विश्व बैंक समूह का एक सदस्य, अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम (IFC), भारत में COVID-19 परीक्षण तक पहुंच बढ़ाने के लिए आनुवंशिकी निदान और अनुसंधान कंपनी 'MedGenome' में 16.5 मिलियन अमेरिकी डॉलर (लगभग 123 करोड़ रुपये) का निवेश करेगा.
IFC और MedGenome ने 15 जुलाई, 2021 को एक आधिकारिक बयान में यह कहा है कि, इन दोनों के बीच यह साझेदारी, परीक्षण तक पहुंच बढ़ाने के अलावा, वायरस को बेहतर ढंग से समझने में मदद करने के लिए अनुसंधान को सहायता प्रदान करेगी और इसके साथ ही, भविष्य के प्रकोपों से बचाव की व्यवस्था भी करेगी.
IFC और MedGenome के बीच यह साझेदारी एक ऐसे महत्वपूर्ण समय पर हुई है जब, भारत COVID-19 महामारी के कारण एक अभूतपूर्व संकट का सामना कर रहा है.
महत्त्व
• IFC द्वारा किया गया यह निवेश MedGenome की नैदानिक सेवाओं के विस्तार में सहायता करेगा. यह दक्षिण एशियाई आबादी के जीनोमिक डाटा को भी बढ़ावा देगा, जो जटिल बीमारियों में मूल्यवान अंतर्दृष्टि प्रदान करने में मदद कर सकता है और विविध आबादी के लिए प्रभावी चिकित्सा समाधान विकसित करने में भी मदद करेगा.
• MedGenome पूरे भारत में अपनी सेवाओं का विस्तार करने में सक्षम होगा और ऐसे सभी समुदायों के लिए सीधे परीक्षण की व्यवस्था करेगा जो महामारी से सबसे अधिक प्रभावित हैं. इसके साथ ही ऐसे आनुवंशिक रूप भी खोजे जायेंगे जो कुछ व्यक्तियों को गंभीर संक्रमण और COVID-19 बीमारी के बाद अधिक संवेदनशील बना सकते हैं.
• इस राशि के निवेश से घातक वायरस के विश्वसनीय परीक्षण और निगरानी तक पहुंच बढ़ाने में मदद मिलेगी. यह निवेश जीवन रक्षक उपचारों की पहचान करने में भी मदद करेगा.
IFC का वैश्विक स्वास्थ्य मंच
MedGenome में नवीनतम निवेश IFC के 04 बिलियन अमेरिकी डॉलर ग्लोबल हेल्थ प्लेटफॉर्म का एक हिस्सा है, जो टीकों, चिकित्सीय साधनों, चिकित्सा उपचारों की आपूर्ति और निर्माण में सहायता के लिए वित्तपोषण प्रदान करता है. यह ऐसे लॉजिस्टिक्स को भी सहायता प्रदान करेगा जो टीके और दवाएं देने के लिए आवश्यक हैं.
IFC के प्रबंध निदेशक, मख्तार दीप के अनुसार, इस सहायता का समग्र उद्देश्य भारत को अपनी स्वास्थ्य प्रणालियों को मजबूत करने, लचीलापन बनाने और COVID-19 महामारी से उबरने में तीव्रता लाने में मदद करना है.
अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम के बारे में
IFC एक अग्रणी वैश्विक विकास संस्थान है जो विकासशील देशों में निजी क्षेत्र पर ध्यान केंद्रित करता है.
यह संस्था आर्थिक विकास को आगे बढ़ाती है और विभिन्न विकासशील देशों में मौजूद निजी क्षेत्र के विकास को प्रोत्साहन और बढ़ावा देकर, इन देशों के लोगों के जीवन में सुधार करती है.
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