एक वक्त था जब लड़कियों को समाज के लिए बोझ एवं लड़कियों का जीवन चहारदीवारी और चूल्हे चौके तक सीमित माना जाता था पर आज इक्कीसवी सदी में बयार बदली बदली सी है. आज महिलाओं ने जमीन से आसमान तक अपनी बुलंदियों का परचम फहराकर ना केवल पुरुषों की बराबरी की है बल्कि कई क्षेत्रों में उन्हें पछाड़ भी दिया है. जल, थल और नभ तीनों में आज महिलाएं अपने हाथों से स्वर्णिम अध्याय लिख रहीं हैं.
आज वैश्वीकरण के दौर में अपने देश की आर्थिक तरक्की में देश की महिलाओं का भी उतना ही योगदान है जितना पुरुषों का है. अगर देखें तो चाहे प्राइवेट या सरकारी कोई ऐसा क्षेत्र नही बचा है जहाँ महिलायें अपनी कामयाबी का इतिहास लिखने में पीछे रही हों. पर प्रारंभ से सरकारी नौकरी ने महिलाओं को कुछ ज्यादा ही अपनी ओर आकर्षित किया है इसकी एक सबसे बड़ी बजह सरकारी नौकरी में मिलने वाली सुरक्षा रहा है.
आज भारत की संपन्न शिक्षित एवं प्रेरित महिला कार्य बल हर क्षेत्र में अपनी छाप छोड़ने के लिए उत्सुक है. वर्तमान में कुल कार्यबल में महिलाओं का प्रतिशत बत्तीस (32%) है वैसे तुलनात्मक रूप से यह आंकड़ा कम है पर आज से पूर्व 10 वर्षों के आकड़ों पर गौर करें तो यह प्रतिशत हर वर्ष बढ़ता ही रहा है.
इसमें कोई शक नहीं है कि अगर कार्य का अनुकूल वातावरण प्रदान किया जाए तो यह प्रतिशत बराबरी या इससे भी ज्यादा के आंकड़े को पार कर जायेगा. वैसे भारत सरकार भी विभिन्न उपायों के माध्यम से हर साल विभिन्न सरकारी विभागों में महिला उम्मीदवारों को अधिक से अधिक रोजगार प्रदान करने का प्रयास कर रही है. राज्य सरकारें भी इस क्षेत्र में बढ़ चढ़ के हिस्सा ले रही है और कहीं कहीं प्रतिशतता की बढ़त के लिए संवैधानिक नियमों के दायरे में रहकर उन्हें आरक्षण का भी लाभ दिया जा रहा है. वैसे कहें तो अब कोई ऐसा क्षेत्र नही बचा हैं जहाँ महिलाओं ने अपना कीर्तिमान ना स्थापित किया हो. फिर भी कुछ ऐसे क्षेत्र हैं जो महिलाओं के लिए पसंदीदा हैं, आइये जानें उन सरकारी क्षेत्रों के बारे में.
बैंकिंग सेक्टर जॉब्स:
बैंकिंग सेक्टर एक ऐसा सेक्टर है जहाँ दुसरे सरकारी क्षेत्रों के मुकाबले महिला कार्मिकों का प्रतिशत पुरुषों के अनुपात में सबसे उच्चतम है. सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में कुल कार्यरत 8,57,868 कर्मचारियों में से महिला कर्मचारी की संख्या 1,96,374 है जो 24% है. अगर आंकड़ों पर गौर करें तो पूर्व वर्षों की तुलना में आईबीपीएस पीओ, एसबीआई पीओ, आरबीआई ग्रेड-बी जैसी विभिन्न बैंक परीक्षाओं में निरंतर महिला कार्मिकों का प्रतिशत बढ़ता ही जा रहा है. सिर्फ इतना ही नही इन परीक्षाओं में महिलाएं टॉपर्स रैंक में भी अपना नाम दर्ज करा रही हैं.
बैंकिंग सेक्टर में ना केवल महिला के लिए अनुकूल कार्य वातावरण उपलब्ध है बल्कि वेतन और भत्ते भी इतना देती है कि कार्मिक वर्तमान आर्थिक परिदृश्य में एक सम्मान जनक जीवन जी सके. आईबीपीएस हर वर्ष बैंकों में रिक्त पदों पर भर्ती हेतु अधिसूचनाएं जारी करते हुए देश के विभिन्न केन्द्रों पर परीक्षा का आयोजन कर पर के लिए योग्य उम्मीदवारों का चयन सुनिश्चित करती है. हर वर्ष देश में लाखों लाखों की संख्या में महिलायें इस परीक्षा में शामिल हो सफलता सूची में अपना नाम दर्ज करती है. इस प्रकार वैसी महिलायें जो अभी अपने करियर विकल्प के चयन के प्रति असमंजस में हों वे बैंकिंग सेक्टर को अपना करियर चयन कर सिलेबस के अनुकूल अपनी तैयारी शुरू कर सकती हैं.
टीचिंग जॉब्स:
टीचिंग जॉब्स हमेशा से ही बिना किसी संदेह के पूरे देश की महिलाओं के लिए सर्वोच्च विकल्प के रूप में माना जाता रहा है. आज टीचिंग जॉब्स को हर महिला अपना करियर बनाना चाहती है. प्राइमरी स्कूलों में कुल टीचर में से महिला टीचर का प्रतिशत 45 से भी ज्यादा है. उल्लेखनीय है कि समय समय पर शिक्षकों की योग्यता परीक्षा केन्द्रीय और राज्य सरकारों द्वारा आयोजित की जाती है ताकि योग्य उम्मीदवारों का चयन विभिन्न सरकारी स्कूलों और कॉलेजों में बतौर शिक्षक के रूप में काम करने के लिए चुना जा सके.
टीचर की नौकरी सामाजिक प्रतिष्ठा वाली होने के साथ साथ जिम्मेदारियों से भरी होती है. कार्यकुशल एवं नैतिक मूल्यों को समेटे हुए मानव संसाधन से युक्त देश निर्मित करने का पूरा दायित्व हमारे शिक्षकों पर निर्भर करता है.
इस प्रकार वैसी महिलायें जिनके अंदर देश की प्रगति में अपना योगदान देने का जज्बा है वे टीचिंग जॉब्स को अपना करियर बना बना रही हैं. अगर रिक्तियों की बात करें तो हर वर्ष बहुत बड़ी तादाद में विभिन्न शिक्षण संस्थानों में रिक्तियों की घोषणाएं की जाती है.
नर्स जॉब्स:
नर्स की नौकरी महिलाओं के लिए बहुत ही अच्छा करियर है. इस क्षेत्र में अगर छोटे शहरों की बात करें तो अधिकतर महिलाओं की शादी का उम्र में ही हो जाती है एवं पारिवारिक जिम्मेदारियों के बोझ से अधिकतर मामले में अपनी पूरी पढाई पूरी नही कर पाती हैं. इन महिलाओं के लिये नर्स का जॉब एक बहुत अच्छा विकल्प होता है क्योंकि इसमें शैक्षणिक योग्यता उच्च माध्यमिक न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता होती है. कार्यप्रकृति की दृष्टि से यह क्षेत्र महिलाओं के बिलकुल अनुकूल है. आज हर नागरिकों के लिए स्वास्थ्य सेवायें उपलब्ध करना सरकार की प्राथमिकता है. सरकार शहर से गाँव तक अस्पताल खोलने की दिशा में प्रतिबद्ध एवं कार्यरत है. अगर रिक्तियों के लिहाज से भी इस क्षेत्र को देखा जाए तो यह महिलाओं के लिए एक बेहतर क्षेत्र है.
रक्षा सेवाएं:
महिलाओं के लिए हमेशा से असंभव माने जाने वाले रक्षा क्षेत्र में भी महिलाओं ने अपना नाम सुनहरे पन्नों पर दर्ज कर अपने साहस का परिचय दिया है. आज महिलायें रक्षा सेवा क्षेत्र में अपना कदम रख कर पुरे देश को गौरवान्वित कर रही है. कभी अबला समझी जानी वाली स्त्री शक्ति को आज सेना में लड़ाकू भूमिका दिया जा रहा है. महिलाओं को वायु सेना में लड़ाकू भूमिका में लाने के बाद रक्षा मंत्री ने नौसेना में महिलाओं की युद्धपोत पर तैनाती तथा सेना में महिला बटालियन बनाने का सुझाव दिया है. कुल मिलाकर कहें तो असंभव माने जाने वाले क्षेत्र यानी रक्षा क्षेत्र में भी महिलाओं ने अब अपनी जगह बना ली है. महिलाओं का तेजी से रुख इन क्षेत्रों में अपना करियर बनाने का हो रहा है. यह ऐसा क्षेत्र हैं जहाँ महिलायें अपनी भूमिका, साहस के बल पर अपने देश का नाम रौशन कर सकती हैं.
इस प्रकार देखें तो महिलाओं ने कंधे से कंधा मिलाकर प्रगति के पथ पर बढ़ना शुरू किया है. सरकारी नौकरी महिलाओं के लिए सबसे से सुरक्षित क्षेत्र है एवं कार्यसंस्कृति भी अनुकूल है. तभी तो इस क्षेत्र में महिलाओं की संख्या बढती जा रही है. बस जरुरत है उन्हें खुला आशमान देने का ताकि वो अपनी उड़ान से पुरे विश्व में अपना कीर्तिमान स्थापित कर सके.
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