Giorgia Meloni: हाल ही में इटली में संपन्न हुए आम चुनाव में ब्रदर्स ऑफ इटली पार्टी ने चुनाव जीत लिया है. पार्टी की नेता जियोर्जिया मेलोनी (Giorgia Meloni) ने वर्तमान प्रधानमंत्री मारियो ड्रैगी को भारी मतों के अंतर से हरा दिया है. मेलोनी अब इटली की पहली महिला प्रधानमंत्री बनेंगी. जियोर्जिया मेलोनी को दक्षिणपंथी विचारधारा का समर्थक माना जाता है.
जियोर्जिया मेलोनी की जीत इटली में एक नये शुरुआत के रूप में देखा जा रहा है. द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यह पहला अवसर होगा जब इटली में दक्षिणपंथी विचारधारा की सरकार होगी. जीत के बाद उन्होंने कहा कि हम इटली के सभी नागरिकों के हितों को ध्यान में रखकर सरकार को चलाएंगे, साथ ही देश को एकजुट और विकास के मार्ग पर आगे ले जायेंगे.
Polls open as Italians vote in general election, expected to elect 1st female Prime Minister
— ANI Digital (@ani_digital) September 25, 2022
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बहुमत का दावा:
मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, ब्रदर्स ऑफ इटली पार्टी के नेतृत्व वाले गठबंधन ने 43% से अधिक मतों का दावा किया है, जो सीनेट में 114 सीटों के लगभग बराबर है. गठबंधन में फोर्ज़ा इटालिया और द लीग दो अन्य पार्टियां है. इटली की सीनेट में किसी राजनीतिक दल को बहुमत हासिल करने के लिए 104 सीटों की आवश्यकता होती है.
बेनिटो मुसोलिनी की समर्थक:
ब्रदर्स ऑफ इटली पार्टी के साथ-साथ जियोर्जिया मेलोनी को इटली के फासीवादी नेता बेनिटो मुसोलिनी का समर्थक माना जाता है. मेलोनी की छवि एक इस्लामोफोबिक नेता के रूप में भी है. 45 वर्षीय मेलोनी ने चुनाव प्रचार में 'God, country and family' का नारा दिया और अपने चुनाव प्रचार के इस नारे के आस-पास ही रखा. जिसके परिणामस्वरूप उन्होंने यह जीत हासिल की है.
जियोर्जिया मेलोनी के बारें में:
जियोर्जिया मेलोनी एक इतालवी राजनीतिज्ञ और पत्रकार हैं. वह वर्ष 2006 से इटली में चैंबर ऑफ़ डेप्युटीज़ की सदस्य है. उन्होंने वर्ष 2014 से ब्रदर्स ऑफ़ इटली राजनीतिक दल का नेतृत्व किया है.
नाम | जियोर्जिया मेलोनी |
जन्म | 15 जनवरी 1977 (रोम) |
पोलिटिकल पार्टी | ब्रदर्स ऑफ इटली पार्टी |
सदस्य | चैंबर ऑफ़ डेप्युटीज़ |
अध्यक्ष | यूरोपियन कंजरवेटिव्स एंड रेफ़ोर्मिस्ट पार्टी |
क्या थे जियोर्जिया मेलोनी के चुनावी मुद्दे?
45 वर्षीय मेलोनी ने देश के अहम मुद्दों के साथ यह चुनाव लड़ा था, जिसमे उन्होंने इच्छामृत्यु से सम्बंधित कानूनों, गर्भपात, सेम सेक्स मैरिज जैसे प्रावधानों का भारी विरोध किया, साथ ही उन्होंने पुरुष-महिला जोड़े को एकल परिवार का आधार बताया था. उन्होंने देश के सामने आई विभिन्न राष्ट्रीय समस्याओं पर भी जनता का ध्यान खिंचा और जारी रूस-यूक्रेन संघर्ष पर भी अपना मत रखा. साथ ही उन्होंने देश को एकजुट करने पर भी जोर दिया.
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— Giorgia Meloni 🇮🇹 ن (@GiorgiaMeloni) September 26, 2022
जियोर्जिया मेलोनी की चुनौतियाँ:
जियोर्जिया मेलोनी के सामने सबसे बड़ी चुनौती यूक्रेन पर रूसी आक्रमण से देश में उत्पन्न ऊर्जा संकट को कम करना है. साथ ही देश में जरुरी सामानों की कीमतों में बढ़ोतरी को कम करना उनके लिए एक चुनौती साबित होगा. साथ ही चुनाव में किये गए चुनावी वादों को पूरा करना भी उनके लिए एक चुनौती होगी. दक्षिणपंथी विचारधारा की नेता को देश में एकजुटता और शांति बनाये रखना भी एक चुनौती ही साबित होगा.
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