सीबीएसई एग्जाम एक मार्च से शुरू हैं। अब तक बोर्ड परीक्षा के लिए जितनी भी तैयारी करनी थी, आप कर चुके होंगे। समय काफी कम है। इस कारण अब ऐसा कुछ भी न पढें, जो टाइम टेकिंग हो। बचे हुए समय को सिर्फ रिवीजन के लिए दें।
डर दिमाग पर न हो हावी
कूल माइंड होकर एग्जाम देने के लिए तैयार रहें। परीक्षा का डर दिमाग पर हावी न होने दें। जो आपने साल भर पढा है, उसी से प्रश्न आएंगे। इसलिए बेहतर है कि पहले खुद को कूल रखें और ध्यान से मुख्य प्वाइंट्स पर फोकस करें तो समय का उपयोग कर सकते हैं।
रूटीन करें फोलो
इस परीक्षा में टॉप कर चुके स्टूडेंट का कहना है कि परीक्षा के कुछ दिन पहले एक रूटीन बनाएं और परीक्षा समाप्त होने तक उसे ही फॉलो करें तो अच्छे मार्क्स आसानी से प्राप्त किए जा सकते हैं। अक्सर स्टूडेंट्स रूटीन वर्क नहीं बनाते हैं, जिस कारण वह समय का सही सदुपयोग नहीं कर पाते हैं, जबकि परीक्षा के तीन चार दिन का समय स्टूडेंट्स के लिए सबसे महत्वपूर्ण होता है। यही वह समय होता है, जब स्टूडेंट्स सब्जेक्ट को फिनिशिंग टच देता है। रूटीन परीक्षा की टाइम टेबल को ध्यान में रखकर बनाएंगे तो आपके लिए सहज और महत्वपूर्ण हो जाएगा। उदाहरण स्वरूप आप कॉमर्स के स्टूडेंटस हैं और आपके दो विषयों में दो या चार दिनों का गैप है तो आपके लिए बेहतर होगा कि बाद वाले विषयों में समय जाया न करके पहले होने वाले विषयों की परीक्षा पर ध्यान केंद्रित करें।
सेलेक्टिव पढें
यह समय सेलेक्टिव पढने का है। कभी भी संपूर्ण पढने की कोशिश न करें। आपने सब्जेक्ट्स से संबंधित महत्वपूर्ण नोट्स बना लिए होंगे या अंडरलाइन अवश्य किए होंगे। आप सिर्फ उन्हें ही पढें। परीक्षा के एक दिन पहले पढाई बंद कर दें और खुली वातावरण में सहज रहने की कोशिश करें। इससे आप एग्जामिनेशन हॉल में बेहतर प्रदर्शन करने में सफल हो पाएंगे। परीक्षा से पहले तनाव कहीं से भी बेहतर नहीं है। आप यह सोचें कि मैंने जो पढा है, उससे संबंधित प्रश्नों का सर्वश्रेष्ठ उत्तर देने में सक्षम हूं।
एग्जामिनेशन हॉल में दें ध्यान |
-सभी एंट्रीज करने के बाद टाइम मैनेजमेंट का ध्यान रखते हुए पेपर पढने के दौरान ही स्ट्रेटेजी करें तैयार। - प्रश्न ध्यान से पढने के बाद ही लिखना शुरू करें। - अच्छे शब्द और अच्छी भाषा होने के साथ हैंड राइटिंग का विशेष ध्यान रखें। - टाइम मैनेजमेंट का ध्यान रखते हुए पेपर 10 मिनट पहले सॉल्व कर लें फिर चैक कर लें कि पूरे क्वैश्चन किए हैं कि नहीं। |
डॉ. योगेश
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