Norovirus: भारत कोरोना वायरस को लेकर अलर्ट मोड पर है पर इसी बीच देश में नोरोवायरस (Norovirus) के दो मामलें देश के दक्षिणी राज्य केरल में पाए गए है.
केरल के स्वास्थ्य विभाग ने आज जानकारी दी कि नोरोवायरस के दो मामले एर्नाकुलम जिले में पाए गए है. जिसको लेकर केरल स्वास्थ्य विभाग अलर्ट पर है और इसके बचाव के उपायों आदि पर ध्यान केन्द्रित कर रहा है.
ये दोनों मामले कक्षा 1 के छात्रों में पाए गए है. चलिये जानते है क्या है नोरोवायरस और इससे कैसे बचाव कर सकते है.
क्या है नोरोवायरस?
नोरोवायरस एक अत्यधिक संक्रामक वायरस है जिसमें पीड़ित व्यक्ति को उल्टी और दस्त की शिकायत होती है. नोरोवायरस से कोई भी संक्रमित और बीमार हो सकता है. नोरोवायरस को विंटर वोमिटिंग बग (winter Vomiting Bug) के नाम से भी जाना जाता है.
WHO की रिपोर्ट के अनुसार प्रतिवर्ष नोरोवायरस के लगभग 68.5 करोड़ मामले प्रकाश में आते है. नोरोवायरस, एक सामान्य वायरस है जो फ्लू से संबंधित नहीं है.
नोरोवायरस के फैलने के कारण:
दूषित भोजन या पानी का सेवन करने से आप इससे संक्रमित हो सकते है. साथ ही किसी संक्रमित व्यक्ति के सीधे संपर्क में आने से भी आप इससे संक्रमित हो सकते है.
क्या है इसके लक्षण और बचाव?
नोरोवायरस के सामान्य लक्षणों में दस्त, उल्टी करना, जी मिचलाना, पेट दर्द आदि आते है. कभी कभी इससे संक्रमित व्यक्ति को बुखार, सरदर्द और शरीर में दर्द भी हो सकता है. नोरोवायरस पेट या आंतों की सूजन का कारण बनता है. इसे एक्यूट गैस्ट्रोएंटेराइटिस (Acute Gastroenteritis) कहा जाता है.
नोरोवायरस से बचाव के लिए साफ-सफाई पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता होती है. पिछले साल भी केरल में इस वायरस के मामलों की पुष्टि हुई थी. नोरोवायरस बीमारी वाले लोगों के इलाज के लिए कोई विशिष्ट दवा नहीं है. इसलिए इससे बचाव बेहद जरुरी है.
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