IIMs से MBA: यहां पढ़ें फैकल्टी और स्टूडेंट डाइवर्सिटी सहित अन्य जरुरी विवरण

Oct 1, 2019, 18:30 IST

इस वीडियो इंटरव्यू में प्रोफेसर रुना सरकार - डीन एकेडमिक, IIM कलकत्ता ने IIM द्वारा दी जाने वाली स्कॉलरशिप, MBA एजुकेशन लोन के अलावा स्टूडेंट्स एक्सचेंज प्रोग्रामों, एक्सपर्ट फैकल्टी और स्टूडेंट्स डाइवर्सिटी जैसे टॉपिक्स के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी हम से शेयर की है ताकि IIM, कलकत्ता के किसी MBA प्रोग्राम में एडमिशन लेने से पहले स्टूडेंट्स के पास यह महत्वपूर्ण जानकारी हो.

MBA at IIMs
MBA at IIMs

हमारे देश में कई टैलेंटेड स्टूडेंट्स धन के अभाव के कारण अपनी हायर एजुकेशन की डिग्री हासिल नहीं कर पाते हैं और जब बात किसी IIM से MBA प्रोग्राम करने की हो तो हर साल का एजुकेशनल + अन्य कुल खर्च लाखों रुपये तक पहुंच जाता है. ऐसे में, देश के टॉप IIMs से MBA करने के लिए फंड्स का इंतजाम करना MBA स्टूडेंट्स के लिए अच्छी-खासी चुनौती होता है. इस वीडियो इंटरव्यू में प्रोफेसर रुना सरकार - डीन एकेडमिक, IIM कलकत्ता स्टूडेंट्स को MBA एजुकेशन लोन और स्कॉलरशिप हासिल करने के बारे में जानकारी दे रही हैं. यहां आपको इंटरनेशनल बी-स्कूल्स के साथ IIMs के स्टूडेंट्स एक्सचेंज प्रोग्राम्स और एक्सपर्ट फैकल्टी मेंबर्स के बारे में भी जानकारी मिलेगी.

स्वाभाविक रूप से यह साड़ी जानकारी स्टूडेंट्स के लिए काफी जरुरी है क्योंकि इस वीडियो इंटरव्यू के माध्यम से वे अपने MBA प्रोग्राम के लिए एजुकेशन लोन और/ या स्कॉलरशिप हासिल कर लेंगे और उन्हें अपने कैंपस के एक्सपर्ट टीचर्स के साथ ही कई किस्म की बैकग्राउंड और विविधताओं वाले स्टूडेंट्स के बारे में भी अच्छी जानकारी हो जायेगी. इंटरनेशनल बी-स्कूलों के साथ IIMs के स्टूडेंट्स एक्सचेंज प्रोग्रामों के बारे में जानकारी भी स्टूडेंट्स को देश के टॉप IIMs से MBA कोर्स करने के लिए मोटीवेट करेगी.  

इंटरव्यू के महत्वपूर्ण पॉइंट्स

MBA प्रोग्राम की फंडिंग के तौर पर स्टूडेंट्स ले सकते हैं एजुकेशन लोन और स्कॉलरशिप्स

भारत में IIM या टॉप MBA कॉलेजों में शामिल होने वाले MBA कैंडिडेट्स की सबसे बड़ी चिंता होती है अपनी मैनेजमेंट एजुकेशन के लिए आवश्यक फंड्स की व्यवस्था काना. IIM और अन्य प्रमुख बी-स्कूलों में MBA प्रोग्राम्स बहुत महंगे हैं. लेकिन अगर IIM कलकत्ता जैसे भारत के टॉप  MBA इंस्टीट्यूशन्स की बात की जाय तो ये IIMs अपने आप में एक ब्रांड हैं. इसलिए इन कैम्पसों में एडमिशन लेने वाले स्टूडेंट्स को अधिकांश फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन्स स्टूडेंट लोन देने के लिए तैयार रहते हैं. वास्तव में एडमिशन प्रोसेस और ओरिएंटेशन प्रोग्राम के पहले 3 दिनों तक अधिकांश बैंक IIM कलकत्ता कैम्पस में एजुकेशन लोन देने के लिए अपना स्टॉल लगते हैं. इसके अलावा, IIM कलकत्ता और अन्य IIMs भी यह मानते हैं कि अगर किसी के पास एकेडमिक क्वालिफिकेशन तथा एबिलिटी है तो ऐसे स्टूडेंट्स को  किसी भी धन संबंधी मुद्दे के कारण अपनी पढ़ाई नहीं छोड़नी चाहिए. यही कारण है कि IIMs एक जेनरस मेरिट कम नीड स्कॉलरशिप ऑफर करते हैं, जिसे जरुरतमंद स्टूडेंट्स प्राप्त कर सकते हैं. ये इंस्टीट्यूट्स टैलेंटेड स्टूडेंट्स को MBA एजुकेशन कम्प्लीट करने के लिए आर्थिक सहायता के रूप में कई स्कॉलरशिप्स भी ऑफर करते हैं.

IIM में होने वाले स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्रामों की जानकारी

जहां तक IIM में स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्राम का संबंध है, तो  IIM कलकत्ता में लगभग 25% स्टूडेंट्स को 5 या दूसरे वर्ष में एक एक्सचेंज प्रोग्राम के लिए भेजा जा रहा है. IIM कलकत्ता स्टूडेंट्स को किसी  विदेशी विश्वविद्यालय या IIM कलकत्ता के समान ही फॉरेन बिजनेस स्कूल के साथ फुल टाइम MBA प्रोग्राम करने की सुविधा प्रदान की जाती है.

इसके अतिरिक्त, यह सुनिश्चित करने के लिए कि अन्य स्टूडेंट्स छूट न जायं, इसके लिए IIM कलकत्ता के पास एक एक्सचेंज प्रोग्राम भी है, जिसमें 50 -100 स्टूडेंट्स अन्य बी-स्कूलों से आते हैं तथा वे इंटरनेशनल लेवल पर प्रोफेशनल लाइफ की बारीकियों के बारे में जानकारी प्राप्त करते हैं.

IIM कलकत्ता द्वारा प्रदान किया जाने वाला एक और अनूठा एक्सचेंज प्रोग्राम है CEMS है. CEMS दुनिया भर के 30 प्रमुख बिजनेस स्कूलों का एक विशिष्ट क्लब है और IIM कलकत्ता हमारे देश से CEMS का एकमात्र सदस्य है. CEMS प्रोग्राम्स के एक हिस्से के रूप में, स्टूडेंट्स इंटरनेशनल एक्सचेंज प्रोग्राम्स में भाग लेते हैं और आखिर में उन्हें मैनेजमेंट में पोस्ट ग्रेजुएट की डिग्री प्रदान की जाती है.IIM कलकत्ता भारत में CEMS प्रतिनिधि है और इसका सीधा-सा मतलब है कि अगर आप एक काबिल स्टूडेंट हैं तो आपको CEMS से एक और डिग्री भी मिलेगी. यह एक्सचेंज प्रोग्राम स्टूडेंट-एक्सपोजर को बढ़ावा देने की कोशिश करने का एक बढ़िया तरीका है.

स्टूडेंट डाइवर्सिटी भी है महत्वपूर्ण

स्टूडेंट डाइवर्सिटी या छात्र विविधता के बारे में बात करते समय सबसे पहले यह समझना होगा कि आखिर इसका मतलब क्या है? IIM कलकत्ता के कैम्पस में स्टूडेंट्स के लिंग और एकेडमिक बैकग्राउंड के साथ-साथ उनकी  सामाजिक-आर्थिक बैकग्राउंड में भी बहुत अंतर देखने को मिलता है. इसलिए जब सामाजिक-आर्थिक बैकग्राउंड अर्थात जाति आदि की बात आती है तो उस दौरान इस देश के कानून को लागू करते हुए हम प्रत्येक सन्दर्भ में विविधता का ख्याल रखते हैं. जेंडर और विभिन्न एकेडमिक बैकग्राउंड्स वाले लोगों को एक-साथ रखने के मामले में मैनेजमेंट के क्षेत्र में हमें हर साल एक बड़ी चुनौती का सामना करना पड़ रहा है. ऐसा इसलिए है क्योंकि, CAT एग्जाम देने वालों पुरुषों की तुलना में महिलाएं कम हैं और CAT एग्जाम देने वाले बहुत कम स्टूडेंट्स भी नॉन-इंजीनियरिंग ग्रुप के होते हैं.

जेंडर और एकेडमिक विषयों और बैकग्राउंड के मामले में छात्र विविधता, कक्षा की भागीदारी के साथ-साथ केवल बुनियादी अनुशासन की गुणवत्ता के मामले में क्लासरूम में बहुत अंतर देखने को मिलता है. स्टूडेंट्स विविधता को बढ़ावा देने के लिए, IIM कलकत्ता ने अपनी एडमिशन पॉलिसी में कुछ बदलाव किए हैं और जो सार्वजनिक डोमेन में उपलब्ध है. इस पॉलिसी के अनुसार, महिलाओं और नॉन-इंजीनियर कैंडिडेट्स को एक्स्ट्रा मार्क्स दिए जाते हैं. इस पॉलिसी से IIM क्लासेज में छात्र विविधता में सुधार की उम्मीद की जा रही है. अगर कैंपस में छात्र विविधता की बात की जाय तो यह काफी आशाजनक नजर आ रही है. IIMs में अभी भी इस छात्र विविधता और एकेडमिक अनुशासन के संदर्भ में कोई बदलाव नहीं दिख रहा है, लेकिन IIM कलकत्ता यह उम्मीद कर रहा है कि ऐसा जल्द से जल्द संभव होगा.

फैकल्टी मिक्स का है खास योगदान

IIM कलकत्ता में विभिन्न विषयों में फैकल्टी पोस्ट्स के लिए आवेदन करने वाले पुरुषों और महिलाओं का अच्छा मिश्रण है. एडमिशन इंटरव्यू के दौरान स्टूडेंट्स से यह पूछना कि, हमारे विषय में आपकी क्या राय है? हम किस विषय के फैकल्टी मेंबर हो सकते हैं?....बड़ा मजेदार प्रश्न होता है. इससे भी दिलचस्प बात तो यह है कि अधिकांश स्टूडेंट्स यह मानते हैं कि ज्यादातर महिला फैकल्टी सॉफ्टर डिसिप्लिन्स को प्रेफर करती हैं और उसमें स्टडी करती हैं. यहां वे अक्सर वास्तविकता से दूर चले जाते हैं. अपने देश से पीएचडी स्कॉलर्स बनाम फॉरेन पीएचडी स्कॉलर्स के साथ ही देश के विभिन्न प्रान्तों से आने वाले  फैकल्टी मेंबर्स में भी हमें बहुत विविधता देखने को मिलती है.

एक्सपर्ट के बारे में :

प्रोफेसर रुना सरकार IIM कलकत्ता में डीन एकेडमिक और इकोनॉमिक्स ग्रुप की फैकल्टी मेंबर हैं. एकेडमिक बैकग्राउंड के मामले में वह BITS पिलानी से केमिकल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएट हैं और उन्होंने चैपल हिल नॉर्थ कैरोलिना यूनिवर्सिटी से अपनी मास्टर डिग्री प्राप्त की है. एक प्रोफेशनल के रूप में  उन्होंने टाटा स्टील के पर्यावरण और ऊर्जा परामर्श के क्षेत्र से संबंधित एक सहायक कंपनी - टाटा कॉर्प के साथ काम किया है. IIM-कलकत्ता के इकोनोमिक्स ग्रुप में एक फैकल्टी मेंबर के रूप में शामिल होने से पहले, उन्होंने IIT कानपुर में इंडस्ट्रियल मैनेजमेंट एंड इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट में पढ़ाया है.

Parikshit Bhardwaj
Parikshit Bhardwaj

Head - Content and Strategy

Parikshit Bhardwaj heads Content & Strategy at Jagran New Media. He is a prolific writer, thought leader and media professional with 20+ years of rich experience in creating content for academic and professional audiences. He has postgraduate degrees in Social Sciences and Management and has previously worked with organizations like Wiley India, NIIT Ltd. and SAGE Publishing. He was chosen by the United States Department of State for its flagship International Visitor Leadership Program (IVLP) fellowship in 2023. He can be reached at parikshit.bhardwaj@jagrannewmedia.com

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