2030 तक भारत अंतरिक्ष में अपना स्पेस स्टेशन स्थापित करेगा: इसरो

Jun 14, 2019, 10:51 IST

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा घोषणा की गई कि 2030 तक अंतरिक्ष में भारत का अपना अंतरिक्ष स्टेशन स्थापित किया जायेगा. इससे पहले गगनयान के बारे में भी घोषणा की गई थी.

Image for representation purpose only
Image for representation purpose only

इसरो द्वारा 13 जून 2019 को यह घोषणा की गई कि 2030 तक भारत का अपना अंतरिक्ष स्टेशन स्थापित किया जायेगा. इसरो के चेयरमैन के. सिवान ने अंतरिक्ष विभाग के मंत्री डा. जितेन्द्र सिंह के साथ संयुक्त प्रेस कांफ्रेस में यह घोषणा की. अमेरिका, रूस और चीन के बाद भारत चौथा राष्ट्र होगा जिसका अंतरिक्ष में अपना स्टेशन होगा. इसरो द्वारा जारी जानकारी के अनुसार इसे किसी भी अन्य देश की साझेदारी के बिना ही विकसित किया जायेगा..

इसरो द्वारा की गयी घोषणा के अनुसार यह स्पेस स्टेशन लगभग 20 टन की क्षमता का होगा. इस स्पेस स्टेशन में यानों के मिलने, उपग्रहों के उतारने और वैज्ञानिकों के रहने की सुविधा होगी. दरअसल, इसरो जब मानव को अंतरिक्ष में भेजने की क्षमता हासिल कर लेगा तो अगला कदम वहां रहकर शोध का होगा इसलिए स्पेस स्टेशन विकसित किया जाना आवश्यक है. इसके अतिरिक्त, इसरो द्वारा घोषणा की गई कि वर्ष 2022 तक मानव को अन्तरिक्ष में भेजने के लिए गगनयान को अन्तरिक्ष में भेजा जायेगा.

इसरो (ISRO) ने चंद्रयान-2 के प्रक्षेपण की तारीख और समय की घोषणा कर दी है. ISRO की ओर जारी जानकारी के अनुसार चंद्रयान-2 का प्रक्षेपण 15 जुलाई तड़के 2.51 बजे किया जायेगा. इसरो के मुताबिक GSLV मार्क 3 रॉकेट 15 मिनट में ऑर्बिटर को पृथ्वी की ध्रुवीय कक्षा में स्थापित कर देगा.

भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी (इसरो) ने चंद्रयान-2 मिशन की पहली तस्वीरें जारी की. पहले यह उम्मीद लगाई जा रही थी कि चंद्रयान-2 को 9 से 16 जुलाई के बीच छोड़ा जाएगा. चंद्रयान-2 में एक भी पेलोड विदेशी नहीं है. इसके सभी हिस्से पूरी तरह से स्वदेशी हैं, जबकि, चंद्रयान-1 के ऑर्बिटर में 3 यूरोप और 2 अमेरिका के पेलोड्स थे.

भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो द्वारा 11 वर्ष बाद चंद्रमा की सतह को खंगालने के लिए तैयारी की जा रही है. इसरो द्वारा उम्मीद जताई गई है कि चंद्रयान-2 चंद्रमा पर 6 सितंबर को दक्षिणी ध्रुव के पास उतरेगा. इसरो के अध्यक्ष के. सिवन ने पिछले दिनों कहा था कि छह सितंबर को चंद्रमा पर लैंडिंग की संभावना है. उन्होंने कहा था, “एक खास स्थान पर लैंडिंग होने जा रही है, जहां पर इससे पहले कोई नहीं पहुंचा है.”

इसरो द्वारा जारी जानकारी के अनुसार चंद्रयान-2 दूसरा चंद्र अभियान है और इसमें तीन मॉडयूल हैं ऑर्बिटर, लैंडर (विक्रम) और रोवर (प्रज्ञान). भारत ने चंद्रयान-1 को 22 अक्टूबर 2008 को लांच किया था, जिसके एक दशक बाद 800 करोड़ रुपये की लागत से चंद्रयान-2 को लांच किया जायेगा.

मिशन की अवधि और अन्य तथ्य

अवधि: ऑर्बिटर- 1 साल, लैंडर (विक्रम)- 15 दिन, रोवर (प्रज्ञान)- 15 दिन

भार: ऑर्बिटर- 2379 किलो, लैंडर (विक्रम)- 1471 किलो, रोवर (प्रज्ञान)- 27 किलो

मिशन का कुल वजनः 3877 किलो

ऑर्बिटरः चंद्रयान-2 का ऑर्बिटर चांद से 100 किमी ऊपर स्थापित किया जायेगा. यह चक्कर लगाते हुए लैंडर और रोवर से प्राप्त जानकारी को इसरो सेंटर पर भेजेगा. इसमें 8 पेलोड हैं. साथ ही इसरो से भेजे गए कमांड को लैंडर और रोवर तक पहुंचाएगा. इसे हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने बनाकर 2015 में ही इसरो को सौंप दिया था.

आर्टिकल अच्छा लगा? तो वीडियो भी जरुर देखें

लैंडर (विक्रम ): इसरो द्वारा लैंडर का नाम इसरो के संस्थापक और भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम के जनक विक्रम साराभाई के नाम पर रखा गया है. इसमें 4 पेलोड हैं. यह 15 दिनों तक वैज्ञानिक प्रयोग करेगा. इसकी शुरुआती डिजाइन इसरो के स्पेस एप्लीकेशन सेंटर अहमदाबाद ने बनाया था. बाद में इसे बेंगलुरु के यूआरएससी ने विकसित किया. रूस के मना करने पर इसरो ने स्वदेशी लैंडर बनाया है.

रोवर (प्रज्ञान): यह एक रोबोट है और 27 किलोग्राम वजनी इस रोबोट पर ही पूरे मिशन की जिम्मदारी होगी. इस रोबोट में दो पेलोड हैं. चांद की सतह पर यह करीब 400 मीटर की दूरी तय करेगा. इस दौरान यह विभिन्न वैज्ञानिक प्रयोग करेगा. फिर चांद से प्राप्त जानकारी को विक्रम लैंडर पर भेजेगा. लैंडर वहां से ऑर्बिटर को डाटा भेजेगा. फिर ऑर्बिटर उसे इसरो सेंटर पर भेजेगा. इस पूरी प्रक्रिया में करीब 15 मिनट लगेंगे. अर्थात यह कहा जा सकता है कि प्रज्ञान रोबोट से भेजी गई जानकारी को भारत में मौजूद इसरो सेंटर तक आने में लगभग 15 मिनट लगेंगे.

Gorky Bakshi is a content writer with 9 years of experience in education in digital and print media. He is a post-graduate in Mass Communication
... Read More

यूपीएससी, एसएससी, बैंकिंग, रेलवे, डिफेन्स और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए नवीनतम दैनिक, साप्ताहिक और मासिक करेंट अफेयर्स और अपडेटेड जीके हिंदी में यहां देख और पढ़ सकते है! जागरण जोश करेंट अफेयर्स ऐप डाउनलोड करें!

एग्जाम की तैयारी के लिए ऐप पर वीकली टेस्ट लें और दूसरों के साथ प्रतिस्पर्धा करें। डाउनलोड करें करेंट अफेयर्स ऐप

AndroidIOS

Trending

Latest Education News