वैश्विक फुटबॉल का संचालन करने वाली संस्था फीफा ने 11 अक्टूबर 2017 को पाकिस्तान फुटबॉल महासंघ (पीएफएफ) की सदस्यता को तीसरे पक्ष की हस्तक्षेप के कारण निलंबित कर दिया. पाकिस्तान में अदालत ने फुटबॉल के संचालन के लिए प्रशासक को नियुक्त किया था. इस निलंबन के कारण पीएफएफ और इसके सदस्य या अधिकारी फीफा या एशियाई फुटबाल परिसंघ (एएफसी) की ओर से चलाए जाने वाले किसी भी विकास कार्यक्रम, पाठ्यक्रम या प्रशिक्षण से लाभ नहीं ले पाएंगे.
फीफा ने कहा की पाकिस्तान फुटबॉल संघ की सदस्यता तब तक निलंबित रहेगी जब तक महासंघ का कार्यालय और उसके वित्तीय अधिकार अदालत द्वारा नियुक्त प्रशासक के पास है. पाकिस्तान को बर्खास्त करने का फैसला फीफा परिषद के ब्यूरो ने लिया. इसे तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया.
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फीफा परिषद ब्यूरो ने कहा कि फीफा के नियमों के तहत अदालत द्वारा नियुक्त प्रशासक को हस्तक्षेप माना जाएगा और स्वतंत्र रूप से पीएफएफ के संचालन के लिए उन्हें इसे छोड़ना होगा. यह निलंबन तब तक है जब तक पीएफएफ के कार्यालय और वित्तीय अधिकारों को उन्हें नहीं लौटाया जाता है. विडंबना यह है कि फीफा ने पीएफएफ को निलंबित किया उसी समय अदालत द्वारा नियुक्त प्रशासक ने देश में फुटबॉल गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए लीग की शुरुआत की घोषणा की.
फीफा संविधान के अनुच्छेद 13 में दी गई व्यवस्था के अनुसार पीएफएफ के सभी सदस्यता अधिकार समाप्त हो गए हैं. फीफा संविधान के अनुच्छेद 16 के पैरा तीन के अनुसार, निलंबन अवधि के दौरान दूसरे सदस्य संघ फीफा के साथ कोई खेल करार नहीं कर पाएंगे. पीएफएफ के प्रतिनिधि और क्लब की टीमें निलंबन वापस होने तक किसी भी प्रकार की अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धाओं में हिस्सा नहीं ले पाएंगे.
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