ईरान, P5+1 और यूरोपीय संघ (ईयू) ने 2 अप्रैल 2015 को ईरान को परमाणु हथियार विकसित करने से रोकने के लिए एक समझौते की रूपरेखा को स्वीकार किया जिसे संयुक्त व्यापक कार्य योजना (जे.सी.पी.ओ.ए.) का नाम दिया गया.
समझौता स्विट्जरलैंड में लुसाने के बीयू-रिवेज पैलेस होटल में हुआ.
अनौपचारिक समझौते की रूपरेखा को 30 जून 2015 तक संयुक्त व्यापक कार्य योजना (जे.सी.पी.ओ.ए) का अंतिम मसौदा तैयार करने के लिए आधार के रूप में इस्तेमाल किया जाएगा.
P5+1 में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) के सभी स्थायी सदस्य अर्थात अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, चीन और रूस के साथ जर्मनी शामिल हैं.
ईरान पर इस समझौते का असर
ईरान नतान्ज़ पर केवल यूरेनियम संवर्धन के लिए सुविधा का उपयोग करेगा.
सेंट्रीफ्यूज (यूरेनियम संवर्धन करने के लिए प्रयोग किया जाने वाला उपकरण) को 19000 से 6104 की संख्या में दो-तिहाई तक कम किया जाएगा. इनमें से केवल 5060 को ही 10 साल तक यूरेनियम संवर्धन के लिए इस्तेमाल किया जाएगा.
ईरान कम से कम 10 साल के लिए संवर्धित यूरेनियम का उत्पादन करने के लिए अपने उन्नत सेंट्रीफ्यूज का उपयोग नहीं करेगा जिनमें आईआर-2, आईआर-4, आईआर-5, आईआर-6, या आईआर -8 मॉडल शामिल हैं.
अपने इन उन्नत सेंट्रीफ्यूज का उपयोग सीमित अनुसंधान और विकास के लिए करेगा.
जो सेंट्रीफ्यूज उपयोग में नहीं हैं उन्हें आईएईए की निगरानी के तहत स्टोर में रखा जाएगा और उन्हें केवल प्रतिस्थापन के रूप में ही इस्तेमाल किया जाएगा.
ईरान 15 साल के लिए 3.67 प्रतिशत से अधिक यूरेनियम संवर्धन नहीं करेगा.
15 साल के लिए अपने 10,000 किलो के कम संवर्धित यूरेनियम (एल ई यू) के भंडार को 300 किलो, 3.67 प्रतिशत एल ई यू तक कम करेगा.
कम से कम 15 साल के लिए ईरान यूरेनियम संवर्धन के उद्देश्य से कुओम शहर के समीप, फोर्दो यूरेनियम ठिकाने का उपयोग नहीं करेगा. इसे शांतिपूर्ण उद्देश्यों हेतु शोधशाला के रूप में परिवर्तित किया जाएगा. इसके अलावा, यहां किसी प्रकार की विखंडनीय सामग्री की अनुमति नहीं दी जाएगी.
अरक में हैवी वाटर रिएक्टर का पुनर्निर्माण व नवीनीकरण किया जाएगा. यह पश्चिमी शक्तियों की सहमति से तैयार डिजाइन पर आधारित होगा ताकि इसका उपयोग हथियार बनाने के लिए प्लूटोनियम उत्पादन कि बजाय शांतिपूर्ण अनुसंधान के लिए हो.
अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) को नियमित रूप से अपने परमाणु आपूर्ति कार्यक्रम देखने में सहयोग प्रदान करना होगा जिनमें यूरेनियम खानें, मिलें व नतान्ज़ और फोर्दो स्थित संवर्धन कार्यक्रम शामिल हैं ताकि ईरान को किसी भी गुप्त कार्यक्रम से रोका जा सके.
अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) को अपने घोषित और अघोषित परमाणु कार्यक्रम के बारे में जानकारी प्रदान करने के लिए अतिरिक्त प्रोटोकॉल लागू करना होगा.
परमाणु कार्यक्रम पर नजर रखने के लिए एक समर्पित चैनल स्थापित किया जाएगा जो ईरान संबंधित परमाणु कार्यक्रम, दोहरे उपयोग, प्रौद्योगिकी, आपूर्ति, बिक्री, या हस्तांतरण सम्बंधित कार्य देखेगा.
ईरान को समझौते के तहत क्या मिलेगा?
अमेरिका, यूरोपीय संघ और संयुक्त राष्ट्र द्वारा लगाए गए प्रतिबंधों को ईरान द्वारा समझौते के तहत प्रतिबद्धताओं को पूरा करने में होने वाली प्रगति के अनुसार हटाया जाएगा.
अमेरिका द्वारा लगाये गए प्रतिबंधों को आईएईए द्वारा यह सत्यापित करने पर ही हटाया जाएगा कि ईरान ने समझौते के तहत कदम उठाये हैं या नहीं. हालांकि, आतंकवाद, अधिकारों के हनन और बैलिस्टिक मिसाइलों से संबंधित प्रतिबंध पहले कि तरह ही रहेंगे.
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