल मार्केटिंग कंपनियां मिलकर उठाएंगे.
एमडीआर शुल्क: एमडीआर वह शुल्क है, जिसे बैंक क्रेडिट एवं डेबिट कार्ड के जरिये भुगतान होने पर व्यापारी से वसूलते हैं.
इससे संबंधित मुख्य तथ्य:
क्रेडिट और डेबिट कार्ड के जरिये पेट्रोल-डीजल खरीदने पर बैंकों की ओर से अतिरिक्त शुल्क लगाने के बाद यह मसला विवादों में आ गया था.
पेट्रोल पंप डीलरों ने 13 जनवरी 2017 से क्रेडिट और डेबिट कार्ड स्वीकार नहीं करने की चेतावनी दी थी. इस मसले पर वित्त मंत्रालय में बैठक हुई. बैठक में तय हुआ कि ट्रांजैक्शन शुल्क के बोझ से ग्राहकों और पेट्रोल पंप डीलरों दोनों को मुक्त रखा जाए.
एमडीआर की वसूली 16 दिसंबर 2016 को जारी भारतीय रिजर्व बैंक के दिशानिर्देशों के अनुसार ही होगी. बैंक और तेल कंपनियों को ही आपस में साझा करना होगा.
यह किस अनुपात में होगा, इसका फैसला होना अभी बाकी है. यहां तक कि क्रेडिट और डेबिट कार्ड से पेट्रोल-डीजल खरीदने पर 0.75 फीसद की छूट भी ग्राहकों को मिलती रहेगी.
एमडीआर आमतौर पर मर्चेंट की तरफ से ग्राहकों पर थोप दिया जाता था. लेकिन नोटबंदी के बाद डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने हेतु सरकार ने 30 दिसंबर 2016 तक ऐसे शुल्क पर रोक लगा दी थी.
बैंकों ने 1 जनवरी 2017 से ही इस शुल्क का बोझ पेट्रोल पंप डीलरों पर डाल दिया, क्योंकि केंद्र सरकार की तरफ से स्पष्ट निर्देश था कि ग्राहकों तक इसका बोझ नहीं जाना चाहिए.
Comments
All Comments (0)
Join the conversation