Draupadi Murmu: राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) ने झारखंड की पूर्व राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू (Draupadi Murmu) को राष्ट्रपति चुनाव 2022 (President Election 2022) के लिए अपना उम्मीदवार घोषित किया है. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की संसदीय बोर्ड की बैठक के बाद 21 जून 2022 को पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने द्रौपदी मुर्मू (Who is Draupadi Murmu) की उम्मीदवारी की घोषणा की.
बता दें बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर उनके नाम पर मुहर लगा दी है. पार्टी ने द्रौपदी मुर्मू को उम्मीदवार बनाया है. बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि भाजपा संसदीय बोर्ड ने राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के लिए बीस (20) नामों पर चर्चा की. इसके बाद द्रौपदी मुर्मू के नाम पर मुहर लगी.
Smt. Droupadi Murmu Ji has devoted her life to serving society and empowering the poor, downtrodden as well as the marginalised. She has rich administrative experience and had an outstanding gubernatorial tenure. I am confident she will be a great President of our nation.
— Narendra Modi (@narendramodi) June 21, 2022
यशवंत सिन्हा भी राष्ट्रपति उम्मीदवार
विपक्ष की तरफ से देश के सबसे बड़े पद के लिए 21 जून को ही पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा के नाम की घोषणा की गई.
देश की पहली आदिवासी
अगर द्रौपदी मुर्मू राष्ट्रपति बन जाती हैं तो वे देश की पहली आदिवासी होंगी जो देश के सर्वोच्च पद पर पहुंचेंगी. उनका राष्ट्रपति बनना आजाद भारत के इतिहास में अपने आप में एक बहुत महत्वपूर्ण पड़ाव साबित हो सकता है.
कौन हैं राष्ट्रपति उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू
• द्रौपदी मुर्मू का जन्म 20 जून 1958 को ओडिशा के मयूरभंज जिले के बैदापोसी गांव में हुआ था. उनके पिता का नाम बिरंची नारायण टुडू है.
• वे एक आदिवासी जातीय समूह संथाल परिवार से ताल्लुक रखती हैं. ओडिशा के आदिवासी परिवार में जन्मीं द्रौपदी मुर्मू झारखंड की नौवीं राज्यपाल बनी थीं.
• वे राजनीतिज्ञ होने के अतिरिक्त अनुसूचित जनजाति समुदाय से आती हैं. वे राज्यपाल बनने से पहले भारतीय जनता पार्टी की सदस्य रही हैं.
• द्रौपदी मुर्मू साल 2000 में गठन के बाद से पांच साल का कार्यकाल (2015-2021) पूरा करने वाली झारखंड की पहली राज्यपाल हैं. उन्हें साल 2007 में सर्वश्रेष्ठ विधायक के लिए 'नीलकंठ पुरस्कार' से सम्मानित किया गया था.
• द्रौपदी मुर्मू ओडिशा में दो बार विधायक तथा एक बार राज्यमंत्री के रूप में काम कर चुकी हैं. वे साल 2000 और 2004 में ओडिशा के रायरंगपुर विधानसभा क्षेत्र से विधायक थीं.
• वे साल 2015 में झारखंड के राज्यपाल के रूप में शपथ लेने वाली पहली महिला थीं. उन्होंने राजनीति एवं समाज सेवा में लगभग दो दशक बिताए हैं.
• उन्होंने साल 1997 में रायरंगपुर नगर पंचायत में एक पार्षद के रूप में अपना राजनीतिक जीवन शुरू किया. वे बाद में रायरंगपुर राष्ट्रीय सलाहकार परिषद की उपाध्यक्ष बनीं. वे साल 2013 में पार्टी के एसटी मोर्चा के राष्ट्रीय कार्यकारी सदस्य के पद तक पहुंचीं.
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