विशाखापट्टनम में जहरीली गैस रिसाव से बड़ा हादसा, जानें विस्तार से

May 7, 2020, 15:52 IST

विशाखापट्टनम के आरएस वेंकटपुरम गांव में एलजी पॉलिमर इंडस्ट्री प्लांट में केमिकल गैस उस समय लीक हुई, जब लोग अपने घरों में सो रहे थे.

Visakhapatnam LG Polymers Gas Leakage in Hindi
Visakhapatnam LG Polymers Gas Leakage in Hindi

आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम में एक फार्मा कंपनी में गैस लीकेज का मामला सामने आया है. यह घटना 07 मई 2020 को सुबह हुई. इसके बाद पूरे शहर में तनाव का माहौल है. स्थानीय प्रशासन और नेवी ने फैक्ट्री के पास के गांवों को खाली करा लिया है. गैस लीक होने की घटना में अब तक सात लोगों की मौत हो चुकी है.

विशाखापट्टनम के आरएस वेंकटपुरम गांव में एलजी पॉलिमर इंडस्ट्री प्लांट में केमिकल गैस उस समय लीक हुई, जब लोग अपने घरों में सो रहे थे. जब लोगों को गैस रिसाव की वजह से सांस लेने में दिक्कत हुई और लगभग हजार से अधिक लोग बीमार पड़ गए.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने घटना को लेकर  एनडीएमए की आपात बैठक बुलाई है. बैठक में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और राजनाथ सिंह भी मौजूद हैं. आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी बीमारों से मिलने के लिए अस्पताल रवाना हो गए हैं. एनडीआरएफ के डीजी ने कहा कि विशाखापत्तनम की घटना स्टाइरीन गैस लीकेज की घटना है जो प्लाटिक का कच्चा माल है.

अमित शाह ने क्या कहा?

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि विजग में गैस लीक की घटना परेशान करने वाली है, हम लगातार और करीब से घटना की निगरानी कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि आरआर वेंकटपुरम में स्थित एलजी पॉलिमर कंपनी से खतरनाक जहरीली गैस लीक होने की वजह से कंपनी के आसपास के तीन किलोमीटर तक के इलाके प्रभावित हैं.

सहायति राशि देने का ऐलान

मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी ने इस घटना में मारे गए लोगों के परिजनों को 1 करोड़ रुपये की सहायति राशि देने का घोषणा किया है. गैस कांड के चलते जिन लोगों का वेंटिलेटर पर इलाज चल रहा है उन सभी लोगों को 10 लाख रुपये दिए जाएंगे. इसके अलावा, अन्य लोगों को जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है लेकिन वे वेंटिलेटर पर नहीं हैं उन सभी को 1-1 लाख रुपये दिए जाएंगे. जगन मोहन सरकार ने गैस लीक मामले की जांच के लिए 5 सदस्यीय कमिटी गठित की है.

स्टाइरीन गैस क्या है?

स्टाइरीन गैस प्लास्टिक, पेंट, टायर जैसी चीजें बनाने में इस्तेमाल होती है. इंसानों के शरीर में जाने से आंखों में जलन, सांस लेने में तकलीफ, बेहोशी और उल्टी जैसे परेशानियां होने लगती है. इसका नर्वस सिस्टम पर सीधा असर होता है. स्टाइरीन को एथेनिलबेनजीन, विनालेनबेन्जिन और फेनिलिथीन के रूप में भी जाना जाता है. ये एक रंगहीन तरल पदार्थ जैसा होता है, हालांकि कुछ सैंपल पीले भी दिखाई दे सकते हैं. यह एक बहुत ज्वलनशील गैस है. विषेशज्ञों का कहना है कि इस गैस से प्रभावित लोगों को जल्द से जल्द इलाज मिलना चाहिए.

इस गैस का इस्तेमाल

यूएस नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन के अनुसार स्टाइरीन का इस्तेमाल पॉलिस्टाइरीन प्लास्टिक, फाइबर ग्लास और रबड़ बनाने में होता है. इसके अलावा पाइप, ऑटोमोबाइल पार्ट्स, प्रिंटिग और कॉपी मशीन, जूते और खिलौने आदि बनाने में किया जाता है.

कैसे हुआ गैस हादसा

घटना 07 मई 2020 को सुबह लगभग 2.30 बजे हुई. आसपास के क्षेत्रों में लोग अपने घरों में सो रहे थे. तभी अचानक उन्हें सांस लेने में तकलीफ, भयानक खुजली और आंखों में जलन महसूस होनी शुरू हुई. दहशत में आकर लोग अपने घरों से बाहर भागे, लेकिन गैस रिसाव के कारण हवा जहरीली हो गई, जिससे वह बेसुध हो गए. इस दौरान कई मवेशी और पशु भी जहरीली गैस की चपेट में आ गए.

 

Vikash Tiwari is an content writer with 3+ years of experience in the Education industry. He is a Commerce graduate and currently writes for the Current Affairs section of jagranjosh.com. He can be reached at vikash.tiwari@jagrannewmedia.com
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