इंडियन बैंक (आईबी) ने विभिन्न ग्रेड के ऑफिसर्स की नियुक्ति के लिए आवेदन आमंत्रित किए हैं। इसमें प्रोबेशनरी ऑफिसर के 118 पदों सहित स्पेशलिस्ट ऑफिसर्स के अन्य पदों के साथ कुल 284 पदों के लिए आवेदन आमंत्रित किए गए हैं।
डेट एलर्ट
आईबी के विभिन्न पदों के लिए आवेदन की अंतिम तिथि 16 नवंबर 2009 है। इसका आवेदन www.indianbank.in पर लॉग इन करके किया जा सकता है। पीओ की लिखित परीक्षा 17 जनवरी, 2010 को होगी। स्पेशलिस्ट ऑफिसर्स के ग्रेड-1 के अलावा अन्य पदों के लिए लिखित परीक्षा 3 जनवरी, 2010 को देश के विभिन्न 12 केंद्रों पर आयोजित की जाएगी।
योग्यता
इंडियन बैंक के विभिन्न पदों के लिए आवश्यक न्यूनतम योग्यता को तीन वर्गो में विभाजित किया जा सकता है-
आयु सीमा: पीओ के लिए अधिकतम आयु 30 वर्ष तथा न्यूनतम आयु 21 वर्ष होना आवश्यक है। एसओ के लिए न्यूनतम आयु सीमा 21 वर्ष तथा अधिकतम आयु सीमा पद के अनुसार तय की गई है।
शैक्षिक योग्यता: पीओ के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता किसी भी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से 55 प्रतिशत अंकों के साथ ग्रेजुएट की डिग्री है, जबकि एसओ पदों के लिए फुलटाइम इंजीनियरिंग कोर्स आवश्यक है।
एक्सपीरियंस: स्पेशलिस्ट ऑफिसर्स के कुछ विशेष पदों के लिए विभिन्न स्तर पर निर्धारित किए गए कार्य अनुभव का सर्टिफिकेट संलग्न करना आवश्यक है। एसओ की नियुक्तियां कई ग्रेड में की जाती है। अत: सभी गे्रड के लिए कार्य-अनुभव की कुछ न्यूनतम अर्हता निर्धारित की गई है। अधिक जानकारी के लिए रोजगार समाचार देख सकते हैं।
चयन प्रक्रिया
इंडियन बैंक में प्रोबेशनरी ऑफिसर्स तथा स्पेशलिस्ट ऑफिसर्स के चयन के लिए दो स्तरीय परीक्षा प्रणाली अपनाई गई है। पहले चरण में लिखित परीक्षा होगी, जबकि दूसरे चरण में लिखित परीक्षा में उत्तीर्ण होने वाले अभ्यर्थियों को ही इंटरव्यू के लिए बुलाया जाएगा। इंटरव्यू एवं लिखित परीक्षा में प्राप्त कुल अंकों के आधार पर मेरिट लिस्ट बनाई जाएगी।
इस तरह दोनों ही स्तरों की परीक्षा की गंभीर तैयारी जरूरी है। सबसे पहले प्रथम स्तर की लिखित परीक्षा की तैयारी पर फोकस जरूरी है, क्योंकि प्रथम चरण पास करने के बाद ही द्वितीय चरण के लिए कॉल किया जाएगा।
सिलेबस स्कैन
प्रथम चरण की लिखित परीक्षा के पाठ्यक्रम पदों के मुताबिक निर्धारित हैं। लिखित परीक्षा के भी दो चरण हैं। इसके प्रथम चरण में वस्तुनिष्ठ प्रकार के और द्वितीय चरण में वर्णनात्मक प्रकार के प्रश्न पूछे जाएंगे। लिखित परीक्षा के प्रथम चरण के लिए कुल 135 मिनट का समय निर्धारित किया गया है। साथ ही यहां निगेटिव मार्किग का भी प्रावधान है।
वस्तुनिष्ठ प्रकार के टेस्ट के अंतर्गत रीजनिंग टेस्ट वर्बल एवं नॉन-वर्बल, क्वांटिटेटिव एप्टीट्यूड, इंग्लिश लैंग्वेज तथा जनरल अवेयरनेस के पेपर होंगे। स्पेशलिस्ट ऑफिसर्स को जनरल अवेयरनेस टेस्ट की जगह उनके विषय से संबंधित प्रोफेशनल नॉलेज टेस्ट से गुजरना होगा। लिखित परीक्षा का द्वितीय चरण डिसक्रिप्टिव प्रकार का होता है।
इसमें कुल 5 प्रश्न होते हैं, जिसमें से 4 प्रश्नों का उत्तर लिखना होता है। इन प्रश्नों की प्रकृति व संबद्धता पदों के हिसाब से तय की जाती है। पीओ पद के अभ्यर्थियों को 5 प्रश्न सामाजिक, आर्थिक एवं पर्यावरणीय मुद्दों से संबंधित होंगे, जबकि स्पेशलिस्ट ऑफिसर पद के लिए पांचों दीर्घउत्तरीय प्रश्न उनके विषय के संबंधित पहलुओं से पूछे जाएंगे।
तैयारी की रणनीति
किसी भी परीक्षा की तैयारी के लिए प्रैक्टिस महत्वपूर्ण है। इसके लिए जरूरी है कि संबंधित सिलेबस के बारे में आपको पूरी जानकारी हो। जैसे रीजनिंग टेस्ट के तहत दो प्रकार के प्रश्न पूछे जाते हैं- वर्बल तथा नॉन-वर्बल। नॉन-वर्बल के प्रश्नों की प्रकृति चित्रात्मक एवं लॉजिकल होता है, जबकि वर्बल सेक्शन कुछ हद तक आसान होता है। एसओ पद के अभ्यर्थी इस तरह की चीजों को जेहन में रखकर तैयारी की रणनीति बना सकते हैं।
इसके अलावा पीओ पद के अभ्यर्थियों को वस्तुनिष्ठ प्रश्न के सभी सेक्शन पर पकड बनाना आवश्यक है, क्योंकि उन्हें अलग-अलग सभी सेक्शन में पास करने के साथ-साथ बेहतर स्कोर भी करना जरूरी होता है। डिसक्रिप्टिव पेपर की तैयारी के लिए पीओ पद के अभ्यर्थियों को सामाजिक, आर्थिक एवं पर्यावरणीय मुद्दों के कुछ विशेष व ज्वलंत टॉपिक को चिह्नित करना चाहिए।
इसके बाद उसके लिए आवश्यक तथ्य का संग्रहण करना तथा पुन: पैटर्न को आधार बनाकर लिखने की आदत डालना श्रेयस्कर होगा। आर्थिक क्षेत्र से संबद्ध विषयों में वैश्विक मंदी, पर्यावरणीय मुद्दों में ग्लोबल वार्मिग, जैव विविधता तथा सामाजिक मुद्दों जैसे सर्वशिक्षा, बाल शिक्षा टॉपिक का चयन आदि। डिसक्रिप्टिव पेपर का उत्तर हिंदी या अंग्रेजी में से किसी एक माध्यम में लिखना होता है।
इंटरव्यू
पीओ पद के इंटरव्यू में पर्सनैलिटी टेस्ट के लिए हॉबी एवं समसामयिक व ज्वलंत मुद्दों से सीधे, सरल व ओपिनियन आधारित प्रश्न पूछे जाने की संभावना ज्यादा होती है, जबकि एसओ पदों के लिए विषयों से संबंधित प्रश्नों को इंटरव्यू के दौरान पूछे जाने की संभावना रहती है।
ध्यान रखें
निगेटिव मार्किग की वजह से परीक्षा में उन्हीं प्रश्नों को हल करें, जिनके सही उत्तर के लिए आप कॉन्फिडेंट हैं।
टाइम फे्रम में प्रैक्टिस सेट का अभ्यास काफी लाभकारी हो सकता है।
डिसक्रिप्टिव पेपर की तैयारी के लिए पत्र-पत्रिकाओं को पढने के साथ-साथ ग्रुप बनाकर इन पर वाद-विवाद करना लाभकारी होगा।
इंटरव्यू की तैयारी के लिए छद्म साक्षात्कार तथा सीनियर्स व कोचिंग संस्थान का मार्गदर्शन फायदेमंद हो सकता है।
(करियर कॉम्पिटिशन कोचिंग, दिल्ली के विशेषज्ञों से बातचीत पर आधारित)
राकेश कुमार
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