गरीबी मिटाने के लिए चीन की स्टोन सूप रणनीति क्या है?

Mar 24, 2021, 19:23 IST

गरीबी मिटाने के लिए चीन की 'स्टोन सूप' दृष्टिकोण ने अद्भुत काम किया है और देश ने हाल ही में अपने नागरिकों के बीच शून्य गरीबी की घोषणा की है. आइये इस लेख के माध्यम से इस तकनीक, महत्व, और लाभ इत्यादि के बारे में अध्ययन करते हैं.

What is China's Stone Soup Strategy to eradicate poverty?
What is China's Stone Soup Strategy to eradicate poverty?

जैसा की हम जानते हैं कि गरीबी की समस्या संसाधनों की आर्थिक असमानता और असमान वितरण से उत्पन्न होती है. 

आइये अब 'स्टोन सूप' कहानी के बारे में जानते हैं.

यह एक यूरोपीय लोककथा है जो लोगों को साझा (Sharing) करने का मूल्य सिखाती है. कहानी में कुछ यात्री खाना पकाने के लिए अपने साथ कुछ भी नहीं ले जाते हैं सिवाए पॉट (Pot) के. 

वे एक कस्बे में पहुँचते हैं जहाँ गाँव वाले अपना भोजन बाँटने को तैयार नहीं थे. यात्रियों ने पॉट (Pot) को पानी से भर दिया और उसमें एक बड़ा पत्थर डाल दिया. जब लोगों ने पूछा की इसमें क्या पकवान है तो उन्होंने जवाब दिया कि यह पत्थर का सूप है.

सूप को पीने के बाद वहां के लोगो को इसका स्वाद बहुत अच्छा लगा और वे इसे ग्रामीणों के साथ साझा करना चाहते थे लेकिन साथ ही उन्होंने कहा की अगर सूप में कुछ गार्निशिंग की जाए तो इससे स्वाद और भी अच्छा हो जाएगा. तब तक ग्रामीणों ने इस बढ़िया स्वादिष्ट सूप को पसंद किया.

गार्निशिंग के लिए एक ग्रामीण सूप में डालने के लिए कुछ गाजर लाया. सूप में रुचि रखने वाले एक और ग्रामीण ने उन्हें थोड़ा मसाला दिया, जिसके बाद एक ग्रामीण ने अपने घर से सूप में कुछ और सामग्री डालने के लिए समान दिया. इसके बाद पत्थर को हटा दिया गया और ग्रामीणों के साथ सभी यात्रियों ने स्वादिष्ट भोजन का आनंद लिया.

यह कहानी लोगों को साझा (Sharing) करने का मूल्य सिखाती है. देश से गरीबी हटाने के लिए चीन ने अब इसी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है.

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स्टोन सूप रणनीति का चीन में उपयोग 

- चीन ने इस दृष्टिकोण को देश में गरीबी को कम करने के लिए इस्तेमाल किया. 1990 से 2011 तक, चीन में 439 मिलियन से 250 मिलियन तक की पूर्ण गरीबी में गिरावट देखी गई.

- जब  Xi Jinping 2013 में राष्ट्रपति बने तो उन्होंने 2020 तक गरीबी हटाने की समय सीमा तय की और इसे अपने प्रशासन के मुख्य मिशन के रूप में लिया.

- फरवरी 2021 में यह घोषणा की गई थी कि चीन से पूर्ण गरीबी हटा दी गई है. चीनी राष्ट्रपति  Xi Jinping ने राष्ट्रीय गरीबी उन्मूलन सारांश और प्रशंसा सम्मेलन (National Poverty Alleviation Summary and Commendation Conference) में घोषणा की कि "मेरे देश की गरीबी उन्मूलन लड़ाई ने एक समग्र जीत हासिल की है".

- राष्ट्रपति Xi Jinping ने फरवरी 2021 को घोषणा की कि चीन ने पिछले चार दशकों में 770 मिलियन से अधिक लोगों को हटाकर गरीबी के खिलाफ अपनी लड़ाई में "पूर्ण जीत" हासिल की है, इसे देश द्वारा बनाया गया एक और "चमत्कार" कहा जाएगा.

- चीन की आबादी लगभग 1.4 बिलियन है. राष्ट्रपति Xi Jinping ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों के सभी गरीब लोगों को गरीबी से बाहर निकाला गया है.

- इसके साथ ही चीन ने 2030 की समयसीमा से 10 साल पहले गरीबी उन्मूलन का UN लक्ष्य हासिल किया है.

- चीन ने दावा किया है कि उसने शेष 98.99 मिलियन लोगों को गरीबी से दूर किया और पूरे देश में “शून्य गरीबी” का लक्ष्य हासिल किया.

- उन्होंने ये भी कहा कि विश्व बैंक की अंतरराष्ट्रीय गरीबी रेखा के अनुसार, वैश्विक टोटल के 70% से अधिक पिछले 40 वर्षों में चीनी लोगों की संख्या गरीबी से बाहर निकली है.

आइये अब चीन की आधिकारिक गरीबी रेखा (China's official poverty line) के बारे में जानते हैं 

यह प्रति वर्ष 4000 युआन है जो प्रति वर्ष यूएस $ 619 के बराबर है. 

आखिर चीन ने यह उपलब्धि कैसे हासिल की?

- चीन ने गरीबी उन्मूलन के लिए एक बहुत ही विशेष और केंद्रित अभियान तैयार किया.

- इसने स्थानीय सरकारों को प्रोत्साहित करने के तरीकों को भी संशोधित किया. पहले, स्थानीय अधिकारियों का मूल्यांकन उनकी वार्षिक जीडीपी के आधार पर किया गया था, लेकिन बाद में इसे संशोधित किया गया था. स्थानीय अधिकारियों का मूल्यांकन उनकी गरीबी उन्मूलन उपलब्धियों से किया गया था.

- देश के अधिकारियों और सरकार ने भी घरेलू स्तर पर गरीबी पर नज़र रखी. एक राष्ट्रीय गरीबी पंजीकरण प्रणाली का निर्माण किया गया था और इसे देश के प्रत्येक गरीब परिवार को रिकॉर्ड करने, ट्रैक करने और प्रबंधित करने के लिए लागू किया गया था.

- इसके अलावा विभिन्न निजी क्षेत्र अधिक संसाधन उपलब्ध कराने के लिए आगे आए.
जैसे अलीबाबा ने 1.5 बिलियन डॉलर का गरीबी राहत कोष भी स्थापित किया और अपने ऑनलाइन ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म का उपयोग विभिन्न किसानों को अपने उत्पाद ऑनलाइन बेचने के लिए किया. Tencent और JD.com ने गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम शुरू किया और प्लेटफार्मों का उपयोग कृषि उत्पादों और वस्तुओं की बिक्री को बढ़ावा देने के लिए किया.

भारत और चीन का तुलनात्मक अध्ययन

- 850 मिलियन से अधिक चीनी गरीबी रेखा से ऊपर उठा लिए गए हैं जबकि चीन की गरीबी दर 1981 में 88% से गिरकर 2015 में 0.7% हो गई है.

- भारत की दर तुलनात्मक रूप से 2011 में 21.6% से घटकर 2015 में 13.4% हो गई है. यानी 90 मिलियन से अधिक लोगों को अत्यधिक गरीबी से उठा लिया गया है. उच्च भ्रष्टाचार के साथ केंद्रित दृष्टिकोण और एकल गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम की कमी को इसके कारण के रूप में गिना जा सकता है.

Shikha Goyal is a journalist and a content writer with 9+ years of experience. She is a Science Graduate with Post Graduate degrees in Mathematics and Mass Communication & Journalism. She has previously taught in an IAS coaching institute and was also an editor in the publishing industry. At jagranjosh.com, she creates digital content on General Knowledge. She can be reached at shikha.goyal@jagrannewmedia.com
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