13 मई 2020 को प्रधानमंत्री मोदी ने देश को संबोधित करते हुए 20 लाख करोड़ के आत्म निर्भर भारत पैकैज की घोषणा की, जिससे जुड़ी जानकारी वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 5 दिनों तक प्रेस कॉन्फ्रेंस के ज़रिए दी। गुरुवार को वित्त मंत्री ने 20 लाख करोड़ के पैकेज की दूसरी किस्त की घोषणा करते हुए कहा कि भारत सरकार प्रवासी मज़दूरों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है।
आत्म निर्भर भारत पैकेज (Aatma Nirbhar Bharat Abhiyan): दूसरी किस्त में प्रवासी मज़दूरों को क्या राहत मिली?
1- गुरुवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के ज़रिए कहा कि भारत सरकार की ओर से दो महीनों तक सभी प्रवासी मज़दूरों को मुफ्त में राशन दिया जाएगा। उन्होंने आगे कहा कि जिनके पास राशन कार्ड नहीं भी हैं उन्हें भी प्रति व्यक्ति 5 किलो अनाज और हर परिवार को एक किलो चना दिया जाएगा। वित्त मंत्री की इस घोषणा से 8 करोड़ प्रवासी मज़दूरों को लाभ मिलेगा। वन नेशन, वन कार्ड के तहत प्रवासी मज़दूर देश के किसी भी हिस्से से अपना राशन कार्ड दिखाकर राशन ले सकते हैं।
2- वित्त मंत्री ने का कहना है कि सरकार ने न्यूनतम मजदूरी का अधिकार सभी मजदूरों को देने की तैयारी है। वन इंडिया, वन वेज के तहत न्यूनतम मज़दूरी में क्षेत्रीय असमानता भी खत्म की जाएगी।
3- मनरेगा के तहत भी प्रवासी मज़दूरों को मिलने वाला मानदेय भी 20 रुपये बढ़ाकर 202 रुपये कर दिया गया है जो पहले 182 रुपये था। इस योजना के तहत 5 कोरड़ गरीब परिवारों को लाभ मिलेगा। इसके साथ ही प्रवासी मज़दूर अपने गांव जाने के बाद मनरेगा के तहत काम पा सकेंगे।
4- वित्त मंत्री निर्माल सीतारमण का कहना है कि ईएसआई के लाभों पर भी विचार किया जा रहा है। उन्होंने आगे कहा कि लजो मज़दूर खतरनाक नौकरियां कर रहे हैं, उनके लिए सरकार ईएसआई के तहत सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने पर विचार कर रही है।
5- कोरोनावायरस की वजह से प्रवासी मज़दूर घर का किराया देने में असमर्थ हैं। इस बात को ध्यान में रखते हुए सरकार पीएम आवास योजना के तहत एक स्कीम लॉन्च करेगी जिससे प्रवासी मज़दूरों को किफायती दरों पर रहने के लिए घर दिए जाएंगे।
वित्त मंत्री का कहना है कि प्रवासी मज़दूरों और शहरी गरीबों के लिए पिछले 2 महीनों में भारत सरकार ने राज्य सरकारों को स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फंड के रूप में बड़ी मदद की है, जिसके तहत उन्हें दिन में तीन बार खाना उपलब्ध कराया जा रहा है।
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