EAM jaishankar's visit to israel: भारत के विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर इस समय इस्राइल के दौरे पर हैं. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इजराइल की अपनी पांच दिवसीय यात्रा की शुरूआत प्रथम विश्व युद्ध के दौरान क्षेत्र में अपने प्राण न्यौछावर करने वाले भारतीय सैनिकों को 17 अक्टूबर 2021 को यरूशलम के तालपियोत स्थित एक कब्रगाह में पुष्पचक्र अर्पित कर किया.
इजराइल के यरूशलम, रामले और हाइफा में लगभग 900 भारतीय सैनिकों को दफनाया गया था. डॉ. एस जयशंकर, विदेश मंत्री के तौर पर इजराइल की प्रथम यात्रा पर आए हैं. उन्होंने तालपियोत कब्रगाह में पुष्पचक्र अर्पित किया. उन्होंने ट्वीट किया कि यरूशलम में अपने प्रथम कार्यक्रम के तहत तालपियोत में भारतीय कब्रगाह गया.
17 अक्टूबर 2021 को यहां पहुंचे डॉ. जयशंकर ने 18 अक्टूबर को इस्राइल के प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री के साथ एक महत्वपूर्ण बैठक की. इस बैठक में निर्णय लिया गया कि दोनों देश अगले महीने (नवंबर से) मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) को लेकर वार्ताओं की फिर से शुरुआत करेंगे. दोनों देशों ने काफी समय से लंबित इस सौदे को अगले साल जून तक पूरा करने का भरोसा जताया.
Visited the Indian Cemetery at Talpiot as my first engagement in Jerusalem. Paid homage to the brave Indian soldiers who made the supreme sacrifie during World War I. pic.twitter.com/oIqWfnVlga
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) October 17, 2021
पांच दिवसीय यात्रा पर
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने यहां भारतीय-यहूदी समुदाय तथा भारत विदों से कहा कि भारत और इजराइल के समाजों को भूराजनीतिक परिदृश्य पर उभरते कई घटनाक्रमों के साथ ही कट्टरपंथ और आतंकवाद जैसी एक समान चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है. विदेश मंत्री एस जयशंकर 17 अक्टूबर को पांच दिवसीय यात्रा पर यहां पहुंचे. उन्होंने विश्वास जताया कि इजराइल में भारतीय यहूदी समुदाय आने वाले वर्षों में दोनों देशों को और करीब लाएगा.
माना जा रहा है कि पूर्व पीएम बेंजामिन नेतान्याहू और भारतीय पीएम नरेंद्र मोदी ने द्विपक्षीय रिश्तों को परवान चढ़ाने का जो काम किया था उसे आगे ले जाने का माहौल विदेश मंत्री की यात्रा से बनेगा. अभी पीएम मोदी और नए नफ्ताली बेनेट के बीच द्विपक्षीय मुलाकात भी नहीं हुई है.
दोनों देशों के रिश्ते पहले के मुकाबले और मजबूत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वर्ष 2017 की इजरायल यात्रा के बाद दोनों देशों के रिश्ते पहले के मुकाबले और मजबूत हुए हैं. खास तौर पर विज्ञान व तकनीकी, स्वास्थ्य, अंतरिक्ष और रक्षा क्षेत्र में दोनों देशों के बीच कई समझौते हुए हैं. पिछले कुछ सालों से इजरायल लगातार भारत को रक्षा उपकरण निर्यात करने वाला प्रमुख देश बना हुआ है.
दोनों देश एक दूसरे के रणनीतिक साझेदार
इजरायल की रक्षा उपकरण निर्माता कंपनियां भारत की मेक इन इंडिया कार्यक्रम के अंतर्गत निवेश करने के मामले में सबसे आगे हैं. दोनों देश एक दूसरे को रणनीतिक साझेदार मानते हैं और कोरोना महामारी के खिलाफ भी एक दूसरे की मदद कर रहे हैं. दोनों देशों के वैज्ञानिकों के बीच कोरोना जैसी दूसरी महामारी के लिए टीका बनाने को लेकर भी सहयोग चल रहा है.
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