BR Ambedkar Quotes : डॉ. भीमराव अंबेडकर का का जन्म 14 अप्रैल 1891 में मध्य प्रदेश के महू जिले में हुआ था। उन्होंने अपना पूरा जीवन देश में भेदभाव को समाप्त करने, दलितों और शोषित वर्गों के अधिकारों के संघर्ष करने में बिताया। वह पहले ऐसे भारतीय थे, जिन्होंने विदेश से पीएचडी की उपाधि हासिल की थी। वह संविधान समीति के अध्यक्ष रहे और संविधान का निर्माण करने के लिए जाने जाते हैं।
दलितों के चिंतक और समाज सुधारक भीमराव अंबेडकर के विचार आज भी युवाओं को प्रेरणा देने का काम करते हैं। आज लेख में पढ़िए उन्हें द्वारा दिए गए 10 अनमोल विचारों के बारे में, जो आपका हौसला कभी कम नहीं होने देते।
भीमराव अंबेडकर के 10 अनमोल विचार -
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“मनुष्य नश्वर है, उसी तरह उसके विचार भी नश्वर हैं। एक विचार को प्रचार-प्रसार की जरूरत होती है, जैसे कि एक पौधे को पानी की, नहीं तो दोनों मुरझाकर मर जाते हैं।”
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“एक महान आदमी एक प्रतिष्ठित आदमी से इस तरह से अलग होता है कि वह समाज का नौकर बनने को तैयार रहता है।”
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“बुद्धि का विकास मानव के अस्तित्व का अंतिम लक्ष्य होना चाहिए।”
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“शिक्षित बनो, संगठित रहो और उत्तेजित बनो।”
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“वे इतिहास नहीं बना सकते जो इतिहास को भूल जाते हैं।”
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"एक न्यायपूर्ण समाज वह समाज है जिसमें आदर की बढ़ती भावना और तिरस्कार की घटती भावना, एक करुणामय समाज के निर्माण में विलीन हो जाती है।"
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"एक महान व्यक्ति एक प्रतिष्ठित व्यक्ति से इस मायने में अलग होता है कि वह समाज का सेवक बनने के लिए तैयार रहता है।"
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"राजनीतिक अत्याचार सामाजिक अत्याचार की तुलना में कुछ भी नहीं है और जो सुधारक समाज की अवहेलना करता है, वह सरकार की अवहेलना करने वाले राजनेता से अधिक साहसी व्यक्ति है।"
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"धर्म मनुष्य के लिए है, मनुष्य धर्म के लिए नहीं"
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“ज्ञान मनुष्य के जीवन का आधार है।”
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