देशभर के विभिन्न मेडिकल कॉलेजों में स्नातक कक्षाओं में प्रवेश के लिए 17 जुलाई 2022 को नीट (यूजी) की परीक्षा आयोजित हुई थी, जिसके परिणाम राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी द्वारा बुधवार, 7 सितंबर 2022 जारी कर दिए हैं। राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी द्वारा जारी आकड़ों के अनुसार, इस वर्ष नीट की परीक्षा में देशभर से 17.64 लाख अभ्यर्थी शामिल हुए थे, जिनमें से 9.93 लाख अभ्यर्थियों को सफल घोषित किया गया। इस परीक्षा में हरियाणा की तनिष्का ने 715 नंबर लाकर टॉप किया हैI
क्या आप जानते हैं 715 नंबर न केवल तनिष्का के आयें हैं बल्कि टॉप 4 रैंक पाने वाले सभी सफल अभ्यर्थियों को इतने ही यानी 715 मार्क्स मिले हैं,फिर भी परीक्षा में तनिष्का ने टॉप किया हैI जी हाँ, दिल्ली के वत्स आशीष बत्रा, कर्नाटक के ऋषिकेश नागभूषण, और कर्नाटक की ही रूचा पावाशे ने भी 715 मार्क्स प्राप्त किये हैं लेकिन इनकी क्रमशः 2, 3 और 4 रैंक आई है। इसका कारण राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी द्वारा अपनाई गई रैंक कैलकुलेटिंग या टाई-ब्रेकिंग नीति हैI
क्या है रैंक कैलकुलेटिंग या टाई-ब्रेकिंग नीति ?
इस नीति के बारे में राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (NTA) ने 2020 में स्पष्ट किया था जब ओड़िसा शोएब आफताब और यूपी की आकांक्षा ने NEET में समान अंक प्राप्त किये थे NEET 2020 में आकांक्षा शोएब दोनों के ही 720 में से 720 अंक आये थे लेकिन शोएब को फर्स्ट रैंक-1 दिया गया क्योंकि वह आकांक्षा से बड़ा था। 2021 में, रैंक तय करने के लिए आयु को मानदंड के रूप में हटा दिया गया था। इस साल आयु को फिर से मानदंड में शामिल किया गया है और इस साल आवेदन संख्या ने भी रैंक तय करने में अहम भूमिका निभाई है।
यदि एक से ज्यादा अभ्यर्थियों के समान मार्क्स आते हैं तो कैसे घोषित होती है फर्स्ट रैंक ?
यदि 2 उम्मीदवारों में जिसके बायोलॉजी में उच्च अंक / प्रतिशत हों उसे, और यदि इसके बाद भी समान रैंक हो तो जिसके कैमेस्ट्री में ज्यादा नंबर या परसेंटेज हो और यदि इसके बाद भी समान रैंक रहती है तो फिजिक्स में जिसके ज्यादा नंबर हों, और दूसरी स्टेज पर सभी विषयों में एटेम्पट किए गए गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार को, बायोलॉजी में गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार को, या कैमिस्ट्री में गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार, फिजिक्स के गलत उत्तर और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार को फर्स्ट रैंक दी जाती है I
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