भारत और भूटान ने 18 जून, 2021 को पर्यावरण के विभिन्न क्षेत्रों में, दोनों देशों के बीच सहयोग विकसित करने के लिए एक समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए हैं.
इस समझौते पर भारत की ओर से पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर द्वारा और भूटानी पक्ष की ओर से राष्ट्रीय पर्यावरण आयोग के अध्यक्ष ल्योंपो डॉ. टांडी दोरजी द्वारा हस्ताक्षर किए गए थे.
India has symbiotic relationship with Bhutan. Today, both countries signed a MoU which will open new vistas of bilateral co-operation in the areas of Climate Change, waste management etc. pic.twitter.com/TDBZFsf5G0
— Prakash Javadekar (@PrakashJavdekar) June 18, 2021
मुख्य विशेषताएं
• यह समझौता ज्ञापन एक ऐसा मंच प्रदान करता है, जो भारतीय और भूटानी साझेदारी और समर्थन को और बढ़ाएगा.
• अपशिष्ट प्रबंधन, वायु प्रदूषण, जलवायु परिवर्तन, रासायनिक प्रबंधन जैसे विभिन्न क्षेत्रों में सर्वोत्तम कार्य प्रणालियों का आदान-प्रदान किया जाएगा.
• यह हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन आपसी हित के अनेक क्षेत्रों में संयुक्त परियोजनाओं की संभावना भी उपलब्ध करवायेगा.
• यह MoU वैज्ञानिक, तकनीकी और प्रबंधन क्षमताओं को मजबूत करेगा.
• यह समझौता ज्ञापन भारत और भूटान के बीच पारस्परिक रूप से लाभकारी साझेदारी को बढ़ावा देने के लिए पर्यावरण के क्षेत्र में सहयोग के विभिन्न क्षेत्रों का विस्तार करने में भी मदद करेगा.
भारत और भूटान: द्विपक्षीय सहयोग के नए आयाम
इस अवसर पर बोलते हुए, पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने यह कहा कि, यह हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन अपशिष्ट प्रबंधन, जलवायु परिवर्तन जैसे अनेक क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग के नए रास्ते खोलेगा.
भारत और भूटान के बीच संबंधों को सहजीवी बताते हुए केंद्रीय मंत्री ने यह भी कहा कि, भारत जलवायु परिवर्तन सहित पर्यावरण संबंधी मुद्दों पर भूटान के साथ जुड़ना चाहता है.
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