दुनिया में कई लोग ऐसे होते हैं जो किसी भी रहस्य को जानना और सुलझाना चाहते हैं. उन्हें पज़ल्स सॉल्व करना अच्छा लगता है और वे सांकेतिक भाषा को समझने का भी पूरा प्रयास करते हैं जिसमें उन्हें बहुत बार सफलता भी मिल जाती है. ये लोग थ्रिलर स्टोरीज़ पढ़ने में भी गहरी रूचि रखते हैं . इसी तरह, ये लोग अपने स्वभाववश अपने आस-पास, देश और दुनिया में होने वाले अपराधों के बारे में भी काफी जानकारी जुटाते हैं और यहां तक कि कई बार ये लोग अपनी जिज्ञासा को शांत करने के उद्देश्य से किसी अनसुलझे क्राइम की तह तक जाने के लिए अपनी तरफ़ से ही रिसर्च करनी भी शुरू कर देते हैं. यकीनन हमारे देश में भी जरुर कुछ लोग या स्टूडेंट्स इसी प्रवृत्ति के होंगे. कुछ ऐसे ही लोगों और स्टूडेंट्स के लिए हम इस आर्टिकल में क्रिमिनोलॉजी के बारे में डिटेल्ड जानकारी पेश कर रहे हैं ताकि इस फील्ड में करियर शुरू करने के लिए ऐसे लोगों को अच्छी और सटीक जानकारी मिल सके.
क्रिमिनोलॉजी का परिचय
क्रिमिनोलॉजी का संबंध सोशल और इंडिविजुअल लेवल पर क्रिमिनल बिहेवियर की प्रकृति, कारणों, मैनेजमेंट, कंट्रोल, नतीजे और रोकथाम के अध्ययन से है. यह एक इंटर-डिसिप्लिनरी फील्ड है जो बिहेवियरल और सोशल साइंसेज से संबंधित है जिसके तहत फिलॉसफर्स, साइकोलॉजिस्ट्स, सोशियोलॉजिस्ट्स, बायोलॉजिस्ट्स और साइकेट्रिस्ट्स के ज्ञान और जानकारी से भी काफी फायदा मिलता है. किसी क्रिमिनोलॉजिस्ट की महत्वपूर्ण जिम्मेदारियों में किसी क्राइम या अपराध के पीछे के कारण का पता करने के लिए डाटा और उपलब्ध सबूतों को कलेक्ट, एनालाइज और डिकोड करना शामिल है. इससे हमें एक पैटर्न बेस्ड प्रिडिक्टटिव मॉडल मिल जाता है जिसके माध्यम से भविष्य में इसी तरह के अपराधों की भविष्यवाणी और रोकथाम की जा सकती है.
भारत में क्रिमिनोलॉजी से संबंधित कोर्सेज और एलिजिबिलिटी
भारत में क्रिमिनोलॉजी एक विशेष स्टडी फील्ड है. इसके अलावा, खासकर शहरी क्षेत्रों में, लगातार बढ़ते हुए अपराधों के कारण क्वालिफाइड क्रिमिनोलॉजिस्ट्स की मांग भी लगातार बढ़ रही है. इस लगातार बढ़ती हुई मांग को पूरा करने के लिए, कुछ इंस्टीट्यूट्स ने क्रिमिनोलॉजी में एकेडेमिक प्रोग्राम्स ऑफर करने शुरू कर दिए हैं. इन एकेडेमिक कोर्सेज के तहत, कोई भी व्यक्ति इस फील्ड में डिप्लोमा, सर्टिफिकेट, बैचलर डिग्री और मास्टर डिग्री प्रोग्राम्स कर सकता है. कुछ स्पेशलाइज्ड इंस्टीट्यूट्स डॉक्टोरल लेवल पर भी क्रिमिनोलॉजी कोर्सेज ऑफर कर रहे हैं. यहां पेश है क्रिमिनोलॉजी में विभिन्न कोर्सेज की एक लिस्ट. आप अपनी पसंद के मुताबिक इनमें से कोई भी कोर्स कर सकते हैं:
भारत में एपिडेमियोलॉजिस्ट का करियर और योग्यता
क्रिमिनोलॉजी - सर्टिफिकेट कोर्स
क्रिमिनोलॉजी में सर्टिफिकेट कोर्सेज 6 महीने की अवधि के होते हैं और साइंस विषय सहित 12 वीं पास स्टूडेंट्स ये कोर्सेज करने के लिए एलिजिबल हैं. क्रिमिनोलॉजी में सबसे लोकप्रिय सर्टिफिकेट कोर्स निम्नलिखित है:
- सर्टिफिकेट - (फोरेंसिक साइंस)
क्रिमिनोलॉजी - डिप्लोमा कोर्सेज
क्रिमिनोलॉजी में डिप्लोमा कोर्सेज की अवधि 1 वर्ष होती है और साइंस विषय सहित 12 वीं पास स्टूडेंट्स ये कोर्सेज करने के लिए एलिजिबल हैं. क्रिमिनोलॉजी में सबसे लोकप्रिय डिप्लोमा कोर्सेज निम्नलिखित हैं:
- डिप्लोमा - (साइबर क्राइम)
- डिप्लोमा - (फोरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनोलॉजी)
- डिप्लोमा - क्रिमिनल लॉ
- डिप्लोमा - क्रिमिनोलॉजी एंड पेनोलॉजी
मास्टर डिग्री लेकर स्टूडेंट्स पायें अपने करियर में तरक्की
क्रिमिनोलॉजी - बैचलर कोर्स
क्रिमिनोलॉजी में बैचलर डिग्री कोर्स की अवधि 3 वर्ष होती है और साइंस/ आर्ट्स विषय सहित 12 वीं पास स्टूडेंट्स ये कोर्सेज करने के लिए एलिजिबल हैं. क्रिमिनोलॉजी में सबसे लोकप्रिय बैचलर कोर्स निम्नलिखित है:
- बीए (फोरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनोलॉजी)
क्रिमिनोलॉजी - मास्टर कोर्सेज
क्रिमिनोलॉजी में मास्टर डिग्री कोर्स की अवधि 2 वर्ष होती है और साइंस/ आर्ट्स विषय सहित ग्रेजुएशन डिग्री होल्डर स्टूडेंट्स ये कोर्सेज करने के लिए एलिजिबल हैं. क्रिमिनोलॉजी में सबसे लोकप्रिय मास्टर कोर्सेज निम्नलिखित है:
- एमए - एंटी टेरोरिज्म लॉ
- एमए - क्रिमिनोलॉजी एंड क्रिमिनल जस्टिस
- क्राइम्स एंड पोर्ट्स - मास्टर ऑफ लेजिस्लेटिव लॉ (एलएलएम)
- क्रिमिनल लॉ - मास्टर ऑफ लेजिस्लेटिव लॉ (एलएलएम)
- क्रिमिनल लॉ एंड क्रिमिनोलॉजी - मास्टर ऑफ लेजिस्लेटिव लॉ (एलएलएम)
- क्रिमिनोलॉजी - एमएससी
- फॉरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनोलॉजी रिसर्च - एमए
- फॉरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनोलॉजी - एमए
- फॉरेंसिक साइंस एंड क्रिमिनोलॉजी - पोस्टग्रेजुएट डिप्लोमा
भारत के इन टॉप एजुकेशनल इंस्टीट्यूशन्स से आप कर सकते हैं क्रिमिनोलॉजी के विभिन्न कोर्सेज
एक अति महत्वपूर्ण फील्ड होने के बावजूद, क्रिमिनोलॉजी में डिग्री करने पर आप अपने करियर की नई उंचाईयों को छू सकते हैं. भारत में कुछ कॉलेज क्रिमिनोलॉजी में कोर्सेज ऑफर करते हैं. लेकिन आप इस फील्ड के किसी कोर्स में एडमिशन लेने से पहले संबद्ध कॉलेज द्वारा ऑफर किये जा रहे कोर्स के सब्जेक्ट्स और करिकुलम अवश्य अच्छी तरह देख लें.
भारत के टॉप क्रिमिनोलॉजी कॉलेजों की लिस्ट निम्नलिखित है:
- बीआईटीएस, पिलानी, कर्नाटक, भारत
- बनारस हिंदू विश्वविद्यालय, उत्तर प्रदेश
- बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, उत्तर प्रदेश
- क्रिमिनोलॉजी एंड फोरेंसिक साइंस में डिपार्टमेंट ऑफ़ स्टडीज, कर्नाटक विश्वविद्यालय, धारवाड़, कर्नाटक
- डॉ बीआर अम्बेडकर विश्वविद्यालय, उत्तर प्रदेश, भारत
- डॉ हरिसिंह गौड़ विश्वविद्यालय, मध्य प्रदेश, भारत
- फोरेंसिक साइंसेज डिपार्टमेंट, मद्रास विश्वविद्यालय, तमिलनाडु, भारत
- इंस्टीट्यूट ऑफ़ फॉरेंसिक साइंस, महाराष्ट्र, भारत
- लोकनायक जयप्रकाश नारायण नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ़ क्रिमिनोलॉजी एंड फोरेंसिक साइंस, दिल्ली, भारत
क्रिमिनोलॉजी: भारत में करियर स्कोप
क्रिमिनोलॉजी की फील्ड में उन क्रिमिनोलॉजिस्ट के लिए करियर के काफी आकर्षक अवसर मौजूद होते हैं जो विभिन्न एरियाज जैसेकि, पुलिस, फॉरेंसिक डिपार्टमेंट, हॉस्पिटल्स, सीबीआई, कोर्ट, क्राइम लैबोरेट्रीज, मल्टीनेशनल कंपनियों के लीगल डिपार्टमेंट्स और प्रिजन रिफार्म इंस्टीट्यूशंस में काम कर सकते हैं. क्रिमिनोलॉजी में अपनी बैचलर डिग्री प्राप्त करने के बाद, आप किसी फॉरेंसिक सर्जन, लॉ रिफार्म रिसर्चर, क्राइम सीन एनालिस्ट, ड्रग पॉलिसी एडवाइजर आदि के तौर पर काम कर सकते हैं. अपनी पीएचडी की डिग्री प्राप्त करने के बाद, आप क्रिमिनोलॉजी में कोर्सेज ऑफर करने वाले किसी कॉलेज में एक प्रोफेसर के तौर पर भी काम कर सकते हैं.
क्लाउड आर्किटेक्ट: भारत में एलिजिबिलिटी और करियर स्कोप
एक क्रिमिनोलॉजिस्ट के लिए जरुरी स्किल सेट
क्रिमिनोलॉजिस्ट्स को रिसर्च कार्य में अवश्य कुशल होना चाहिए और उन्हें मानव व्यवहार तथा स्टेटिस्टिक्स की अच्छी समझ भी होनी चाहिए. इसके अलावा, क्रिमिनोलॉजिस्ट्स को हरेक परिस्थिति में अटेंटिव रहना चाहिए और उनमें फिजियोलॉजिस्ट्स की सभी क्वालिटीज भी होनी चाहिए.
क्रिमिनोलॉजी की फील्ड में आवश्यक कुछ जरुरी स्किल्स निम्नलिखित हैं:
- एक स्ट्रक्चर्ड और प्रभावी तरीके से जटिल अपराधों को हल करने की क्षमता.
- क्राइम सीन से सबूत और डाटा कलेक्शन की अच्छी जानकारी.
- क्रिमिनल की बिहेवियरल नॉलेज को अच्छी तरह समझने की काबिलियत.
- रिसर्च और इन्वेस्टीगेटिव टेक्निक्स की अच्छी समझ हो.
- कलेक्टेड सबूत और डाटा को एनालाइज करने की क्षमता और जानकारी.
क्रिमिनोलॉजी: भारत में मिलने वाला सैलरी पैकेज
क्रिमिनोलॉजिस्ट्स किसी प्राइवेट या सरकारी सेक्टर में काम कर सकते हैं. प्राइवेट सेक्टर में सैलरी पैकेजेज अगल-अलग हो सकते हैं जबकि सरकारी सेक्टर में सैलरी पैकेजेज निर्धारित होते हैं. इस फील्ड में सैलरी पैकेज किसी व्यक्ति के स्किल्स और उनको सौंपे गए मामलों पर पूरी तरह निर्भर करता है. क्रिमिनोलॉजी में करियर प्रोस्पेक्टस भारत की तुलना में विदेशों में ज्यादा बेहतर हैं. भविष्य में, आप अपनी डिटेक्टिव एजेंसी भी शुरू कर सकते हैं. किसी क्रिमिनोलॉजिस्ट के तौर आप प्रत्येक वर्ष लगभग रु. 3 लाख से 4 लाख तक कमा सकते हैं. इस फील्ड में अच्छा कार्य अनुभव और एक्सपर्टाइज प्राप्त करने के बाद, आप सरकारी और प्राइवेट सेक्टर्स में काफी आकर्षक सैलरी पैकेजे कमा सकते हैं.
अब, यहां हमने क्रिमिनोलॉजी में करियर्स के बारे में आपके लिए आवश्यक सारी जानकारी पेश की है. इस वीडियो में उपलब्ध जानकारी के मदद से आप यह निर्णय ले सकेंगे कि क्रिमिनोलॉजी की फील्ड में करियर आपके लिए सही है या नहीं!.
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