भारत क्षेत्रफल के हिसाब से दुनिया में सातवां सबसे बड़ा राज्य है। इसके कुल क्षेत्रफल की बात करें, तो यह 32,87,263 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है। वहीं, उत्तर प्रदेश भारत का चौथा सबसे बड़ा राज्य है, जिसका कुल क्षेत्रफल 240,928 वर्ग किलोमीटर है।
इसके साथ ही उत्तर प्रदेश विविध संस्कृति और अनूठी परंपराओं का भी घर है। यही वजह है कि यहां हर साल बड़ी संख्या में देशी-विदेशी सैलानी पर्यटन के लिए पहुंचते हैं। उत्तर प्रदेश के हर जिले की अपनी विशेषता है, जिससे इन्हें विश्व स्तर तक पहचान मिली है। आपने प्रदेश के अलग-अलग जिलों के बारे में पढ़ा और सुना होगा। हालांकि, क्या आप जानते हैं कि प्रदेश का कौन-सा जिला चाकुओं का शहर कहा जाता है और क्यों, जानने के लिए यह लेख पढ़ें।
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उत्तर प्रदेश में कुल जिले
सबसे पहले हम यह जान लेते हैं कि उत्तर प्रदेश में कुल कितने जिले हैं, तो आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश भारत में सबसे अधिक जिले वाला राज्य है। इसके कुल जिलों की बात करें, तो यह 75 हैं, जो कि 18 मंडलों में आते हैं। वहीं, यहां 17 नगर निगम, 822 सामुदायिक विकास खंड, 350 तहसील(2018), 59,163 ग्राम पंचायत, 437 नगर पंचायत और 198 नगर पालिका परिषद्(2018) हैं।
किस जिले को कहा जाता है चाकुओं का शहर
अब सवाल है कि उत्तर प्रदेश में आखिर किस जिले को चाकुओं का शहर कहा जाता है, तो आपको बता दें कि प्रदेश के रामपुर जिले को हम चाकुओं के शहर के रूप में भी जानते हैं।
क्यों कहा जाता है चाकुओं का शहर
अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर रामपुर को ही हम चाकुओं के शहर के रूप में क्यों जानते हैं, तो आपको बता दें कि यहां चाकुओं के शहर से कोई नकारात्मक अर्थ नहीं है, बल्कि रामपुर चाकुओं के उद्योग के लिए जाना जाता है।
यहां चाकुओं के उद्योग के इतिहास की बात करें, तो यह रियासत काल से ही है। रामपुर अपने यहां के नवाबों, रजा लाइब्रेरी और नक्षत्रशाला के साथ-साथ चाकुओं के लिए भी जाना जाता है। यही वजह है कि अक्सर पुरानी बॉलीवुड फिल्मों में रामपुरी नाम से चाकुओं के जिक्र किया जाता था।
रामपुर में मौजूद है दुनिया का सबसे बड़ा चाकू
आपको बता दें कि रामपुर में 6.10 मीटर लंबा चाकू है, जो कि यहां प्रमुख चौराहे पर रखा गया है। इस चाकू को 52 लाख रुपये से अधिक की कीमत से तैयार किया गया था, जो कि रामपुर की विशेषता को दर्शाता है।
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