आइए दोस्तों आज हम जानते हैं कि मंत्रालयों में कैसे मिलेगी स्टेनोग्राफर की नौकरी. तो इस क्रम में सबसे पहले हम ये जानने का प्रयास करेंगे कि स्टेनोग्राफर जॉब्स एवं उनके दायित्वों के बारे में-
स्टेनोग्राफर:
स्टेनोग्राफर के दायित्वों में रायटिंग /टाइपिंग /ट्रान्सक्रायबिंग और ऑफ़िस डोक्युमेंट्स का रख रखाव तो शामिल है हीं इसके अतिरिक्त मंत्रालयों के स्टेनोग्राफर के दायित्वों में कई और भी रिलेटेड वर्क्स शामिल होते हैं. स्टेनोग्राफर को अपने कार्य में अत्यंत कुशल होना चाहिए क्योकि एक स्टेनोग्राफर का कार्य या जॉब काफी जिम्मेदारी भरा होता है.
मंत्रालय में स्टेनोग्राफर जॉब्स:
मॉडर्न ऑर्गेनाइजेशन स्ट्रक्चर के मंत्रालयों के गवर्नमेन्ट सेक्टरों में स्टेनोग्राफर का पद जितना महत्वपूर्ण है उतना हीं जिम्मेदारी भरा भी है. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए किसी भी उम्मीदवार को स्टेनोग्राफी का गहरा नॉलेज होना आवश्यक है, जिसमे शोर्टहैण्ड (विभिन्न प्रकार के सिम्बल्स से तेज़ गति से लिखने का तरीका) अंग्रेजी और हिंदी या अन्य भाषाओँ (सम्बन्धित विभाग की ज़रूरतों के अनुसार) में टाइपिंग शामिल है. एक सफल स्टेनोग्राफर बनने के लिए कैंडिडेट का लैंग्वेज के ग्रामर पर अच्छी पकड़ होना बहुत जरुरी है. सरकारी विभागों के अतिरिक्त प्राइवेट सेक्टरों में भी स्टेनोग्राफरों की अच्छी डिमाण्ड होती है.
मंत्रालयों में कार्यरत स्टेनोग्राफर को वहाँ के कॉन्फिडेंशियल रिकॉर्ड को भी संभालना होता है इसलिए आवश्यक स्किल और शैक्षणिक योग्यता के अतिरिक्त कैंडिडेट में क्रेडिबिलिटी तथा ईमानदारी के साथ विश्वासपात्रता के गुण होना भी समान रूप से आवश्यक है. विभिन्न मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर के पदों के लिए समय समय पर रिक्तियाँ निकलती रहती हैं. सभी मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर की जॉब के लिए कैंडिडेट का कंप्यूटर प्रोफिसिएंसी, शॉर्टहैंड तथा ट्रांसक्रिप्शन स्किल में दक्ष होना आवश्यक होता है. इसी के साथ विभिन्न मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर के पद के लिए एक्सपीरियंसड कैंडिडेट को प्राथमिकता दी जाती है. स्टेनोग्राफर का पद काफी चुनौतीपूर्ण होने के साथ हीं इसमें बहुत अच्छा पॅकेज भी मिलता है. एसएससी द्वारा स्टेनोग्राफर के चयन के लिए प्रति वर्ष 2 स्टेज कंप्यूटर बेस्ड टेस्ट (सीबीटी ) और स्किल टेस्ट में परीक्षा आयोजित की जाती है इसके बाद कैंडिडेट का इन्टरव्यू हो सकता है.
आइए जानते हैं मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर की जॉब से सम्बन्धित कुछ और बातें -
1. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए शैक्षणिक योग्यता
2. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए एक्सपीरियंस
3. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर को मिलने वाला वेतन
4. स्टेनोग्राफर बनने के लिए कुछ कोर्सेस. और सबसे आखिर में जानेंगे
5. स्टेनोग्राफर की जॉब सम्भावनाएं
1. स्टेनोग्राफर के लिए शैक्षणिक योग्यता -
मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए कैंडिडेट का किसी भी मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से बैचलर डिग्री होना चाहिए. इसके अलावा कंप्यूटर प्रोफिसिएंसी, शॉर्टहैंड तथा ट्रांसक्रिप्शन स्किल भी अनिवार्य है. वैसे स्टेनोग्राफर बनने के लिए 10+2 पास और स्टेनोग्राफी में डिप्लोमा /सर्टिफिकेट होना आवश्यक होता है. उम्मीदवारों को स्टेनोग्राफी स्किल टेस्ट न्यूनतम 25 शब्द प्रति मिनट की टाइपिंग की गति के साथ शॉर्टहैंड की गति 80 शब्द प्रति मिनट होना जरुरी होता है . अंग्रेजी भाषा का स्टेनोग्राफर बनने के लिए 30 शब्द प्रति मिनट की टाइपिंग स्पीड होनी चाहिए. वैसे स्टेनोग्राफर के लिए आवश्यक शैक्षणिक योग्यता कुछ विभागों में अलग अलग भी हो सकती है .
2. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए एक्सपीरियंस -
विभिन्न मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर बनने के लिए 6 से 10 वर्ष के एक्सपीरियंस वाले कैंडिडेट प्राथमिकता दी जाती है . इसके अलावा मिनिस्ट्री ऑफ़ होम अफ़ेयर जैसे मंत्रालयों में जहाँ कैंडिडेट एक ब्राइट फ्यूचर पा सकता है ग्रेड ए स्टेनोग्राफर के पद के लिए कैंडिडेट का सेन्ट्रल गवर्नमेन्ट या स्टेट गवर्नमेन्ट में ऑफिसर होना आवश्यक है .
3. मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर को मिलने वाला वेतन -
विभिन्न मंत्रालयों में स्टेनोग्राफर को पे बैंड 2 अर्थात 9300 - 37800 और 4200 ग्रेड पे के अनुसार वेतन मिलता है . इसके अनुसार प्रारम्भिक वेतन लगभग 30,000 प्रति मिलता है. ग्रेड पे अलग अलग संस्थानों में अलग अलग भी हो सकता है.
4. स्टेनोग्राफर बनने के लिए कोर्सेस -
स्टेनोग्राफर बनने के लिए कई कोर्सेस चलाए जाते हैं .जिन्हें करने के बाद उम्मीदवार दूसरे उम्मीदवारों से बेहतर संभावनाएँ तलाश सकते हैं. इन कोर्सेस में शामिल है -
* विभिन्न पोलिटेक्निक कॉलेजों द्वारा चलाए जा रहे मॉडर्न ऑफ़िस मैनेजमेंट.
* आईटीआई (सीएस /आईटी )से सम्बन्धित कोर्सेस या भारतीय टेक्नीकल इंस्टीट्यूट कोर्सेस
* कई एक वर्षीय कोर्सेस जिनमें टाइपिंग /स्टेनोग्राफी आदि शामिल होते हैं.
* कई संस्थान स्टेनोग्राफी से सम्बन्धित कोर्सेस के लिए टेस्ट का आयोजन भी करते हैं . जैसे - हिंदी कंप्यूटर ट्रेनिंग सेंटर हिंदी भवन, गांधी भवन आदि.
स्टेनोग्राफर बनने के लिए आयु सीमा -
मंत्रालयों में 25 वर्ष . वैसे आमतौर पर स्टेनोग्राफर बनने के लिए आयु सीमा 18 वर्ष और अधिकतम 25 वर्ष है हालाँकि सरकार के नियमों के अनुसार उपरी आयु सीमा में छूट भी दी जाती है.
स्टेनोग्राफर बनने के लिए चयन प्रक्रिया -
स्टेनोग्राफर की चयन प्रक्रिया में कंप्यूटर / लिखित परीक्षा और स्किल टेस्ट शामिल होते हैं.
कंप्यूटर आधारित लिखित परीक्षा -
इसमें जनरल नॉलेज, जनरल इंग्लिश, हिंदी, जनरल मैथमेटिक्स, एवं रीजनिंग के मल्टीपल चोइस प्रश्न शामिल होते हैं .उम्मीदवार इन प्रश्नों की तैयारी के लिए ऑनलाइन उपलब्ध विभिन्न प्रकार के प्रैक्टिस टेस्ट से अपनी तैयारी कर सकते हैं. एसएससी रिटेन टेस्ट में पास करने के बाद कैंडिडेट को स्किल टेस्ट के लिए बुलाया जाता है.
स्किल टेस्ट -
स्किल टेस्ट के अतर्गत उम्मीदवारों को डिटेक्शन लेने, ट्रान्सकृप्शन और टाइपिंग स्किल की क्षमता टेस्ट की जाती है. उम्मीदवारों को इंग्लिश/ हिंदी में 100 शब्द प्रति मिनट स्टेनोग्राफर ग्रेड सी और स्टेनोग्राफर 100 शब्द प्रति मिनट स्टेनोग्राफर ग्रेड डी पदों के लिए प्रदर्शन करना पड़ता है. डिक्टेशन के मैटर को कंप्यूटर पर ट्रान्सक्राइब करना होता है ट्रान्सकृप्शन के लिए निर्धारित समय निम्नलिखित है -
स्टेनोग्राफर ग्रेड सी के लिए - अंग्रेजी में 50 मिनट हिंदी में 65 मिनट
स्टेनोग्राफर ग्रेड डी के लिए - अंग्रेजी में 40 मिनट हिंदी में 55 मिनट
स्टेनोग्राफर की जॉब सम्भावनाएं:
विभिन्न विभागों के लिए प्रमुख केन्द्रीय भर्ती सरकारी संगठनों जैसे - एस एस सी , यू पी एस सी के अतिरिक्त कई विभाग सीधे तौर पर स्टेनोग्राफर के पदों पर की भर्ती के लिए समय समय पर आवेदन आमन्त्रित करते रहते हैं केन्द्रीय एवं राज्य सचिवालयों विदेश सेवा कार्यालयों रेलवे सैन्य सेनाओं के मुख्यालयों रिसर्च डिज़ाइन एवं मानक संगठन निर्वाचन कार्यालयों निगम कार्यालयों बैंको आदि में भी स्टेनोग्राफर के पदों के लिए रिक्तियाँ निकलती रहती है योग्य और इच्छुक अभ्यर्थी इन पदों के लिए निर्थारित प्ररुपानुसार आवेदन कर सकते हैं. इसके अतिरिक्त कई प्राईवेट कम्पनियाँ भी स्टेनोग्राफर की जॉब्स के लिए आवेदन आमन्त्रित करते रहते हैं.
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