अगर आपको किसी को अपना masege देना है तो और वो भी अपनी हैंडराइटिंग में तो आपकी लिखावट ही आपका पहला इम्प्रैशन बन जाता है | ज़यादातर लोग स्कूल के बाद लिखना बंद करदेते है जिसकी कारण हैंडराइटिंग पर काफी प्रभाव पड़ता है और जब अचानक लिखना पड़ता है तो बड़ी मुश्किल होजाती है
ये बात बिलकुल सही है की आज के डिजिटल ज़माने में आपकी लिखावट (Hand Writing ) का बहुत ज़यादा प्रभाव आपके फ्यूचर पर नही पड़ता है मगर ये बात उनलोगों के लिए सही है जो लोग अपनी पढाई पूरी कर नौकरी कर रहे है | वो छात्र जो अभी पढाई कर रहे है उनकी लिखावट अच्छी न होने पर उनके रिजल्ट पर काफी बुरा असर पड़ता है |
इस लेख में हम छात्रों को कुछ बहुत ही उपयोगी टिप्स देंगे जिससे वो अपने लिखावट को और बेहतर बना सकते हैं |
महात्मा गांधी का बड़ा मशहूर कथन है 'बैड हैंडराइटिंग इज़ द सिम्बल ऑफ इमपरफेक्ट एजुकेशन’| इसी तरह अब्राहम लिंकन ने भी ऑटोबायोग्राफी में अपनी खराब लिखाई के लिए अफसोस जताया है ।
(1) लिखना अपना शौक बनालें :
बहुत साडी चीज़ें ऐसी होती है जो हम किसी के दबाव डालने से करते है और ऐसा करने से उस चीज़ का रिजल्ट अच्छा नही आता मगर इसके उलटे वही चीज़ जब हम अपने शौक से करते है तो वो बड़ी कमिय बी होती है | इसलिए अगर हम लिखना अपना शौक बनालें तो काफी हद तक हमारी हैंडराइटिंग अच्छी होसकती है और हम को उसका पूरा लाभ भी मिल्सकता है | कंप्यूटर और एसएमएस के बढ़ते चलन के कारण हैंडराइटिंग की अहमियत कम हो गई है | आजकल के बच्चों को हाथ से लिखने की बजाय कंप्यूटर पर टाइप करना ज़्यादा आसान और मॉडर्न लगता है | यही वजह है कि हैंडराइटिंग सुधारने की तरफ़ न तो बच्चे ध्यान देते हैं और न ही टीचर्स इस दिशा में प्रयास करने की ज़हमत उठाते हैं, जबकि वास्तविकता यह है कि भविष्य में सफल होने के लिए हैंडराइटिंग अच्छी होनी बहुत ज़रूरी है | यह सबसे ज़रूरी है, कि आप लिखने का अभ्यास शुरू करें | अच्छी लिखावट के लिए लेखन का अभ्यास करना ज़रूरी है, इसके लिए आप अख़बार या किसी पत्रिका में से देख कर लिखने की आदत डाले, छात्र अपने पुस्तक के पाठ्यक्रम को देख कर भी लिखने का प्रयास के सकते हैं | सबसे ज़रूरी बात जो ध्यान रखने की है वो ये है की आप लिखते समय अपनी शब्दों पे ध्यान दें और जो शब्द सुन्दर नही बन रहे है उनको ठीक तरीके से बनाने की प्रैक्टिस ज़रूर करें | आप जितना अधिक लिखेंगे उतनी ही आपकी राइटिंग में सुधर आएगा |
(2) अक्षरों के आकार पर धयान दें :
अच्छी हैंडराइटिंग का पहला तरीका ये भी है की आप शब्दों की बनावट पे गौर करें और पूरी कोशिश करें की शब्दों का आकर ठीक हो | अगर आप ऐसा नही कर रहे है तो आपकी राइटिंग में सुधर नही आएगा और आदत अनुसार आप फिर गलत तरीके से लिखना स्टार्ट कर्देनेगे | इसलिए आप जब भी लिखें अपने शब्दों को ध्यान में रखें की आपके शब्द बहुत ज्यादा बड़े ना हो क्युकि बहुत बड़े शब्दों के कारण आपकी लिखावट ख़राब दिख सकती है और अगर आपकी लिखावट बहुत छोटी है तो पढ़ने वाले को समझने में परेशानी हो सकती है | हमेशा धयान रखें कोई शब्द छोटा हो या बड़ा सेम लाइन से बाहर न हो | हमेशा आपके शब्द सामान्य हों यानि न ज्यादा बड़े न ज्यादा छोटे जिन्हें पढ़ने में आसानी हो |
(4) लिखावट में ज़्यादा दबाव न दें : जब आप लिखना शुरू करते हैं तो एक बात का हमेशा ध्यान दें कि कभी भी ज्यादा दबाव देकर न लिखें इससे आपकी लिखावट बेकार हो सकती है | लिखते समय ये हमेशा धयान दें की पेन या पेंसिल के निब पर ज्यादा दबाव न हो, क्यूंकि दबाव बढ़ने पर लिखावट पे काफी असर पड़ता है | इसके अतिरिक्त ऐसा करने से आपकी कॉपी भी ख़राब होसकती है|
(5) लिखावट में ज़ल्दबाज़ी न करें : जब आप लिखावट सुधारने कि शुरुवात करें तो सबसे पहले धीरे – धीरे से लिखना शुरू करें और अपने अक्षरों को सही प्रकार से लिखने पर ध्यान दें | हमेशा तेज़ी से लिखने के वजह से लिखावट ख़राब हो जाती है तो अच्छी लिखावट के लिए जो भी आप लिख रहे हैं आराम से लिखें क्युकि जल्दबाजी के वजह से अक्षर ठीक से नही लिखे जाते जिससे लिखवात पर काफी प्रभाव पड़ता है | लिखावट ख़राब होने के साथ साथ बहुत सारी गलतियाँ भी होने की पूरी संभावना होती है | अगर एक बार सही लिखने की आदत हो जाएगी तो फिर आप तेज़ लिखने पर भी सही लिखेंगे |
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(6) लिखते समय सफाई का धयान दें : बिना कट-पिट किए लिखने की कोशिश करें और ओवर राइट न करें | अगर कुछ ग़लत हो गया है तो उसे स़िर्फ एक सिंगल लाइन से क्रॉस करें और नया पैराग्राफ़ शुरू करने से पहले दो उंगली का गैप छोड़ें | ऐसा करने से आपने जो भी लिखा है वो काफी अच्छे तरीके से कोई भी पढ़ कर समझ सकता है | सफाई से लिखा गया लेख हमारे मतिस्क को अच्छा लगता है जिससे आपको समझने या यद् करने में मदद मिलती है जिसके ज़रिये छात्र अच्छे मार्क्स प्राप्त कर सकते हैं |
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(7) लेखन सामग्री का भी ध्यान रखें : लिखने के लिए जो भी पेन या पेंसिल आप इस्तेमाल कर रहें हो वो आपके लिए आरामदायक और सही होना चाहियें ताकि आपको लिखते समय परेशानी न हो | पारंपरिक और मशीनी पेंसिल के अलावा दुसरे किस्म के उपकरणों जैसे की बॉलपॉइंट, रोल-ओन वा फेल्ट पेन का इस्तेमाल भी कर सकते हैं | जिस पेन से लिखने में आप शब्दों को सही तरीके से बना पते हों, ऐसा ही पेन ढूंढना वा इस्तेमाल करना आपकी लिखावट सुधारने के लिए बहुत उपयोगी होगा |
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