भारतीय रिजर्व बैंक ने अपने ग्राहक को जानिये (केवाईसी) और मनीलांड्रिंग रोधी नियमों के उल्लंघन मामले में सार्वजनिक एवं निजी क्षेत्र के 22 बैंकों पर 49.5 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया. आरबीआई की यह कारवाई एक ऑनलाइन पोर्टल में नियमों के उल्लंघन का खुलासा सामने आने के बाद 15 जुलाई 2013 को की गई.
इन बैंकों में भारतीय स्टेट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, यैस बैंक, कोटक महेन्द्रा, केनरा बैंक और बैंक ऑफ इंडिया सहित 22 बैंक शामिल हैं. इसके साथ ही रिजर्व बैंक ने सिटी बैंक, स्टैन्डर्ड चार्टर्ड बैंक, आर बी एस, बी एन पी परिबस, टोक्यो मिस्तुबिशि बारकले और स्टेट बैंक ऑफ पटियाला को भी चेतावनी पत्र जारी किए.
किस बैंक पर लगा कितना जुर्माना
• भारतीय स्टेट बैंक,बैंक ऑफ इंडिया, केनारा बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा, सैंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, इंडियन ओवरसीज बैंक और फैडरेल बैंक प्रत्येक पर 3 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया गया.
• यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया, लक्ष्मी विलास बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, जम्मू एण्ड कश्मीर बैंक और आंध्र बैंक प्रत्येक पर ढाई करोड़ रुपए का जुर्माना लगा.
• येस बैंक, विजय बैंक, ओरिएंटल बैंक ऑफ कामर्स और धनलक्ष्मी बैंक प्रत्येक पर नियमों का उल्लंघन करने पर 2 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया गया.
• ड्यूश बैंक, डेवलपमेंट क्रेडिट बैंक, आईएनजी वैश्या बैंक, कोटक महिन्द्रा बैंक और रत्नाकर बैंक को भी दंडित किया गया.
भारतीय रिजर्व बैंक
भारतीय रिजर्व बैंक भारत का केन्द्रीय बैंक है. यह भारत के सभी बैंको का संचालक है. भारतीय रिजर्व बैंक की स्थापना 1 अप्रैल 1935 में रिजर्व बैंक ऑफ इण्डिया ऐक्ट, 1934 के अनुसार भारत के केंद्रीय बैंक के रूप में की गई थी. आरम्भ में इसका केन्द्रीय कार्यालय कोलकाता में था जो वर्ष 1937 में मुम्बई आ गया. पहले यह एक निजी बैंक था किन्तु वर्ष 1949 से यह भारत सरकार का उपक्रम बन गया है. इसके 22 क्षेत्रीय कार्यालय हैं जिनमें से अधिकांश राज्यों को राजधानियों में स्थित हैं. सर ऑसबार्न स्मिथ (वर्ष 1935-1937) इसके पहले गवर्नर थे.
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