Vijay Diwas 2021: भारत में 16 दिसंबर को प्रतिवर्ष विजय दिवस (Vijay Diwas) के रूप में मनाया जाता है, यह 1971 के युद्ध में भारत की विजय का प्रतीक है. आपको बता दें कि विजय दिवस 16 दिसंबर को 1971 के युद्ध में पाकिस्तान पर भारत की जीत के कारण मनाया जाता है.
पाकिस्तान पर भारत की जीत का जश्न आज के दिन विजय दिवस नाम से मनाया जाता है. विजय दिवस वीरता और शौर्य की मिसाल है. इस ऐतिहासिक जीत के खास दिन पर सभी देशवासियों के अंदर इसे लेकर उमंग है और लोग इसे उत्साह के साथ मना रहे हैं.
विजय दिवस क्यों मनाया जाता है?
भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 का युद्ध दो मोर्चों पर लड़ा गया था. इस युद्ध की शुरुआत 03 दिसंबर 1971 को हुई थी. भारतीय फौज ने साल 1971 में 16 दिसंबर के दिन पाकिस्तानी फौज को बुरी तरह हराया था. इस युद्ध के दौरान 93 हजार पाकिस्तान सेना के जवानों ने आत्मसमर्पण किया था.
आधुनिक और मध्यकालिन दुनिया में इतना बड़ा आत्मसमर्पण अबतक कभी भी देखने या पढ़ने को नहीं मिला है. पाकिस्तान को मिली हार के बाद उस समय के पूर्वी पाकिस्तान जिसे वर्तमान में बांग्लादेश कहते हैं, उसको पाकिस्तान की चंगुल से आजाद करा दिया गया. बता दें कि इसी दिन को हर भारतीय विजय दिवस के रूप में मनाता है.
क्या है विजय दिवस का इतिहास?
भारत के वीर जवानों ने साल 1971 के युद्ध में पाकिस्तान को फिर खदेड़ दिया था. वॉर के अंत में पाकिस्तान के 93 हजार सौनिकों ने सरेंडर कर दिया था. भारत की मेहनत से पूर्वी पाकिस्तान को आजादी मिली थी और एक नए देश का गठन हुआ, जिसे आज हम बांग्लादेश के नाम से जानते हैं.
पूर्वी पाकिस्तान (आज बांग्लादेश) में पाकिस्तानी सेना के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल एएके नियाजी ने भारत के सैन्य कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल जगजीत सिंह अरोड़ा के सामने हार मान ली थी. वह दिन 16 दिसंबर ही था जब जनरल नियाजी ने आत्मसमर्पण के कागजात साइन किए थे.
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