जब बच्चों के समग्र विकास की बात आती है तो माता-पिता के लिए परवरिश सबसे कठिन काम बन जाता है. बच्च्चों को कदम उठाने का सही तरीका सिखाने से लेकर उन्हें बाहर की दुनिया में सुरक्षित रहने के बारे में मार्गदर्शन करने के लिए माता-पिता ही अपने बच्चों के लिए एकमात्र मार्गदर्शक हैं. लेकिन जब बच्चों को बाल- शोषण से रोकने की बात आती है, तो इस मुद्दे के पीछे मौजूद गोपनीयता एक बाधा बन जाती है.
बच्चों की परवरिश से जुड़ी कोई विशेष नियम पुस्तक भी नहीं होती है. इसीलिये बच्चों के साथ मैत्रीपूर्ण और स्पष्ट रिश्ता विकसित करना महत्वपूर्ण है ताकि बच्चों के साथ एक खुली चर्चा को प्रोत्साहित किया जा सके. अगर आप बच्चों से उनकी सेक्सुआलिटी पर खुल कर बातें कर पायेंगे तो उनके प्रति होने वाले इससे जुड़े दुर्व्यवहार (जैसे शारीरिक, यौन या मौखिक शोषण) के जोखिम को कम कर सकते हैं.
हमने इस लेख में बाल शोषण को रोकने के कुछ तरीके यहां दिए हैं:
1. शरीर के अंगों के बारे में चर्चा शुरू करें
बच्चों से उनके शुरुवाती सालों में शरीर के अंगों के बारे में बात करें और उन्हें बताएं कि कुछ शरीर के अंग निजी हैं. उन्हें प्रत्येक शरीर के अंग के बारे में बतायें और उचित नाम का उपयोग करें. प्रासंगिक तथ्यों को साझा करने से मत छिपाओ. बच्चो को निजी अगों के बीच अंतर को समझाएं. बच्चों को बताएं कि किसी को उन हिस्सों को छूने न दें, न ही उनके परिवार के सदस्यों और दोस्तों को. ऐसी कहानियों को साझा करें जिनमे आप उदाहरणों द्वारा बच्चों को उन तरीकों के बारे में आगाह कर सकते हैं जिनसे अजनबियों या पहचान के लोग उन्हें नुकसान पहुंचा सकते हैं. आप यू-ट्यूब पर उपलब्ध कई वीडियो की सहायता भी ले सकते हैं जिसमें अच्छे स्पर्श और बुरे स्पर्श के बीच स्पष्ट अंतर दिखाया गया है.
2. अनुमति के बिना तस्वीरें लेने से मना करना सिखाएं
अपने बच्चों को बताएं कि कोई भी उनकी तस्वीरों, विशेष रूप से उनके शरीर के अंगों की, किसी को नहीं लेने दें. चाहे उनका मित्र हो या अज्ञात व्यक्ति हो, उन्हें नग्न तस्वीरों को सार्वजनिक करने से बचने के बारे में बताएं. उन्हें पीडोफ़ाइल लोगों के बारे में एक उचित विचार दें और यह भी बताएं की वो बच्चों को कैसे नुकसान पहुंचा सकते हैं. अपने बच्चों को बताएं कि किसी को भी अपने निजी अंगों की तस्वीर नहीं लेने दें. जब आप बच्चों के साथ संवेदनशील विषयों पर चर्चा करते हैं, तो वे सुरक्षित महसूस करते हैं और अपनी समस्याओं का समाधान करने के लिए किसी और के पास नहीं जाते.
3. उन्हें हिचकिचाहट के बिना अपने सभी रहस्य साझा करने के लिए प्रेरित करें
बच्चों के अन्दर एक जन्मजात डर होता है है कि उनके शोषण की खबर से उनके माता-पिता आहत हो सकते हैं. वास्तव में कुछ मामलों में बच्चों को यह भी पता ही नहीं होता कि उनका शोषण हुआ है. किसी को उनके साथ अनुपयुक्त सामग्री साझा करने न दें. उनके दैनिक गतिविधियों के बारे में उनसे बात करें और वे किससे मिले और उन्होंने क्या किया ? उनके साथ समय व्यतीत करें उन्हें यह अनुमति दें कि वे किसी भी तथ्य को साझा करने के लिए आपसे संपर्क कर सकते हैं. उन्हें बताओ कि अपराधी कोई भी हो सकता है और इसको बताने में कोई शर्मिंदगी नही हैं. यदि उन्हें कुछ ज्ञात परिचितों द्वारा नुकसान पहुंचाया जा रहा है, तो उन्हें बताइए की वो यह चीज आपसे साझा करें.
4. उन्हें असुविधाजनक परिस्थितियों से जल्दी से दूरी बनाने को कहें
बच्चों को पूर्ण रूप से तैयार करना एक आसान काम नहीं है खासकर जब वे कम उम्र के होते हैं. उन्हें उन हालातों को छोड़ने के लिए प्रोत्साहित करें जिन में उन्हें धमकी मिलती है या कोई भय लगता है. उनको बताएं की कोई उन्हें धमकी देता है तो उससे घबराएं नहीं बल्कि उस बारे में तुम्हे तुरंत सूचित करें. कुछ बच्चों को बड़ों के लिए "नहीं" कहना मुश्किल होता है. इस मामले में उन्हें बताएं कि अगर वे असुविधाजनक महसूस करते हैं तो उन्हें बिना डरे ना कह देना चाहिए.
5. उन्हें सोशल मीडिया पर सुरक्षित रहने के लिए कहें
सोशल मीडिया हर दिशा से हमारी जिंदगी में फैल रही है. इसीलिए इस मुद्दे पर बच्चो को शिक्षित करना जरूरी हो गया है. सोशल मीडिया पर कैसे सुरक्षित रहना है ये बात बच्चों को बतानी बहुत अहम है. अपने बच्चे को उनके शरीर के अंगों की तस्वीरें ऑनलाइन साझा करने के दुष्परिणामों के बारे में बताएं, उन्हें अजनबियों का आमंत्रण न स्वीकारने के लिए बोलें.किसी के साथ निजी जानकारी साझा न करने हेतु आगाह करें, बच्चों के विकास के लिए एंड्रॉइड ऐप भी एक बड़ी बाधा हैं. उन्हें इस तरीके से प्रशिक्षित करें कि वे "ब्लू व्हेल" जैसे खेलों से दूर रहें और उन लोगों को ब्लॉक करें जो उन्हें अनुपयुक्त संदेश भेजते हैं.
याद रखें कि एक चर्चा आपके बच्चे के साथ पर्याप्त नहीं है उन्हें समय-समय पर आश्वस्त होने की ज़रूरत है आप वास्तव में उनकी परवाह करते हैं और जब भी वो मुसीबत में होते हैं वो आपसे संपर्क कर सकते हैं.
इस लेख को उन लोगों के साथ साझा करें जिनसे आप प्यार करते हैं और उनको इस बारे में जागरूक करना चाहते हैं कि बच्चों को दुर्व्यवहार से रोका जा सकता है. इस संवेदनशील मुद्दे पर अपने बच्चों को जागरूक करने के लिए प्रयास करें और प्रशिक्षित करें. इसके अलावा, करियर के साथ-साथ पारिवारिक जीवन को प्रबंधित करने के बारे में और नए लेख पढ़ने के लिए, आप हमारे न्यूजलेटर की सदस्यता ले सकते हैं.