धरती पर मौजूद प्रकृति विभिन्न रचनाओं से बनी है। इसी में पेड़-पौधे, झील, नदियां, पहाड़ व मिट्टी शामिल है। प्रत्येक चीज का अपना एक रूप और प्रकार है। इसी प्रकार मिट्टी का भी अपना एक रूप और प्रकार होता है। आपने अक्सर दो प्रकार के मिट्टी वाले क्षेत्रों के बारे में सुना होगा, खादर और बांगर। इन दोनों जगह पर मिलने वाली मिट्टी अलग-अलग होती है। साथ ही इनका उपयोग भी अलग-अलग होता है। आज हम आपको इस लेख के माध्यम से खादर और बांगर में प्रमुख अंतरों के बारे में बताएंगे। जानने के लिए यह लेख पढ़ें।
क्या होता है खादर
खादर इलाका निचला इलाका होता है। यह क्षेत्र नदी के पास होता है, जहां नदी के साथ आने वाली मिट्टी जमा होती है। इस क्षेत्र में समय-समय पर बाढ़ आती रहती है। ऐसे में यहां मिलने वाली मिट्टी ताजा होती है। इसके साथ ही यहां की मिट्टी अधिक उपजाऊ भी होती है, जिस वजह से आपको खादर इलाको में अधिक खेती देखने को मिल जाएगी। खादर क्षेत्र में आने वाले बाढ़ के पानी में पत्थर भी होते हैं, लेकिन इनका आकार बहुत महीण होता है। उदाहरण के तौर, दिल्ली की बात करें, तो यहां यमुना का खादर इलाका है, जहां पर खेती भी की जाती है। इसके साथ ही यहां मिलने वाले बालू का भी भवन निर्माण में इस्तेमाल किया जाता है। इसी प्रकार अन्य शहरों में भी नदी किनारे के आसपास मौजूद क्षेत्र खादर इलाके में आता है।
क्या होता है बांगर
यह क्षेत्र नदी से दूर होता है। साथ ही यह ऊंचाई वाला क्षेत्र भी होता है, जहां बाढ़ का पानी नहीं आता है। ऐसे में यहां की मिट्टी में बदलाव नहीं होता है और यहां की मिट्टी काफी पुरानी होती है। इस क्षेत्र की मिट्टी आपको अधिक उपजाऊ नहीं मिलेगी। यही वजह है कि यहां बहुत ही कम खेती की जाती है। बांगर क्षेत्र में मिलने वाली मिट्टी में कणों का आकार बड़ा होता है व नमी भी कम होती है। खादर की तुलना में अधिक ऊंचाई पर होने की वजह से यहां पर लोगों की बसावट भी देखने को मिल जाएगी।
खादर और बांगर में प्रमुख अंतर
-खादर क्षेत्र की मिट्टी अधिक उपजाऊ होती है, जिसकी वजह से यहां पर खेती की जाती है, जबकि बांगर क्षेत्र की मिट्टी अधिक उपजाऊ नहीं होती है। ऐसे में यहां पर खेती भी नहीं होती है।
-खादर में समय-समय पर बाढ़ आती रहती है, जबकि बांगर क्षेत्र में बाढ़ नहीं आती है।
-खादर क्षेत्र में बार-बार बाढ़ आने की वजह से यहां पर नई मिट्टी मिल जाती है, जबकि बांगर क्षेत्र में पुरानी मिट्टी ही जमा रहती है।
-खादर क्षेत्र निचले इलाके में होने के साथ नदी के समीप होता है, जबकि बांगर क्षेत्र ऊंचाई वाले क्षेत्र में होने के साथ नदी से दूर होता है।
-खादर क्षेत्र का अपना एक पारिस्थितिकी तंत्र है, जहां विभिन्न प्रकार के जीव-जंतु मिल जाएंगे। वहीं, बांगर क्षेत्र का पारिस्थितिकी तंत्र अलग होने की वजह से यहां मिलने वाले जीव-जंतु भी अलग होते हैं।
Comments
All Comments (0)
Join the conversation