केंद्र सरकार ने 16 जनवरी 2019 को आठ सदस्यीय मंत्रियों के समूह (जीओएम) का गठन किया है, जो लॉटरी कारोबार के जीएसटी-संबंधी मुद्दों को देखेगी.
इस मंत्रीस्तरीय पैनल की अध्यक्षता महाराष्ट्र के वित्त मंत्री सुधीर मुनगंटीवार हैं. इसके सदस्य पश्चिम बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा, केरल के वित्त मंत्री थॉमस इसाक, असम के वित्त मंत्री हिमंत बिस्वा शर्मा, पंजाब के वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बदल, गोवा के पंचायत मंत्री माउविन गोदिन्हो, कर्नाटक के पंचायत मंत्री कृष्ण बाइरे गौड़ा तथा अरुणाचल प्रदेश के कर एवं उत्पाद शुल्क मंत्री जारकर गामलिन हैं.
मुख्य तथ्य:
मंत्रिस्तरीय पैनल लॉटरी के कानूनी ढांचे सहित प्रवर्तन मुद्दों की जांच करेगी, ताकि लॉटरी पर कर चोरी को रोका जा सके और समस्या का समाधान करने के लिए एक उचित कर दर का सुझाव दिया जा सके.
जीओएम यह जांच करेगा कि क्या एक ही उत्पाद पर कर संरचना में असमानता जारी रहनी चाहिए या एक समान दर निर्धारित की जानी चाहिए.
जीओएम यह भी जांचेगी की क्या राज्य सरकारों द्वारा अधिकृत निजी व्यक्ति कम दरों का दुरुपयोग कर रहे हैं, और अगर ऐसा है तो इस पर रोक लगाने के लिए क्या कदम उठाने चाहिए.
वित्त मंत्रालय के मुताबिक मंत्रिसमूह सुझाएगा कि लॉटरी पर जीएसटी पर एक समान दर रखी जाए या अलग-अलग दर की मौजूदा व्यवस्था जारी रखी जाए। इस समय राज्यों द्वारा संचालित लॉटरी पर 12 फीसद जीएसटी लगता है, जबकि राज्य अधिकृत लॉटरी पर 28 फीसद जीएसटी लगता है.
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