कितने रुपये में छपता है 200, 500 और 2000 रुपये का नोट, जानें

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) एक रुपये के नोट को छोड़कर सभी मूल्यवर्ग के करेंसी नोट छापता है। रिजर्व बैंक की सालाना रिपोर्ट के मुताबिक, 200 रुपये के नोट को छापने की लागत 2.93 रुपये, 500 रुपये के नोट की छपाई की लागत 2.94 रुपये और 2000 रुपये के नोट की छपाई पर 3.54 रुपये का खर्च आता है।

Apr 1, 2024, 17:18 IST
भारतीय रुपयों की छपाई लागत
भारतीय रुपयों की छपाई लागत

भारत में नए नोटों की छपाई का अधिकार पूरी तरह से भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के पास है। RBI एक रुपये के नोट को छोड़कर सभी मूल्यवर्ग के नोट छापता है। एक रुपये के सभी नोट वित्त मंत्रालय की देखरेख में छापे जाते हैं और इन पर आरबीआई के गवर्नर नहीं, बल्कि वित्त सचिव के हस्ताक्षर होते हैं।

वित्त मंत्रालय एक रुपये के नोटों की छपाई और सभी मूल्यवर्ग के सिक्कों की ढलाई के लिए जिम्मेदार है। गौरतलब है कि देश में नोट और सिक्के दोनों को प्रसारित करने का अधिकार केवल भारतीय रिजर्व बैंक के पास है। इसका मतलब है कि वित्त मंत्रालय एक रुपये के नोट छापता है और सभी सिक्के ढालता है और उन्हें अर्थव्यवस्था में प्रचलन के लिए रिजर्व बैंक को भेजता है।

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RBI अधिकतम कितने नोट छाप सकता है ?

RBI भारत में कितने नोट छापेगा; न्यूनतम आरक्षित प्रणाली के आधार पर तय किया जाता है। यह प्रणाली भारत में 1957 से काम कर रही है। इस सिस्टम के मुताबिक, आरबीआई को 200 करोड़ रुपये की संपत्ति अपने पास रखनी होगी। 200 करोड़ रुपये; जिसमें 115 करोड़ रुपये का स्वर्ण भंडार और 85 करोड़ रुपये मूल्य की विदेशी मुद्रा शामिल है । इतनी धनराशि प्राप्त करने के बाद अब आरबीआई अर्थव्यवस्था की आवश्यकता के अनुसार अनिश्चित काल तक मुद्रा छापने के लिए स्वतंत्र है।

यह बताना जरूरी है कि भारत में नोटबंदी के बाद आरबीआई ने 200 रुपये, 500 रुपये और 500 रुपये के नए नोट छापे थे। नोटबंदी के कारण वर्ष 2016-17 में आरबीआई की कुल मुद्रण लागत में काफी वृद्धि हुई। 

आइये जानते हैं नोटों की छपाई की लागत क्या है:

-200 रुपये के नोट की छपाई

अब हम यह जान लेते हैं कि 200 रुपये के नोट की छपाई लागत कितनी है। आपको बता दें कि 1 नोट की छपाई की लागत 2.93 रुपये है।

-500 रुपये के नोट की छपाई

अब सवाल है कि आखिर 500 रुपये का नया नोट कितने रुपये में छप रहा है। दरअसल, इस एक नोट को छापने के लिए 2.94 रुपये की लागत लगती है।

500 रुपये का नोट छापने के लिए 2.94 रुपये लगते हैं।  इसका मतलब है कि 500 ​​रुपये के नोट की छपाई के बाद सरकार को सिर्फ 497 रुपये का मुनाफा हो रहा है और बाकी रकम छपाई लागत के रूप में खर्च हो जाती है।

-2000 रुपये के नोट की छपाई

अब सवाल है कि सबसे बड़े नोट यानि कि 2000 रुपये के नोट के लिए सरकार को कितना खर्च करना पड़ता है, तो आपको बता दें कि 1 नोट की छपाई के लिए 3.54 रुपये खर्च होते हैं।

मालूम हो कि भारत सरकार ने 2016 में नोटबंदी के बाद 1000 के नोटों पर प्रतिबंध लगा दिया था और 2000 रुपये का नया नोट जारी किया था। 

यहां यह बताना जरूरी है कि नोट छापने का मुख्य खर्च कागज, स्याही, सुरक्षा धागा और नोट छापने में इस्तेमाल होने वाली मशीनों की खरीद पर होता है। यहां यह उल्लेख करना उचित होगा कि इन नोटों को बनाने के लिए आरबीआई को नोट बनाने वाला कागज और स्याही आयात करनी पड़ती है।

हमें उम्मीद है कि इस लेख से भारत में नए करेंसी नोटों की छपाई के बारे में आपका ज्ञान बढ़ा होगा।

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Kishan Kumar
Kishan Kumar

Senior content writer

A seasoned journalist with over 7 years of extensive experience across both print and digital media, skilled in crafting engaging and informative multimedia content for diverse audiences. His expertise lies in transforming complex ideas into clear, compelling narratives that resonate with readers across various platforms. At Jagran Josh, Kishan works as a Senior Content Writer (Multimedia Producer) in the GK section. He can be reached at Kishan.kumar@jagrannewmedia.com
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