मध्यकालीन इतिहास में कई प्रकार के भक्ति आन्दोलन हुए हैं. आइये प्रश्न ओत उत्तर के माध्यम से अधयन्न करते हैं.
1. “दशश्लोकी” की रचना किसने की थी, जो तीन वास्तविकताओं (त्रि-तत्व)-ब्रह्म (कृष्ण), आत्मा (चित) और पदार्थ (अचित) से संबंधित था?
A. निम्बार्क
B. रामानुज
C. माधव
D. वल्लभाचार्य
Ans: A
2. ब्रह्म सूत्र पर किसने एक टिप्पणी लिखा था जिसमें “शारी काड़ा” का खंडन किया गया था और आस्तिक विचारों पर आधारित एक व्याख्या प्रस्तुत की गई थी?
A. निम्बार्क
B. रामानुज
C. माधव
D. वल्लभाचार्य
Ans: B
3. निम्नलिखित में से किस भक्ति संप्रदाय की स्थापना बीरभान द्वारा की गयी थी, जिसके धार्मिक ग्रंथ को सिखों के ग्रंथ के रूप में पूजा जाता है?
A. पोथी
B. सतनामी
C. वैष्णव
D. शैव
Ans: B
4. निम्नलिखित भक्ति संतों में से किसकी कविता को “सुर सागर”, “साहित्वा रत्न” और “सुर स्वरावली” में संकलित किया गया था?
A. सूरदास
B. कबीरदास
C. तुलसीदास
D. कालिदास
Ans: A
5. निम्नलिखित भक्ति संतों में से किसने प्राचीन दार्शनिक अद्वैतवाद, वाल्मीकि रामायण की कविता और गरिमा एवं भागवत की भक्ति एवं मानवतावाद के मिश्रित स्वरूप वाले भक्ति पर बल दिया?
A. सूरदास
B. कबीरदास
C. तुलसीदास
D. कालिदास
Ans: C
6. “शिक्षा अष्टक” की रचना किसने की थी जिसे शास्त्रों का सार भी कहा गया था?
A. मीराबाई
B. तुलसीदास
C. कबीर
D. चैतन्य
Ans: D
7. किस भक्ति संत को “श्री गौरंग” के रूप में जाना जाता है, जो बंगाल से थे और लोकप्रिय वैष्णव संत तथा समाज सुधारक थे?
A. चैतन्य
B. मीराबाई
C. शंकराचार्य
D. कबीर
Ans: A
8. किसने दृढ़ता से सांप्रदायिकता और संस्कार का विरोध किया था तथा संस्कृत के स्थान पर हिन्दी को अपनाने पर जोर दिया?
A. चैतन्य
B. रामानुज
C. शंकराचार्य
D. रामानंद
Ans: D
9. निम्नलिखित में से किस भक्ति संत का रामानुज के योग्य अद्वैतवाद में विश्वास नहीं था और उन्होंने द्वैतवाद के सिद्धांत पर बल दिया?
A. माधव
B. रामानंद
C. वल्लभाचार्य
D. चैतन्य
Ans: A
10. “ब्रह्मसूत्र” पर आधारित भाषा टीका “वेदांत-पारिजात सौरभ” को किसने सरल भाषा में लिखा था?
A. निम्बार्क
B. रामानुज
C. माधव
D. वल्लभाचार्य
Ans: A
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